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जन्म के 17 वर्ष बाद पहली बार सुन पाएगी दीपिका, शिक्षक मित्र समिति बनी सहारा - girl fitting hearing aids machine

पूर्ण रूप से विकसित मानव शरीर पाना ईश्वर के किसी आशीर्वाद से कम नहीं होता, परंतु यदि किसी कारणवश हम किसी एक भी ज्ञानेंद्रिय से वंचित रह जाते हैं, तो जीवन दूभर हो जाता है. ऐसा ही एक मामला रजवास गांव की रहने वाली एक बालिका के साथ हुआ है. बालिका बचपन से सुन नहीं पाती थी. उसकी इस समस्या का दूर करने में आगे आई शिक्षा मित्र समिति और उसने बालिका को हियरिंग एड मशीन लगवाई.

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बूंदी में शिक्षकों ने बालिका के लगवाई कानों से सुनने की मशीन
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Mar 18, 2024, 2:09 PM IST

दीपिका के लिए शिक्षक मित्र समिति बनी सहारा

बूंदी. राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय रजवास की कक्षा नौ की छात्रा को स्कूल के ही शिक्षकों ने पहल करते हुए हियरिंग एड मशीन लगाकर उसकी जिंदगी आसान करने में मदद की है. स्थानीय विद्यालय में कार्यरत वरिष्ठ अध्यापक नितेश मंडोवरा ने बताया कि छात्रा दीपिका महावर जन्म से ही कभी पूरी तरह सुन नहीं पाई. माता-पिता की अज्ञानता व गरीबी के कारण छात्रा का कभी भी ठीक से इलाज भी नहीं हो पाया, जिससे उसकी जिंदगी परिवार के लिए बोझ बनती जा रही थी. विद्यालय की ओर से कई बार सरकार की ओर से लगने वाले मेडिकल कैम्प में भी बालिका को भेजा गया, परंतु बालिका की समस्या का निदान नहीं हो पाया.

मंडोवरा ने बालिका के माता-पिता की काउंसलिंग कर ऑडियोमेट्री टेस्ट कराया. इंडियन हियरिंग सोसायटी के डॉ. एफ के खान ने बताया कि दीपिका की स्थिति बहुत खराब थी. बचपन से इसके दोनों कानों में पर्दा नहीं है. इसका बायां कान पूरी तरह से निष्क्रिय हो चुका है तथा दाएं कान में 40 प्रतिशत क्षमता बची है. अब डिजिटल मशीन से यह बालिका सत्रह साल बाद अपनी नॉर्मल लाइफ आसानी से जी सकेगी.

पढ़ें: गैंगरेप के बाद नाबालिग हुई 6 महीने की गर्भवती, दो आरोपी गिरफ्तार

मंडोवरा ने बताया कि बालिका की परेशानी देखते हुए शिक्षक मित्र समिति आगे आई. समिति के राजीव नंदन इनपतिया, अख्तर हुसैन, संदीप अग्रवाल, समीर परवेज, असगर हुसैन, रवि गौतम, घनश्याम बोयत ने आर्थिक मदद देकर बालिका को हियरिंग एड लगवाया. अब दीपिका सुन पाएगी और अपना जीवन सुगमता से जी पाएगी.

बोलना भी सिखाएगी शि​क्षिका : सुन नहीं पाने की वजह से बालिका बोलना भी नहीं सीख पाई, इसलिए अब इसी स्कूल शिक्षिका भगवती साहू बालिका की बोली सिखाने में मदद करेगी. बालिका को हियरिंग एड लगाने के अवसर पर विद्यालय की प्राचार्य गुड्डी मीणा ने बालिका को आशीर्वाद दिया और शिक्षक मित्र समिति का आभार व्यक्त किया.

दीपिका के लिए शिक्षक मित्र समिति बनी सहारा

बूंदी. राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय रजवास की कक्षा नौ की छात्रा को स्कूल के ही शिक्षकों ने पहल करते हुए हियरिंग एड मशीन लगाकर उसकी जिंदगी आसान करने में मदद की है. स्थानीय विद्यालय में कार्यरत वरिष्ठ अध्यापक नितेश मंडोवरा ने बताया कि छात्रा दीपिका महावर जन्म से ही कभी पूरी तरह सुन नहीं पाई. माता-पिता की अज्ञानता व गरीबी के कारण छात्रा का कभी भी ठीक से इलाज भी नहीं हो पाया, जिससे उसकी जिंदगी परिवार के लिए बोझ बनती जा रही थी. विद्यालय की ओर से कई बार सरकार की ओर से लगने वाले मेडिकल कैम्प में भी बालिका को भेजा गया, परंतु बालिका की समस्या का निदान नहीं हो पाया.

मंडोवरा ने बालिका के माता-पिता की काउंसलिंग कर ऑडियोमेट्री टेस्ट कराया. इंडियन हियरिंग सोसायटी के डॉ. एफ के खान ने बताया कि दीपिका की स्थिति बहुत खराब थी. बचपन से इसके दोनों कानों में पर्दा नहीं है. इसका बायां कान पूरी तरह से निष्क्रिय हो चुका है तथा दाएं कान में 40 प्रतिशत क्षमता बची है. अब डिजिटल मशीन से यह बालिका सत्रह साल बाद अपनी नॉर्मल लाइफ आसानी से जी सकेगी.

पढ़ें: गैंगरेप के बाद नाबालिग हुई 6 महीने की गर्भवती, दो आरोपी गिरफ्तार

मंडोवरा ने बताया कि बालिका की परेशानी देखते हुए शिक्षक मित्र समिति आगे आई. समिति के राजीव नंदन इनपतिया, अख्तर हुसैन, संदीप अग्रवाल, समीर परवेज, असगर हुसैन, रवि गौतम, घनश्याम बोयत ने आर्थिक मदद देकर बालिका को हियरिंग एड लगवाया. अब दीपिका सुन पाएगी और अपना जीवन सुगमता से जी पाएगी.

बोलना भी सिखाएगी शि​क्षिका : सुन नहीं पाने की वजह से बालिका बोलना भी नहीं सीख पाई, इसलिए अब इसी स्कूल शिक्षिका भगवती साहू बालिका की बोली सिखाने में मदद करेगी. बालिका को हियरिंग एड लगाने के अवसर पर विद्यालय की प्राचार्य गुड्डी मीणा ने बालिका को आशीर्वाद दिया और शिक्षक मित्र समिति का आभार व्यक्त किया.

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