पटना: बिहार के पटना में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की महत्वकांक्षी योजना सात निश्चय के तहत हर घर नल जल योजना. पटना के ग्रामीण इलाकों में पूरी तरह से फ्लॉप साबित (Nal Jal Yojana flopped in patna Rural areas) हो रही है. इसके पीछे सरकारी कर्मचारियों की लापरवाही साफ नजर आ रही है, सरकार ने हर घर नल जल के तहत विभिन्न वार्डों में नल जल तो लगा दिया लेकिन आज तक उस नल जल से कहीं पानी नसीब नहीं हो रहा है तो कहीं पानी टंकी का टावर नहीं लगा है तो कहीं पाइप ही नहीं बिछा है.
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पुराने वार्ड सदस्यों द्वारा किए कामों की समीक्षा अब तक नहीं: ऐसे में गांव में पानी के लिए त्राहिमाम मचा हुआ है, हर जगह विरोध प्रदर्शन हो रहा है. ऐसे में अब गांव से लेकर शहर तक नवनिर्वाचित पंचायत प्रतिनिधि और ग्रामीण भी मुख्यालय पहुंचकर विरोध जता रहे हैं. सात निश्चय पार्ट वन के तहत हर घर नल जल का सपना अभी भी अधूरा है, पंचायत चुनाव होने के बाद पुराने वार्ड सदस्यों द्वारा किए गए कामों की समीक्षा भी अभी तक नहीं हुई है, ऐसे में पदाधिकारियों की लापरवाही और पुराने वार्ड सदस्यों द्वारा किए गए नल जल का हाल बुरा है.
नवनिर्वाचित पंचायत प्रतिनिधि कर रहे विरोध प्रदर्शन : अब आम आवाम परेशान हैं पानी के लिए कोहराम मचा हुआ है, चारों तरफ हंगामा विरोध प्रदर्शन हो रहा है, ऐसे में नवनिर्वाचित पंचायत प्रतिनिधि प्रखंड मुख्यालय पहुंचकर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. लगातार जिलाधिकारी द्वारा यह निर्देश दिया जा रहा है कि पुराने वार्ड सदस्यों की कार्यों की समीक्षा कर उन्हें जल्दी उनके बकाया पैसे को नए वार्ड सदस्यों को देते हुए काम को पूरा कराया जाए.
इन पंचायतों में अभी भी काम है अधूरा : विभिन्न प्रखंडों के पंचायती राज पदाधिकारी की लापरवाही और उदासीनता के कारण गांव गांव में बने हुए नल जल योजना अभी भी अधूरा दिख रहा है. ऐसे में अब नवनिर्वाचित पंचायत प्रतिनिधियों ने भी अब कमर कस लिया है और गांव से लेकर शहर तक विरोध प्रदर्शन करते नजर आ रहे हैं. मसौढ़ी प्रखंड में बेर्रा, भगवानगंज, चपौर दौलतपुर समेत कई पंचायतों में काम अभी भी अधूरा है.
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