बक्सर: बिहार के बक्सर में गंगा के जलस्तर में वृद्धि (Rising Water Level Of Ganga in Buxar) दर्ज की गई. ऐसे में जिले के चौसा, बक्सर, सिमरी, ब्रम्हपुर और चक्की प्रखंड में बाढ़ की स्थिति बन गई है. कई रिहायशी इलाकों में भी बाढ़ का पानी घुस चुका है तो कहीं सड़कें जलमग्न हो गई हैं. हालांकि स्थिति को देखते जिला प्रशासन प्रत्येक स्तर से अपनी तैयारी में जुटा है. डीएम अमन समीर (Buxar DM Aman Sameer) ने बक्सर, कोइलवर तटबंध का निरीक्षण कर इस संदर्भ में कार्यपालक अभियंता, बाढ़ नियंत्रण को आवश्यक निर्देश भी दिया है. पशुओं के चारा की व्यवस्था की जा रही है. इस बाबत जिलाधिकारी ने बताया कि सुकून की बात है कि गंगा के ऊपरी इलाके में जल स्तर रूकने लगा है. उम्मीद है कि बक्सर में भी दो दिन बाद जलस्तर में कमी आने लगेगी.
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बक्सर में गंगा के जलस्तर में वृद्धि : तटबंध की सुरक्षा और जिले में बाढ़ की स्थिति को देखते हुए बक्सर पुलिस भी अपनी तैयारी कर एलर्ट मोड पर है. पुलिस अधीक्षक नीरज कुमार सिंह ने बताया कि प्रत्येक1 किलोमीटर पर पुलिस बल को तैनात किया गया है. साथी सभी थानों को किसी भी विपरीत परिस्थितियों से निपटने के लिए तैयार रहने को कहा गया है. आपको बता दें कि गंगा नदी का जल स्तर इस वर्ष के अपने उच्चतम स्तर पर पहुंच चुका है. मंगलवार को गंगा का जलस्तर 11:00 एएम पर 60.640, 12:00 एएम पर- 60.640, 13:00 एएम पर- 60.640, 14:00 एएम पर 60.650 था, जबकि बक्सर में वार्निंग लेबल 59.320 मीटर, डेंजर लेबल 60.320 मीटर, एचएफएल 61.435 मीटर है. गंगा के साथ-साथ अब जिले में सहायक नदियां कर्मनाशा, ठोरा और धर्मावती भी उफान पर है. जिससे कि अखौरीपुर गोला बनारपुर के पास बक्सर-कैमूर स्टेट हाइवे पर पानी बढ़ता जा रहा है.
बक्सर में डीएम ने कई तटबंधों को किया निरीक्षण : तेजी से बढ़ते जलस्तर को देखते हुए इस मार्ग से आवागमन को बंद कर दिया गया है. बढ़ते जलस्तर के मद्देनजर जिला पदाधिकारी अमन समीर के द्वारा डुमरांव अनुमंडल अंतर्गत गंगा में बाढ़ एवं तटबंध का निरीक्षण किया गया. इस क्रम में ज्यों ही दियर बांध पर पानी का रिसाव हो होता देखा गया, जिसके आलोक में बाढ़ नियंत्रण प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता को निर्देश दिया गया कि पानी के रिसाव को जल्द से जल्द बंद करने के लिए आवश्यक कार्रवाई करना सुनिश्चित करेंगे. विभागीय दिशा-निर्देश के आलोक में प्रति एक किलोमीटर पर बाढ़ के सुरक्षा को देखते हुए, आदमी की प्रतिनियुक्ति की जानी थी, निरीक्षण के दौरान कोई आदमी वहां उपस्थित नहीं था, जिस पर डीएम ने प्रभारी पदाधिकारी आपदा शाखा को बिना सत्यापन के भुगतान नहीं करने का निर्देश दिया.
DM ने दिए अधिकारियों को आवश्यक निर्देश : निरीक्षण के क्रम में पाया गया कि बाढ़ नियंत्रण प्रमंडल के द्वारा सुरक्षा सामग्री का भंडारण हेतु बालू बैग कुछ जगहों पर फटा हुआ पाया गया. जिसके आलोक में कार्यपालक अभियंता बाढ़ नियंत्रण प्रमंडल को निर्देश दिया गया कि दो दिन के अंदर युद्ध स्थल पर फटे हुए बालू बैग को हटाकर नए बोरे में सुरक्षा सामग्री का भंडारण सुनिश्चित करेंगे. डीएम अमन समीर ने संबंधित अंचल अधिकारी को निर्देश देते हुए कहा कि- 'सरकार के द्वारा सरकारी नाव के परिचालन होने के संबंध में नाव पर प्रशासन का झंडा लगा होना चाहिए, यह व्यवस्था निशुल्क है और नाव पर बैठने की कितनी क्षमता है, इसका बोर्ड लगाना सुनिश्चित करेंगे.'
DM ने बांध का किया निरीक्षण : डीएम ने सिमरी, चक्की एवं ब्रह्मपुर के विभिन्न क्षेत्रों का निरीक्षण किया. सिमरी प्रखंड अंतर्गत नियाजीपुर के लालजी का डेरा, राजापुर बेनीलाल का डेरा, गंगौली, रामदास राय का डेरा, श्रीकांत राय का डेरा, जवही दियर, ब्रह्मपुर प्रखंड अंतर्गत नैनिजोर, करीमन डेरा, गजाधर डेरा का जिलाधिकारी ने निरीक्षण किया. संबंधित अंचल अधिकारी को निर्देश दिया गया कि जहां नाव की आवश्यकता होगी, वहां शीघ्र ही नाव की व्यवस्था कर लें.