पटना: जल संसाधन विभाग ( Water Resources Department ) ने बाढ़ ( Bihar Flood ) के समय सभी अभियंताओं की छुट्टी रद्द है. विभाग के सख्त आदेश के बावजूद कई अभियंता ( Engineers ) अपने कार्य को लेकर लापरवाही बरत रहे हैं. जल संसाधन विभाग ने पहले ही कई अभियंताओं को शोकॉज किया था. पिछले महीने विभाग की ओर से लगातार 20 दिनों तक मुख्य अभियंता से लेकर कनीय अभियंता तक के मोबाइल ट्रैकिंग कराई गई, जिसमें अधीक्षण अभियंता से लेकर कनीय अभियंता तक पने कार्यस्थल से गायब पाए गए.
मिल रही जानकारी के अनुसार, इनकी संख्या 60 से अधिक है. विभाग ने इसे गंभीरता से लिया और सभी अभियंताओं को शोकॉज किया. उसमें से कई के जवाब संतोषजनक नहीं हैं. ऐसे में विभाग लगभग दो दर्जन अभियंताओं पर कार्रवाई कर सकता है.
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दरअसल, बाढ़ के समय जल संसाधन विभाग की ओर से सभी अभियंताओं और अधिकारियों के साथ कर्मचारियों की भी छुट्टी रद्द किया जाता रहा है. इस बार भी छुट्टियां रद्द है. इस बार जून से ही बिहार में बाढ़ की स्थिति बनी हुई है. जल संसाधन विभाग अपने अभियंताओं की मॉनिटरिंग भी करवा रहा है. मोबाइल ट्रैकिंग भी करवा रहा है और उसमें कई गायब भी मिल रहे हैं.
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मोबाइल ट्रैकिंग में 5 दर्जन से अधिक अभियंता गायब पाए गए हैं अपने कार्यस्थल से और इनमें से कई पर गाज गिर सकती है. गायब पाए गए अभियंता अलग-अलग स्थानों पर उनकी तैनाती की गई थी. वीरपुर 17, सहरसा 7, डेहरी 9, मोतिहारी 8, गोपालगंज 5, कटिहार 6 ,मुजफ्फरपुर 3, गया पांच, बिहार शरीफ दो, दरभंगा एक. इधर, अभियंताओं के गायब पाए जाने के बाद विभाग ने सख्त निर्देश भी जारी किया है.
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गौरतलब है कि बिहार में अभी भी कई नदियां उफान पर है और लाखों लोगों की परेशानी बढ़ी हुई है. बांध में रिसाव ना हो और क्षतिग्रस्त ना हो इसके लिए अभियंताओं को विशेष निर्देश दिया गया है. कटाव रोकने के लिए भी विशेष निर्देश है, लेकिन कई स्थानों पर बांध टूटा है.
हालांकि विभाग की तरफ से ग्रामीणों के द्वारा काटने की बात कही गई है. कई जगह अभियंताओं की अनुपस्थिति के कारण भी मुश्किल बढ़ती रही है और इसी सब को लेकर जल संसाधन विभाग ने अभियंताओं के गायब होने के मामले को गंभीरता से लिया है.