पटना: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की बहु प्रतीक्षित मांग को केंद्र सरकार ने हरी झंडी दे दी है. कई साल पहले सीएम ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने पटना विश्वविद्यालय को सेंट्रल यूनिवर्सिटी का दर्जा देने की मांग की थी. हालांकि उस मांग को पूरी तरह से तो केंद्र सरकार ने नहीं मानी लेकिन यूनिवर्सिटी के डेवलपमेंट के लिए 100 रुपये की राशि को स्वीकृति दी है.
पीयू के विकास के लिए 100 करोड़ स्वीकृत: केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने पटना विश्वविद्यालय के विकास के लिए 100 करोड़ की राशि की स्वीकृति दी है. उच्च शिक्षा विभाग ने पीएम उषा योजना के तहत ये राशि मंजूर किया है. पीयू को काफी समय से इस राशि का इंतजार था. पीयू के आवेदन के बाद बिहार सरकार की तरफ से प्रस्ताव भेजे गए थे. एनआईआरएफ रैंकिंग, इन्फ्रास्ट्रक्चर और रिसर्च के लिए ये राशि दी जाएगी. इससे कई राज्यों की तुलना में पीयू को सबसे बड़ा फायदा मिलेगा.
पीएम ने बिहारवासियों को दिलाया था भरोसा: कुछ वर्षों पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पटना विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह में हिस्सा लिया था. मंच से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने हाथ जोड़कर विनती करते हुए कहा था कि प्रधानमंत्री जी पटना विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा दे दीजिए. पीएम ने उस मांग को खारिज कर दिया था लेकिन उन्होंने अंतरराष्ट्रीय स्तर का विश्वविद्यालय बनाने का वादा जरूर किया था.
क्या कहते हैं जानकार?: राजनीतिक विश्लेषक डॉक्टर संजय कुमार का मानना है कि युवाओं को साधने के लिए केंद्र सरकार ने बड़ा दाव खेला है. सरकार के इस फैसले से जहां नीतीश कुमार की नाराजगी कम होगी. वहीं पूरे बिहार में फैसले का सकारात्मक संदेश जाएगा. जाहिर तौर पर इसका फायदा एनडीए को विधानसभा चुनाव में भी मिल सकता है.
नीतीश की नाराजगी की चर्चा: असल में बिहार चुनाव 2025 में एनडीए की ओर से सीएम फेस को लेकर अमित शाह ने बयान दिया था. जिसके बाद से चर्चा है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार नाराज हैं. बिहार बिजनेस कनेक्ट 2024 में सीएम के शामिल नहीं होने को भी उनकी नाराजगी से जोड़कर देखा जा रहा है. हालांकि इस बीच मुख्यमंत्री की तबीयत भी ठीक नहीं थी. फिलहाल सीएम अपनी प्रगति यात्रा पर निकले हुए हैं.
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