भागलपुर: सनहौला प्रखंड के भूरिया महियामा पंचायत में पंचायत चुनाव को लेकर लोग काफी उत्साहित है. चुनाव में इस बार वर्तमान के मुखिया के खिलाफ माहौल बन रहा है. वहीं दूसरी ओर नल जल योजना का लाभ पंचायत के लोगों को नहीं मिल रहा है. पाइप और नल घर-घर तक पहुंच गया है लेकिन उसमें जल ही नहीं आ रहा है. यही नहीं, गली नाली और सड़क योजना भी अधर में पड़ा हुआ है.
नाली का विकास न होने के कारण स्थानीय लोगों ने मिट्टी डालकर बंद कर दिया है. जल जीवन हरियाली योजना से ना तालाब और न ही कुआं का जीर्णोद्धार हुआ है. पंचायत के आधे से अधिक वार्ड में पेयजल की समस्या है. इसके अलावा सरकारी चापाकल के पास सोखता का भी निर्माण नहीं कराया गया है. जिस कारण भू-गर्भ का जल स्तर लगातार घटता जा रहा है.
इसे भी पढ़ें: दम तोड़ रही 'हर घर नल जल' योजना, पानी की किल्लतों से परेशान ग्रामीण
राशन कार्ड और आवास योजना से वंचित हुए लोग
ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए मंजू देवी ने बताया कि पंचायत के मुखिया के माध्यम से उन्हें न तो राशन कार्ड और न ही आवास योजना का लाभ दिया गया है. इसके अलावा पेयजल और जल निकासी की भी समस्या है. मंजू देवी ने बताया कि जब से वह शादी करके गांव में आई है, तब से यह समस्या बनी हुई है.
नल में नहीं आता पानी
सुलेखा देवी ने बताया कि पहले शुरुआती दिनों में जब नल का कनेक्शन मिला था, तब पानी आ रहा था. लेकिन फिर बीते 1 साल से बंद है. इसको लेकर कई बार मुखिया और वार्ड से शिकायत भी की जा चुकी है. लेकिन कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है.
मिट्टी डालकर नाली किया गया बंद
जमुनी देवी ने बताया कि नाली का निर्माण करा दिया गया है. पानी का निकास न होने के कारण सभी ने मिट्टी डालकर बंद कर दिया है. नाली में पानी जमा होने के बाद दुर्गंध आता है. जबकि इसे लेकर मुखिया को भी बताया गया है कि नाली का निकास जल्दी कराएं. लेकिन इसके बावजूद भी कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है.
ये भी पढ़ें: गर्मी बढ़ते ही गहराने लगा जल संकट, पटना में 1 KM दूर जाकर लोग लाते हैं पानी
बारिश के दिनों में होती है परेशानी
पिंकी देवी ने बताया कि स्नान के लिए व्यवस्था तो करा दी गई है, लेकिन ऊपर से बड़ा-बड़ा प्लेट डाल दिया गया है. यदि नाली की सफाई करने की कोशिश की जाती है तो प्लेट लगने के कारण नहीं हो पाता है. वहीं गांव में सड़क नहीं होने के कारण बारिश के दिनों में अधिक परेशानी होती है. बरसात के दिनों में गांव को लोगों को आने-जाने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था.
रुपयों का किया जा रहा बंदरबांट
वहीं बुधिया देवी, दीपाली देवी, दुखनी देवी ने बताया कि वार्ड नंबर-10 में किसी तरह का कोई लाभ नहीं मिला है. मुखिया ने कोई भी काम सही से नहीं कराया है. साथ ही रुपयों का बंदरबांट किया जा रहा है.
14 हजार से अधिक की जनसंख्या
बता दें कि पंचायत में 15 वार्ड है. इस पंचायत में करीब 8,000 से अधिक वोटर हैं. जबकि जनसंख्या 14 हजार के करीब है. गांव का मुख्य फसल धान और गेहूं है. खेती का कार्य बारिश पर ही निर्भर है. पंचायत से होकर एक हनवाड़ा नदी गुजरी है, लेकिन वह भी सुख गई है. डैम का निर्माण होने से लाभ मिलता, लेकिन अब तक डैम का निर्माण नहीं हो सका है.