गयाः पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने प्रशांत किशोर के 'गांधी गोडसे एक साथ हों ये संभव नहीं' के बयान का समर्थन किया है. उन्होंने ये भी कहा अगर प्रशांत किशोर एनडीए को हराने के लिए महागठबंधन के साथ आना चाहते हैं तो इस पर हम विचार करेंगे.
नीतीश कुमार पर साधा निशाना
प्रशांत किशोर ने दिल्ली चुनाव फतह के बाद बिहार आते ही नीतीश कुमार पर वार किया. उन्होंने सीएम पर बयान देते हुए कहा कि गांधी और गोडसे एक साथ रहें, यह संभव नहीं है. पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने पीके के बयान को सही ठहराते हुए कहा कि प्रशांत किशोर ने जो कहा कि गांधी और गोडसे एक साथ हों संभव नहीं है ये उचित कहा है. देश मे गांधी- गोडसे एक साथ होना दुर्भाग्यपूर्ण है.
'नीतीश कुमार को अंतरात्मा से सोचना होगा'
प्रशांत किशोर के महागठबंधन में शामिल होने के सवाल पर पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने कहा पीके रणनीतिकार हैं. वो राजनीतिक व्यक्ति नहीं हैं. उनका एक इंफ्रास्ट्रक्चर है, जिसपर वो काम करते हैं. अगर पीके एनडीए को हराने के लिए महागठबंधन में आना चाहते हैं तो 20 फरवरी के महागठबंधन के दिल्ली में आयोजित बैठक में विचार किया जाएगा
ये भी पढ़ेंः बोले प्रशांत किशोर- 2005 में बिहार जितना गरीब थी, आज भी उतना ही है
बिहार की बदहाली पर उठाए सवाल
आपको बता दें कि प्रशांत किशोर आज पहली बार नीतीश कुमार और बिहार की बदहाली को लेकर बोले हैं. उन्होंने नीतीश कुमार और मोदी-शाह को लेकर बातें कहीं. दरअसल पीके के नाम से प्रसिद्ध भारत के रणनीतिकार का एक चेहरा बनकर 2014 में मोदी के जीत दिलवाने के बाद उभरे. उसके बाद उन्होंने कई राज्यों में मुख्यमंत्री को जीत दिलवाई. 2015 में फिर से 'बिहार में बहार है, नीतीशे कुमार है' स्लोगन से नीतीश कुमार की जीत में अहम रोल अदा किया.