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फुलवारी शरीफ रेप कांड में आरोपी को आजीवन कारावास, स्पीडी ट्रायल के तहत कोर्ट का फैसला - Phulwari Sharif Rape Case

Phulwari Sharif Rape Accused: फुलवारी शरीफ रेप कांड में स्पीडी ट्रायल के तहत कोर्ट ने सजा सुनाई है. दो बच्चियों के साथ हैवानियत करने और एक की हत्या मामले में कोर्ट ने आरोपी पर आजीवन कारावास और 1 लाख से अधिक का अर्थ दंड लगाया है. आगे पढ़ें क्या है पूरा मामला.

PHULWARI SHARIF RAPE CASE
फुलवारी शरीफ रेप कांड (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Jul 26, 2024, 6:39 PM IST

पटना: राजधानी पटना के फुलवारी शरीफ में 8 जनवरी 2024 की शाम 8 साल और 10 साल की दो बच्ची अपने घर से पड़ोस में जलावन लेने के लिए गई थी. उसकी मां घर में दोनों बच्चियों का खाना बनाने के लिए इंतजार कर रही थी लेकिन उसे क्या पता था कि बच्चियां जहां जलावन लाने जाएंगी वहां वो शख्स दरिंदा निकलेगा और बच्चियों को बहला-फुसलाकर उनके साथ दुष्कर्म करेगा. जब देर शाम हो गई और दोनों बच्ची घर नहीं लौटी तो परिवार वालों ने इसकी शिकायत फुलवारी शरीफ थाना को दी.

43 दिन के भीतर स्पीडी ट्रायल: इस मामले में न्यायालय में एडीजे 6 सह स्पेशल जज कमलेश चंद्र मिश्र ने पुलिस द्वारा दिए गए तमाम सबूत को देखते हुए आरोपी को सजा दी है. वहीं पश्चिमी एसपी अभिनव धीमान ने बताया है कि 8 जनवरी को फुलवारी शरीफ थाना क्षेत्र में आरोपी के द्वारा 8 साल और 10 साल की बच्ची के साथ दरिंदगी की गई थी. इसी मामले में पुलिस के द्वारा तमाम सबूत को साक्षी मानते हुए 43 दिन के भीतर स्पीडी ट्रायल चलकर आरोपी को सजा दिलाई गई है.

क्या है पूरा मामला?: बता दें कि परिजनों के लाख तलाश करने पर भी बच्चियों का कुछ पता नहीं चला. अगली सुबह जब महिलाएं 9 जनवरी को खेत में अपने पशुओं के लिए घास लाने गई, तो दोनों बच्चियों को वहां एक चार दिवारी के अंदर बेहोश पड़ा पाया. महिलाओं ने तुरंत इसकी सूचना बच्चियों के घर वालों को दी. फिर मौके पर पुलिस पहुंची, जहां 8 साल की बच्ची मृत पड़ी थी और 10 साल की बच्ची बेहोशी की हालात में थी. पुलिस वालों ने बेहोश बच्ची को पटना एम्स हॉस्पिटल में भर्ती कराया.

एक बच्ची की निर्मम हत्या: वहीं 8 साल की बच्ची के सिर पर दरिंदे ने पत्थर से हमला किया था, जिससे उसकी मौत हो गई थी. इस घटना के बाद स्थानीय लोगों ने जमकर बवाल भी काटा था. पटना एसएसपी के द्वारा त्वरित कार्रवाई करते हुए एसआईटी टीम का गठन किया गया. एसआईटी टीम ने तकनीकी अनुसंधान के आधार पर 24 घंटे के अंदर आरोपी को गांव से ही गिरफ्तार कर लिया था.

बच्ची के साथ किया दुष्कर्म फिर हत्या: पुलिस ने जब आरोपी से पूछताछ की तो उसने बताया कि वो दोनों बच्चियों को जलावन देने के बहाने खेत की तरफ ले गया. उसने 10 साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म किया जिसके बाद बच्ची बेहोश हो गई. उसके मन में डर था कि कहीं यह 8 साल की बच्ची किसी को बता ना दें इसलिए उसने बच्ची की हत्या कर दी और बेहोश बच्ची को मृत समझकर वहां से फरार हो गया. हालांकि पुलिस में आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया.

स्पीडी ट्रायल चलवाकर दी गई सजा: एसएसपी द्वारा गठित एसआईटी टीम के द्वारा एफएसएल और डॉग स्क्वाड की टीम से भी भरपूर मदद मिली. वहीं पुलिस ने एफएसएल टीम से प्राप्त रिपोर्ट और जांच के अन्य बिंदुओं पर काम करने के बाद 21 फरवरी को कोर्ट में प्राप्त सबूत उपलब्ध कराएं. घटना घटित होने के 43 दिन बाद पुलिस ने केस डायरी जमा कर दी और स्पीडी ट्रायल चलवाकर आरोपी को आजीवन कारावास और 1,15,000 अर्थ दंड दिलवाने का काम किया है.

"8 जनवरी 2024 की शाम एक 8 साल और 10 साल की बच्ची अपने घर से गांव के किसी के यहां जलावन लेने के लिए गई थी. उस समय आरोपी ने बच्चियों के साथ दुष्कर्म किया और एक बच्ची के सिर पर पत्थर से हमला कर उसकी हत्या कर दी. इस मामले में स्पीडी ट्रायल के तहत आरोपी को आजीवन कारावास और 115000 रुपये का अर्थ दंड न्यायालय के द्वारा दिया गया है."- अभिनव धीमान, वेस्ट एसपी पटना

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पटना: राजधानी पटना के फुलवारी शरीफ में 8 जनवरी 2024 की शाम 8 साल और 10 साल की दो बच्ची अपने घर से पड़ोस में जलावन लेने के लिए गई थी. उसकी मां घर में दोनों बच्चियों का खाना बनाने के लिए इंतजार कर रही थी लेकिन उसे क्या पता था कि बच्चियां जहां जलावन लाने जाएंगी वहां वो शख्स दरिंदा निकलेगा और बच्चियों को बहला-फुसलाकर उनके साथ दुष्कर्म करेगा. जब देर शाम हो गई और दोनों बच्ची घर नहीं लौटी तो परिवार वालों ने इसकी शिकायत फुलवारी शरीफ थाना को दी.

43 दिन के भीतर स्पीडी ट्रायल: इस मामले में न्यायालय में एडीजे 6 सह स्पेशल जज कमलेश चंद्र मिश्र ने पुलिस द्वारा दिए गए तमाम सबूत को देखते हुए आरोपी को सजा दी है. वहीं पश्चिमी एसपी अभिनव धीमान ने बताया है कि 8 जनवरी को फुलवारी शरीफ थाना क्षेत्र में आरोपी के द्वारा 8 साल और 10 साल की बच्ची के साथ दरिंदगी की गई थी. इसी मामले में पुलिस के द्वारा तमाम सबूत को साक्षी मानते हुए 43 दिन के भीतर स्पीडी ट्रायल चलकर आरोपी को सजा दिलाई गई है.

क्या है पूरा मामला?: बता दें कि परिजनों के लाख तलाश करने पर भी बच्चियों का कुछ पता नहीं चला. अगली सुबह जब महिलाएं 9 जनवरी को खेत में अपने पशुओं के लिए घास लाने गई, तो दोनों बच्चियों को वहां एक चार दिवारी के अंदर बेहोश पड़ा पाया. महिलाओं ने तुरंत इसकी सूचना बच्चियों के घर वालों को दी. फिर मौके पर पुलिस पहुंची, जहां 8 साल की बच्ची मृत पड़ी थी और 10 साल की बच्ची बेहोशी की हालात में थी. पुलिस वालों ने बेहोश बच्ची को पटना एम्स हॉस्पिटल में भर्ती कराया.

एक बच्ची की निर्मम हत्या: वहीं 8 साल की बच्ची के सिर पर दरिंदे ने पत्थर से हमला किया था, जिससे उसकी मौत हो गई थी. इस घटना के बाद स्थानीय लोगों ने जमकर बवाल भी काटा था. पटना एसएसपी के द्वारा त्वरित कार्रवाई करते हुए एसआईटी टीम का गठन किया गया. एसआईटी टीम ने तकनीकी अनुसंधान के आधार पर 24 घंटे के अंदर आरोपी को गांव से ही गिरफ्तार कर लिया था.

बच्ची के साथ किया दुष्कर्म फिर हत्या: पुलिस ने जब आरोपी से पूछताछ की तो उसने बताया कि वो दोनों बच्चियों को जलावन देने के बहाने खेत की तरफ ले गया. उसने 10 साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म किया जिसके बाद बच्ची बेहोश हो गई. उसके मन में डर था कि कहीं यह 8 साल की बच्ची किसी को बता ना दें इसलिए उसने बच्ची की हत्या कर दी और बेहोश बच्ची को मृत समझकर वहां से फरार हो गया. हालांकि पुलिस में आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया.

स्पीडी ट्रायल चलवाकर दी गई सजा: एसएसपी द्वारा गठित एसआईटी टीम के द्वारा एफएसएल और डॉग स्क्वाड की टीम से भी भरपूर मदद मिली. वहीं पुलिस ने एफएसएल टीम से प्राप्त रिपोर्ट और जांच के अन्य बिंदुओं पर काम करने के बाद 21 फरवरी को कोर्ट में प्राप्त सबूत उपलब्ध कराएं. घटना घटित होने के 43 दिन बाद पुलिस ने केस डायरी जमा कर दी और स्पीडी ट्रायल चलवाकर आरोपी को आजीवन कारावास और 1,15,000 अर्थ दंड दिलवाने का काम किया है.

"8 जनवरी 2024 की शाम एक 8 साल और 10 साल की बच्ची अपने घर से गांव के किसी के यहां जलावन लेने के लिए गई थी. उस समय आरोपी ने बच्चियों के साथ दुष्कर्म किया और एक बच्ची के सिर पर पत्थर से हमला कर उसकी हत्या कर दी. इस मामले में स्पीडी ट्रायल के तहत आरोपी को आजीवन कारावास और 115000 रुपये का अर्थ दंड न्यायालय के द्वारा दिया गया है."- अभिनव धीमान, वेस्ट एसपी पटना

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