महाबोधि मंदिर पहुंचे दलाईलामा, बोले- जीवन में करुणा और अहिंसा को दें प्रथमिकता - बोधगया में दलाईलामा
बोधगया के बाद 2 दिवसीय कार्यक्रम में शामिल होने के लिए धर्मगुरु दलाईलामा विशेष विमान से पटना आएंगे.
गया: धर्मगुरु दलाईलामा कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच बोधगया स्थित विश्व धरोहर महाबोधि मंदिर पहुंचे. जहां उन्होंने पूजा अर्चना कर शांति, अहिंसा और करुणा का संदेश दिया.
शांति, अहिंसा और करुणा का दिया संदेश
महाबोधि मंदिर के गर्भगृह में सभी जीवों के हित और विश्व शांति के लिए मंदिर पहुंचे दलाईलामा ने पूजा अर्चना करने के बाद पवित्र बोधि वृक्ष को नमन किया. उन्होंने कहा कि लोगों को शांति, अहिंसा और करुणा का ज्ञान होना चाहिए. किसी को भी हिंसा की बात नहीं करनी चाहिए.
कायर्क्रम के लिए आएंगे पटना
बोधगया के बाद 2 दिवसीय कायर्क्रम में शामिल होने के लिए दलाईलामा विशेष विमान से पटना आएंगे. बता दें कि बौद्ध धर्मगुरु दलाईलामा 24 दिसंबर को बोधगया आए थे. उसके बाद 2 जनवरी से 6 जनवरी तक उन्होंने कालचक्र मैदान में बौद्ध भिक्षुओं के सामने विशेष शैक्षणिक प्रवचन दिया. जहां विश्व के 40 देशों के बौद्ध भिक्षुओं के साथ कुल 35 हजार श्रद्धालु प्रवचन में शामिल हुए. वहीं, प्रवचन 11 भाषाओ में प्रसारित किया गया था.
विश्व के सभी लोग को शांति अहिंसा करुणा का ज्ञान होना चाहिए।
किसी को भी हिंसा की बात नही करनी चाहिए। भगवान बुद्ध ने भी कह कर गये थे।सभी को अहिंसा करुणा व शांति का मार्ग अपना चाहिये। यह सभ्यता 40 हजार वर्ष पुरानी है। Body:गया बोधगया में बौद्ध धर्मगुरु 14वे दलाईलामा ने विश्व धरोहर महाबोधि मंदिर में आज कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच पहुचे।जहा महाबोधि मंदिर के गर्भगृह में सभी जीवों व विश्व शांति व करुणा के लिये किये विशेष पूजा अर्चना उसके बाद पवित्र बोधि वृक्ष को भी किया नमन।
पूजा अर्चना करने के बाद दलाईलामा विशेष विमान से पटना दो दिवसिये कायर्क्रम में शामिल होने जाएगे।
दलाईलामा ने मीडिया कर्मी से कहा कि सभी को खुश रहना चाहिए।
विश्व के सभी लोग को शांति अहिंसा करुणा का ज्ञान होना चाहिए।
किसी को भी हिंसा की बात नही करनी चाहिए। भगवान बुद्ध ने भी कह कर गये थे।सभी को अहिंसा करुणा व शांति का मार्ग अपना चाहिये। यह सभ्यता 40 हजार वर्ष पुरानी है। सभी को शांति व अहिंसा के मार्ग पर चलना चाहिए।
आपको बता दें कि बौद्ध धर्मगुरु 14वें दलाईलामा का बोधगया 24 दिसम्बर को आगमन हुआ था। उसके बाद महाबोधि मंदिर में भी पूजा अर्चना किये थे। पूजा अर्चना के बाद लमे समय तक बोधगया तिब्बती मंदिर में अपने आवास स्थल पर आराम कर रहे थे।
उसके बाद 2 जनवरी से 6 जनवरी तक कालचक्र मैदान में बौद्ध भिक्षुओं के समक्ष विशेष शैक्षणिक प्रवचन भी दिये थे।
प्रवचन में विश्व के 40 देश के बौद्ध भिक्षुओं के साथ 35हजार श्रद्धालु हुये थे शामिल ।प्रवचन 11 भाषाओ में प्रसारित किया गया था।
उसके बाद बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी दलाईलामा जी से आशीर्वाद प्राप्त करने बोधगया आये थे।Conclusion:बरहाल आपको बता दें कि गया बोधगया में बौद्ध धर्मगुरु 14वे दलाईलामा ने विश्व धरोहर महाबोधि मंदिर के गर्भगृह में सभी जीवों व विश्व शांति व करुणा के लिये किये विशेष पूजा अर्चना उसके बाद पवित्र बोधि वृक्ष को भी किया नमन।