बेगूसराय: अवर निबंधन कार्यालय बलिया इन दिनों जमीन माफियाओं के कब्जे में आ चुका है. बगैर माफिया के हस्तक्षेप के जमीन की रजिस्ट्री आम लोगों के लिए काफी मुश्किल साबित हो रहा है. निबंधन कार्यालय में बिना नजराने के एक भी रजिस्ट्री होना लोगों के लिये टेढ़ी खीर साबित हो रही है. जिस कराण निबंधन कार्यालय के परिसर में दिन भर जमीन माफियाओं का जमावड़ा लगा रहता है. वहीं, अवैध वसूली के बिना किसी भी जमीन की रजिस्ट्री हो पाना काफी मुश्किल हो चुका है.
बलिया एसडीओ से लगाई न्याय की गुहार
अवर निबंधन कार्यालय के उपर एक बार फिर भ्रष्टाचार के छींटें लगे हैं. बलिया थाना के परमानंदपुर पंचायत के लाल दियारा निवासी रामसकल यादव ने आरोप लगाया है कि नजराना नहीं दिए जाने के कारण जमीन का निबंधन नहीं हो सका. इस संबंध में पीड़ित ने बलिया एसडीओ डॉ उत्तम कुमार को लिखित शिकायत कर न्याय की गुहार लगाई है.
एसडीओ को दिये आवेदन में पीड़ित ने बताया कि उन्होंने 23 दिसंबर को सभी कागजात क्रेता-विक्रेता एवं गवाह से हस्ताक्षरित आवेदन निबंधन कार्यालय में जमीन का निबंधन हेतु दाखिल किया गया था. जिस जमीन का विवरण मौजा हुसैना पट्टी, थाना नंबर 588, खाता नंबर 1, खसरा नंबर 1, आराजी एक बीघा, दो फैसला है. जमीन विक्रेता रामचंद्र यादव हैं. जो काफी वृद्ध होने के साथ-साथ लकवा ग्रस्त भी हैं. इसके बावजूद भी निबंधन के लिये दाखिल किए गए आवेदन को निबंधन पदाधिकारी के द्वारा स्वीकृत नहीं किया जा रहा है. वहीं, पीड़ित ने अपने आवेदन में कहा कि अनुरोध करने पर केवाला की स्वीकृति के नाम पर 20 हजार रूपये का नजराना की मांग की जा रही है. उन्होंने एसडीओ से विक्रेता के काफी वृद्ध एवं लकवा ग्रस्त होने की स्थिति को देखते हुए जमीन का निबंधन करवाने की मांग की है.
क्या कहते हैं एसडीओ बलिया
इस संबंध में एसडीओ डाॅ उत्तम कुमार ने बताया कि जमीन क्रेता के द्वारा निबंधन कार्यालय में जमीन रजिस्ट्री के नाम पर 20 हजार रूपये अवैध रूप से मांगे जाने का आवेदन दिया गया है. जिसकी जांच की जाएगी. वहीं, दोषी पाए जाने पर कार्रवाई की जाएगी.
क्या कहते हैं रजिस्ट्रार
इस संबंध में निबंधन पदाधिकारी गायत्री अग्रवाल ने बताया कि क्रेता एवं विक्रेता द्वारा जमीन की किस्म को छुपाया गया है. जिसकी जांच के लिये बलिया सीओ अमृत राज बंधु को पत्र भेजी गई है. जांच रिपोर्ट आने के बाद निबंधन की प्रक्रिया पूरी कर दी जाएगी.