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फर्जी पैथोलॉजी सेंटर कर रहे लोगों की जान से खिलवाड़, 'A +ve' को बता दिया 'O +ve' ब्लड ग्रुप

रोहतास जिले में एक पैथेलॉजी सेंटर के फर्जीवाड़ा का मामला सामने आया है. पैथोलॉजी सेंटर ने एक युवक का 'O +ve' ब्लड ग्रुप बता दिया, जबकि उसका ब्लड ग्रुप 'A +ve' है.

पैथोलॉजी जांच के नाम पर फर्जीवाड़ा
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Published : Jun 29, 2019, 1:11 PM IST

रोहतास: जिले में पैथोलॉजी जांच के नाम पर जमकर फर्जीवाड़े का खेल चल रहा है. ये पैथोलॉजी सेंटर लोगों की जान से खिलवाड़ कर रहे हैं. ताजा मामला डेहरी ऑन सोन का है, जहां दो अलग-अलग पैथोलॉजी सेंटर ने एक युवक का अलग-अलग ब्लड ग्रुप बता दिया. मामला संज्ञान में आते ही हड़कंप मच गया.

फर्जी पैथोलैब का फर्जीवाड़ा
दरअसल डेहरी इलाके के कमरन गंज के रहने वाले वाले तुषार चंद तब सकते में आ गए जब उन्होंने अपना ब्लड ग्रुप चेक कराया. कॉलेज में एक फॉर्म भरने के लिए तुषार को ब्लड ग्रुप के रिपोर्ट की आवश्यकता थी. इन्होंने डेहरी के ही एनीकट स्थित एक मेडिकल शॉप में अपना ब्लड सैंपल दिया. जब उसका रिपोर्ट आया तो वह चौंक गए. तुषार जानते थे कि उनका ब्लड ग्रुप A पॉजिटिव है. लेकिन जो रिपोर्ट आया उसमें ब्लड ग्रुप O पॉजिटिव बताया जा रहा था. उन्होंने कहा कि वह बचपन से लेकर अब तक कई बार अपना रक्त जांच करा चुके हैं, लेकिन उनका ब्लड ग्रुप A पॉजिटिव बताया जाता है फिर जांच में O पॉजिटिव कैसे आया यह समझ से परे है.

पैथोलॉजी सेंटर के नाम पर फर्जीवाड़ा

दूसरे पैथोलॉजी सेंटर ने बताया A पॉजिटिव ब्लड ग्रुप
श्योरिटी के लिए तुषार ने जांच के लिए तीन बार अपना ब्लड का सैंपल और तीनों बार वही ब्लड ग्रुप बताया गया. परेशान होकर तुषार शहर के दूसरे पैथोलॉजी सेंटर गए और वहां अपनी जांच कराई. वहां जांच में ब्लड ग्रुप A पॉजिटिव आया तब जाकर तुषार को संतुष्टि हुई.

साल भर पहले यह लैब हो चुका है बंद
मामला संज्ञान में आने पर ईटीवी भारत की टीम ने जक्खी बीघा के कुमार पैथोलैब जांच घर की खोजबीन की. जांच के बाद पता चला कि इस नाम का कोई भी पैथोलैब जक्खी बीघा में नहीं है. कुमार पैथोलैब की जांच रिपोर्ट पर जो मोबाइल नंबर प्रिंट है उस नंबर पर फोन करने पर डेहरी के अनुमंडल अस्पताल के पैथोलॉजी विभाग के कर्मचारी (लैब टेक्नीशियन) से बात होती है. वह बताते हैं कि साल भर पहले यह लैब बंद हो चुका है.

फर्जी पैथोलॉजी सेंटर चलाने वालों पर होगी कार्रवाई
इस संबंध में जब डेहरी एसडीएम लाल ज्योति नाथ शाहदेव से बात की गई तो उन्होंने कहा कि यह गंभीर मामला है. इससे पहले भी पैथोलॉजी सेंटर पर कार्रवाई की गई थी. मामला फिर संज्ञान में आया है. जल्द ही फर्जी पैथोलॉजी सेंटर चलाने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी.

रोहतास: जिले में पैथोलॉजी जांच के नाम पर जमकर फर्जीवाड़े का खेल चल रहा है. ये पैथोलॉजी सेंटर लोगों की जान से खिलवाड़ कर रहे हैं. ताजा मामला डेहरी ऑन सोन का है, जहां दो अलग-अलग पैथोलॉजी सेंटर ने एक युवक का अलग-अलग ब्लड ग्रुप बता दिया. मामला संज्ञान में आते ही हड़कंप मच गया.

फर्जी पैथोलैब का फर्जीवाड़ा
दरअसल डेहरी इलाके के कमरन गंज के रहने वाले वाले तुषार चंद तब सकते में आ गए जब उन्होंने अपना ब्लड ग्रुप चेक कराया. कॉलेज में एक फॉर्म भरने के लिए तुषार को ब्लड ग्रुप के रिपोर्ट की आवश्यकता थी. इन्होंने डेहरी के ही एनीकट स्थित एक मेडिकल शॉप में अपना ब्लड सैंपल दिया. जब उसका रिपोर्ट आया तो वह चौंक गए. तुषार जानते थे कि उनका ब्लड ग्रुप A पॉजिटिव है. लेकिन जो रिपोर्ट आया उसमें ब्लड ग्रुप O पॉजिटिव बताया जा रहा था. उन्होंने कहा कि वह बचपन से लेकर अब तक कई बार अपना रक्त जांच करा चुके हैं, लेकिन उनका ब्लड ग्रुप A पॉजिटिव बताया जाता है फिर जांच में O पॉजिटिव कैसे आया यह समझ से परे है.

पैथोलॉजी सेंटर के नाम पर फर्जीवाड़ा

दूसरे पैथोलॉजी सेंटर ने बताया A पॉजिटिव ब्लड ग्रुप
श्योरिटी के लिए तुषार ने जांच के लिए तीन बार अपना ब्लड का सैंपल और तीनों बार वही ब्लड ग्रुप बताया गया. परेशान होकर तुषार शहर के दूसरे पैथोलॉजी सेंटर गए और वहां अपनी जांच कराई. वहां जांच में ब्लड ग्रुप A पॉजिटिव आया तब जाकर तुषार को संतुष्टि हुई.

साल भर पहले यह लैब हो चुका है बंद
मामला संज्ञान में आने पर ईटीवी भारत की टीम ने जक्खी बीघा के कुमार पैथोलैब जांच घर की खोजबीन की. जांच के बाद पता चला कि इस नाम का कोई भी पैथोलैब जक्खी बीघा में नहीं है. कुमार पैथोलैब की जांच रिपोर्ट पर जो मोबाइल नंबर प्रिंट है उस नंबर पर फोन करने पर डेहरी के अनुमंडल अस्पताल के पैथोलॉजी विभाग के कर्मचारी (लैब टेक्नीशियन) से बात होती है. वह बताते हैं कि साल भर पहले यह लैब बंद हो चुका है.

फर्जी पैथोलॉजी सेंटर चलाने वालों पर होगी कार्रवाई
इस संबंध में जब डेहरी एसडीएम लाल ज्योति नाथ शाहदेव से बात की गई तो उन्होंने कहा कि यह गंभीर मामला है. इससे पहले भी पैथोलॉजी सेंटर पर कार्रवाई की गई थी. मामला फिर संज्ञान में आया है. जल्द ही फर्जी पैथोलॉजी सेंटर चलाने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी.

Intro:डेस्क बिहार
रिपोर्ट -रवि कुमार /सासाराम
स्लग-bh_roh_pythology_farjiwada_2019_exclusive_bh10023

रोहतास में पैथोलॉजी जांच के नाम पर जमकर फर्जीवाड़े का खेल चल रहा है सबसे बड़ी बात यह है कि पैथोलॉजी सेंटर लोगों की जान से भी खिलवाड़ कर रहे हैं ताजा मामला डेहरी ऑन सोन का है जहां एक युवक के दो दो अलग पैथोलॉजी सेंटर ने अलग-अलग ब्लड ग्रुप बता दिया मामला संज्ञान में आते ही हड़कंप मच गया


Body:दरअसल डेहरी इलाके के कमरन गंज के रहनेवाले वाले तुषार चंद तब सकते में आ गए जब उन्होंने अपना ब्लड ग्रुप चेक कराया अपने कॉलेज में एक फॉर्म भरने में तुषार को ब्लड ग्रुप के रिपोर्ट की आवश्यकता थी इन्होंने डेहरी के ही एनीकट स्थितएक मेडिकल शॉप में संचालित लव में अपना ब्लड सैंपल दिया जब उसका रिपोर्ट आया तो वह चौक गया क्योंकि तुषार जानते थे कि उनका ब्लड ग्रुप ए है लेकिन जो रिपोर्ट आया उसमें ब्लड ग्रुप को बताया जा रहा था उन्होंने कहा कि वह बचपन से लेकर अब तक कई बार अपना रक्त जांच करा चुके हैं लेकिन उनका ब्लड ग्रुप ए बताया जाता है फिर वह कैसे हो गया यह समझ से परे है

कुमार पैथोलैब नाम लैब ने फिर 3 बार उनके ब्लड का सैंपल लेकर जांच किया तथा बार-बार ब्लड ग्रुप वही बताया गया परेशान होकर तुषार शहर के दूसरे पैथोलॉजी सेंटर अपना रक्त जांच के लिए दिए तो वहां ब्लड ग्रुप फिर से बताया गया तब जाकर तुषार को संतुष्टि हुई

मामला संज्ञान में आने पर ईटीवी भारत की टीम ने जक्खी बीघा के कुमार पैथोलैब जांच घर की खोज बीन कि तो इस नाम का कोई भी जांच कर जक्खी बीघा में नहीं मिला जबकि कुमार कुमार पैथोलैब के जांच रिपोर्ट पर जो मोबाइल नंबर प्रिंट है उस पर फोन करने पर डेहरी के अनुमंडल अस्पताल के पैथोलॉजी विभाग के कर्मचारी (लैब टेक्नीशियन )से बात होती है जो बताता है कि साल भर पहले यह लैब बन्द हो चुका है जब उससे पूछा गया कि छ्ठे महीने में रिपोर्ट कैसे जारी कर दिया आपने तो वह फोन काट देता है तब आप समझ सकते हैं कि यह कितना बड़ा फर्जीवाड़ा है और मरीजों की जान से भी खेला जा रहा है जिस नाम से जांच रिपोर्ट दी जा रही है धरातल पर उस नाम का कोई लैब ही नहीं है


Conclusion:इस संबंध में जब डेहरी एसडीएम लाल ज्योति नाथ शाहदेव से बात की गई तो उन्होंने कहा कि यह गंभीर मामला है इससे पहले भी पैथोलॉजी सेंटर पर कार्रवाई की गई थी लेकिन आपके माध्यम से जानकारी मिली है जल्द ही फर्जी पैथोलॉजी सेंटर चलाने वालों पर कड़ी कार्यवाई की जाएगी

अब आप समझ सकते हैं कि रोहतास में कितनी स्थिति कितनी विकट हो गई है एक तरफ जहां कागज में पैथोलॉजी सेंटर चल रहे हैं वहीं एक शख्स का पैथोलॉजी सेंटर अलग-अलग ब्लड ग्रुप बता रहे हैं ऐसे में अगर मरीज की जान चली जाए तो उसका जवाब दे कौन होगा फिलहाल या गोरखधंधा जारी है
बाईट -तुषार चन्द (युवक )
बाईट -ब्रज किशोर सिंह पिता
बाईट - लाल ज्योति नाथ शाहदेव एसडीएम
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