गोपालगंजः बिहार के गोपालगंज जिले के हथुआ थाना क्षेत्र के बबुआ जी हाता स्थित घर के कमरे में रविवार को जितेंद्र प्रताप शाही की गोली लगने से मौत हो गयी थी. अब इस मामले में एक नया मोड़ आया है. एफएसएल की टीम ने जांच के दौरान मौके से एक सुसाइड नोट बरामद किया है. जिसमें रिश्तेदार द्वारा प्लेन पेपर पर सिग्नेचर करा लेने के बाद आत्महत्या करने की बात लिखी गई है.
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आत्महत्या का लग रहा मामलाः मृतक जितेंद्र प्रताप शाही, हथुआ के स्वघोषित राजा मृगेंद्र प्रताप शाही के चचेरे भाई थे. यहां बता दें कि हमारे देश में 15 अगस्त 1947 से लोकतंत्र व्यवस्था लागू है. राजशाही समाप्त कर दी गयी है. एसपी ने बताया कि जांच के क्रम में यह बात सामने आई है कि 55 वर्षीय जितेंद्र प्रताप शाही ने खुद के लाइसेंसी राइफल से गोली मारकर आत्महत्या कर ली है. उनका एक सुसाइड नोट मिला. एसपी ने बताया कि अबतक की जांच में आत्महत्या का मामला लग रहा है.
"जितेंद्र शाही की संदेहास्पद स्थिति में गोली लगने से मौत की सूचना प्राप्त हुई थी. जिसके बाद हथुआ थानाध्यक्ष व एसडीपीओ मामले की जांच कर रहे हैं. हत्या व आत्महत्या के बिंदु पर स्थिति स्पष्ट नहीं हो पा रही थी, जिसको लेकर मुजफ्फरपुर से एफएसएल की टीम और पटना से फिंगरप्रिंट की टीम बुलाई गई. मौके से हथियार व सुसाइड नोट बरामद किया गया है."-स्वर्ण प्रभात, एसपी, गोपालगंज
क्या है मामला: रविवार की शाम हथुआ थाना क्षेत्र के बबुआ जी कंपाउंड में जितेंद्र प्रताप शाही की गोली लगने से मौत हो गई थी. उनका शव उनके कमरे में पाया गया था. पास से हथियार भी बरामद किया गया था. हथुआ पुलिस मौत के कारणों की जांच कर रही थी. हत्या है या आत्महत्या इसकी जांच के लिए मुजफ्फरपुर से एफएसएल की टीम बुलाई गई. वहीं पटना से फिंगर प्रिंट की टीम बुलाई गई थी.