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Darbhanga News: DMCH में मानवता शर्मसार, मुंह में इंसानी पैर लेकर जाता दिखा कुत्ता, उपाधीक्षक ने झाड़ा पल्ला - दरभंगा मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल

DMCH के एनेस्थीसिया विभाग के परिसर में एक कुत्ता अपने मुंह में इंसानी पैर दबाए इधर से उधर भाग रहा था. कुत्ता उसे खाने के लिए जगह ढूंढ रहा था. मानवता को शर्मसार करने वाली इस घटना को लेकर जहां स्थानीय लोगों ने नाराजगी जाहिर की है वहीं अस्पताल के उपाधीक्षक ने पूरे मामले से ही अपना पल्ला झाड़ लिया.

dog holding human foot in mouth IN DMCH
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Published : Apr 24, 2023, 4:46 PM IST

DMCH में मानवता शर्मसार

दरभंगा: बिहार सरकार भले ही स्वास्थ्य व्यवस्था को पटरी पर लाने का दावा करे लेकिन वहां की व्यवस्था किसी से छुपी हुई नहीं है. आये दिन सरकारी अस्पताल की कुव्यवस्था खबरों की सुर्खियां बनती है. लेकिन व्यवस्था सुधारने की जगह दिनों दिन बिगड़ती जा रही है. ताजा मामला उत्तर बिहार के सबसे बड़े अस्पताल दरभंगा मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल का है. डीएमसीएच में एक आवारा कुत्ता इंसान के पैर को अपने मुंह मे दबाये खुलेआम परिसर में घूमता देखा गया. कुत्ता उसे खाने के लिए जगह तलाश कर रहा था. इस वीभत्स नजारे को देखने वालों के रोंगटे खड़े हो गए.

पढ़ें- नालंदा में शर्मसार हुई मां की ममता, नदी में फेंका मिला नवजात का शव

DMCH में मानवता शर्मसार: वहीं इस नजारे को देखने वाले स्थानीय राजा प्रसाद ने बताया कि चारदीवारी नहीं होने की वजह से आवारा कुत्ता व अन्य आवारा पशु घूमते रहते हैं. उसी का नतीजा है कि एक आवारा कुत्ता अपने मुंह में इंसान का पैर लेकर एनेस्थीसिया विभाग के परिसर में आ गया और उसे खाने की कोशिश करने लगा. इस खौफनाक मंजर को देख लोगों के होश उड़ गए. सवाल उठता है कि आखिर कुत्ता कटा हुआ इंसान का पैर कहां से लेकर आया. क्या यह अस्पताल की बड़ी लापरवाही है.

"कुत्ता मुंह में इंसान का पैर पकड़कर घूम रहा था. खाने का कोशिश कर रहा था. देखकर भय और डर महसूस होने लगा."- राजा प्रसाद, स्थानीय

उपाधीक्षक का बयान: इस संबंध में जब डीएमसीएच के उपाधीक्षक हरेन्द्र कुमार से बात की गई तो उन्होंने अपना पल्ला झाड़ते हुए कहा कि डीएमसीएच का बायो मेडिकल वेस्ट के लिए एजेंसी कार्यरत है.अस्पताल से जितने बायोमेडिकल वेस्ट निकलते हैं, सभी को पैक कर बायो मेडिकल वेस्ट के कर्मचारी को देते हैं. वो लोग उसे ले जाकर डिस्पोजल करते हैं. चूंकि इस कैंपस से सटे हुए भी बहुत सारे प्राइवेट अस्पताल हैं, हो सकता है कि कुत्ता वहीं से यह पैर लेकर आया हो.

"कुत्ता ही तो है. कहीं से भी लेकर आया होगा. अस्पताल ओटी का बहुत सुरक्षित तरीके से कटे हुए बर्बाद मानव अंगों को हम लोग बायो मेडिकल वेस्ट एजेंसी को हमलोग सुपुर्द करते हैं. इस तरह फेंका नहीं जाता है.हमारे हॉस्पिटल का कोई भी कचरा बायोमेडिकल वेस्ट या हॉस्पिटल का कुछ भी हो, खून से सना गॉज हो बैंडेज हो इन सबको रोड पर हमलोग नहीं फेंकते हैं."- हरेन्द्र कुमार, उपाधीक्षक, DMCH

पहले भी आ चुका है मामला सामने: ऐसे में अब सवाल यह उठता है की कुत्ते के पास इन्सान का पांव कहां से आया? अगर कुत्ता कहीं दूसरे जगह से पांव का हिस्सा DMCH लेकर आ भी गया तो, लाखों के खर्च पर तैनात सुरक्षा कर्मी क्या कर रहे थे? इस पूरे मामले में DMCH प्रशासन की लापरवाही साफ देखने को मिल रही है. यह पहला मामला नहीं है, इससे पहले भी DMCH में नवजात बच्चे का शव नोचते हुए कुत्ते का वीडियो सामने आया था.

DMCH में मानवता शर्मसार

दरभंगा: बिहार सरकार भले ही स्वास्थ्य व्यवस्था को पटरी पर लाने का दावा करे लेकिन वहां की व्यवस्था किसी से छुपी हुई नहीं है. आये दिन सरकारी अस्पताल की कुव्यवस्था खबरों की सुर्खियां बनती है. लेकिन व्यवस्था सुधारने की जगह दिनों दिन बिगड़ती जा रही है. ताजा मामला उत्तर बिहार के सबसे बड़े अस्पताल दरभंगा मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल का है. डीएमसीएच में एक आवारा कुत्ता इंसान के पैर को अपने मुंह मे दबाये खुलेआम परिसर में घूमता देखा गया. कुत्ता उसे खाने के लिए जगह तलाश कर रहा था. इस वीभत्स नजारे को देखने वालों के रोंगटे खड़े हो गए.

पढ़ें- नालंदा में शर्मसार हुई मां की ममता, नदी में फेंका मिला नवजात का शव

DMCH में मानवता शर्मसार: वहीं इस नजारे को देखने वाले स्थानीय राजा प्रसाद ने बताया कि चारदीवारी नहीं होने की वजह से आवारा कुत्ता व अन्य आवारा पशु घूमते रहते हैं. उसी का नतीजा है कि एक आवारा कुत्ता अपने मुंह में इंसान का पैर लेकर एनेस्थीसिया विभाग के परिसर में आ गया और उसे खाने की कोशिश करने लगा. इस खौफनाक मंजर को देख लोगों के होश उड़ गए. सवाल उठता है कि आखिर कुत्ता कटा हुआ इंसान का पैर कहां से लेकर आया. क्या यह अस्पताल की बड़ी लापरवाही है.

"कुत्ता मुंह में इंसान का पैर पकड़कर घूम रहा था. खाने का कोशिश कर रहा था. देखकर भय और डर महसूस होने लगा."- राजा प्रसाद, स्थानीय

उपाधीक्षक का बयान: इस संबंध में जब डीएमसीएच के उपाधीक्षक हरेन्द्र कुमार से बात की गई तो उन्होंने अपना पल्ला झाड़ते हुए कहा कि डीएमसीएच का बायो मेडिकल वेस्ट के लिए एजेंसी कार्यरत है.अस्पताल से जितने बायोमेडिकल वेस्ट निकलते हैं, सभी को पैक कर बायो मेडिकल वेस्ट के कर्मचारी को देते हैं. वो लोग उसे ले जाकर डिस्पोजल करते हैं. चूंकि इस कैंपस से सटे हुए भी बहुत सारे प्राइवेट अस्पताल हैं, हो सकता है कि कुत्ता वहीं से यह पैर लेकर आया हो.

"कुत्ता ही तो है. कहीं से भी लेकर आया होगा. अस्पताल ओटी का बहुत सुरक्षित तरीके से कटे हुए बर्बाद मानव अंगों को हम लोग बायो मेडिकल वेस्ट एजेंसी को हमलोग सुपुर्द करते हैं. इस तरह फेंका नहीं जाता है.हमारे हॉस्पिटल का कोई भी कचरा बायोमेडिकल वेस्ट या हॉस्पिटल का कुछ भी हो, खून से सना गॉज हो बैंडेज हो इन सबको रोड पर हमलोग नहीं फेंकते हैं."- हरेन्द्र कुमार, उपाधीक्षक, DMCH

पहले भी आ चुका है मामला सामने: ऐसे में अब सवाल यह उठता है की कुत्ते के पास इन्सान का पांव कहां से आया? अगर कुत्ता कहीं दूसरे जगह से पांव का हिस्सा DMCH लेकर आ भी गया तो, लाखों के खर्च पर तैनात सुरक्षा कर्मी क्या कर रहे थे? इस पूरे मामले में DMCH प्रशासन की लापरवाही साफ देखने को मिल रही है. यह पहला मामला नहीं है, इससे पहले भी DMCH में नवजात बच्चे का शव नोचते हुए कुत्ते का वीडियो सामने आया था.

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