भागलपुर: बिहार में जल-जीवन-हरियाली, नशा मुक्ति, बाल विवाह और दहेज प्रथा उन्मूलन के खिलाफ रविवार को विश्व की सबसे बड़ी मानव श्रृंखला बनाई गई. सुबह 11.30 बजे से दोपहर 12 बजे तक करीब 4.27 करोड़ से अधिक लोग एक-दूसरे का हाथ थामे खड़े रहे. इसके पहले 2017 में शराबबंदी अभियान को सफल बनाने के लिए बिहार में 11292 किमी लंबी मानव श्रृंखला बनाई गई थी. इस रिकार्ड को बिहार वासियों ने दहेज प्रथा और बाल विवाह के खिलाफ 13654 किमी लंबी मानव श्रृंखला बनाकर तोड़ा था. एक बार फिर से बिहार में विश्व की सबसे बड़ी मानव श्रृंखला बनाई गई.
मानव शृंखला में सेल्फी लेते दिखे लोग
भागलपुर में करीब 360 किलोमीटर में मानव श्रृंखला का निर्माण किया गया था. जिला प्रशासन की ओर से इस शृंखला की वीडियोग्राफी भी करायी गई. इस शृंखला में राज्यसभा सांसद कहकशां परवीन, जिलाधिकारी प्रणव कुमार, एडीएम राजेश झा राजा, एसएसपी आशीष भारती, आंगनवाड़ी सेविका-सहायिकाएं, सरकारी और निजी स्कूल के बच्चे-शिक्षक, कलाकार और आम लोगों ने भाग लिया. इस दौरान एनसीसी कैडेट्स भी बड़ी संख्या में शामिल हुए. इस दौरान अपनी यादों में सहेजने के लिए लोग भिन्न-भिन्न तरीके से सेल्फी लेते दिखे.
'बिहार ने पूरे विश्व को दिया संदेश'
राज्यसभा सांसद कहकशां परवीन ने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री के आह्वान पर पूरे बिहार भर में जगजीवन हरियाली का संदेश देने के लिए विश्व का का विशालतम मानव श्रृंखला का निर्माण कार्य किया गया. यह सफल रहा इसके माध्यम से जल-जीवन-हरियाली का पूरे विश्व को संदेश दिया गया. वहीं, उन्होंने कहा कि प्राकृतिक भी इस अभियान के साथ है. जिस तरह से बारिश मानव श्रृंखला निर्माण से पहले और जब समाप्ति की ओर था तो बारिश हुई. ये दर्शाता है कि इस अभियान के साथ प्रकृती भी है.
'शृंखला सफलतापूर्वक संपन्न'
जिलाधिकारी प्रणव कुमार ने कहा कि भागलपुर के वासियों ने जिस तरह से मानव श्रृंखला में उत्साहित होकर बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया. उसके लिए मैं धन्यवाद देता हूं. उन्होंने कहा कि जल-जीवन-हरियाली यह सभी के जीवन से जुड़ा हुआ एक महत्वपूर्ण कदम है. इसके अलावा भी इसमें दहेज प्रथा, बाल विवाह उन्मूलन और नशा मुक्ति जैसे अभियान भी जुड़ा हुआ था. इसके माध्यम से पूरे विश्व को पर्यावरण के प्रति जागरुकता लाने के उद्देश्य से कार्यक्रम आयोजित किया गया, जो सफलतापूर्वक संपन्न हुआ.