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समर्थन मूल्य पर गेहूं बेचने को तैयार नहीं किसान, इंदौर की मंडियों में घट गई अनाज की खरीदी, वजह कर देगी हैरान - Wheat not sold at support price

मध्य प्रदेश सरकार किसानों को गेहूं खरीदी पर 125 रुपए का बोनस दे रही है. लेकिन इसके बावजूद गेहूं खरीदी की रफ्तार में तेजी नहीं आई है. किसान समर्थन मूल्य पर अपना गेहूं बेचने को तैयार नहीं है, क्योंकि उन्हें बाजार मूल्य में बेचने पर ज्यादा मुनाफा मिल रहा है. जिसके चलते अब इंदौर की मंडियों में गेंहू खरीदी घट गई है.

WHEAT NOT SOLD AT SUPPORT PRICE
इंदौर की मंडियों में घट गई अनाज की खरीदी (Getty Image)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : May 17, 2024, 12:01 PM IST

Updated : May 17, 2024, 1:55 PM IST

समर्थन मूल्य पर गेहूं बेचने को तैयार नहीं किसान (ETV BHARAT)

इंदौर। मालवांचल में गेहूं के उत्पादन में आई गिरावट के चलते इस बार किसान अपना गेहूं समर्थन मूल्य पर बेचने को तैयार नहीं हैं. दरअसल मंडियों के अलावा ओपन मार्केट में किसानों को समर्थन मूल्य से ज्यादा भाव मिल रहा है. यही वजह है कि इस बार इंदौर कृषि उपज मंडी में साड़े 3 लाख मैट्रिक टन की तुलना में करीब 1,68,000 मैट्रिक टन ही खरीदी इस साल हो पाई है.

गेहूं खरीद पर 125 रुपये बोनस

दरअसल किसानों को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से मध्य प्रदेश सरकार किसानों का गेहूं समर्थन मूल्य पर खरीदती है. इस बार समर्थन मूल्य में 2275 के अलावा 125 रुपए राज्य सरकार की तरफ से बोनस दिया गया है. इस प्रकार ₹2400 प्रति क्विंटल के करीब गेहूं के खरीदी समर्थन मूल्य पर इंदौर की विभिन्न मंडियों में की जा रही है, लेकिन स्थिति यह है कि समर्थन मूल्य पर खरीदी बंद होने के पहले तक इस साल निर्धारित लक्ष्य के अनुरूप खरीदी नहीं हो पाई है.

लक्ष्य तक नहीं पहुंच पा रही गेहूं की खरीदी

MARKFED (MP State Coperative Marketing Federation Limite) की मंडल प्रबंधक जेनिफर खान के मुताबिक, ''इस वर्ष 3,50,000 मैट्रिक टन का लक्ष्य सरकार की तरफ से दिया गया था. किंतु उसकी तुलना में आज दिनांक तक गेहूं की खरीदी 1,68,000 मैट्रिक टन के करीब हो पाई है. फिलहाल इंदौर जिले में समर्थन मूल्य के 91 खरीदी केंद्र पर गेहूं की खरीदी की जा रही है और मार्कफेड के मुताबिक इस बार गेहूं का उत्पादन अच्छा नहीं होने के कारण गेहूं के खरीदी लक्ष्य की पूर्ति होना संभव नहीं नजर आ रही है.''

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20 मई तक होगी गेहूं की खरीदी

जेनिफर खान के मुताबिक, ''इंदौर जिले में समर्थन मूल्य के गेहूं की आखिरी खरीदारी 20 मई तक होगी. एक अनुमान के मुताबिक, तब तक खरीदी करीब 1,80,000 मैट्रिक टन हो सकती है, इसके बाद समर्थन मूल्य की खरीदी किसानों के लिए भी बंद हो जाएगी.'' गौरतलब है इस बार गेहूं की आवक कम होने से मंडियों में भी गेहूं की खरीदी काम हो पाई है. इसके अलावा ओपन मार्केट में गेहूं करीब ₹3000 प्रति क्विंटल तक बिका है. जबकि समर्थन मूल्य पर किसानों को ₹2400 प्रति क्विंटल ही मिल पा रहे थे.

समर्थन मूल्य पर गेहूं बेचने को तैयार नहीं किसान (ETV BHARAT)

इंदौर। मालवांचल में गेहूं के उत्पादन में आई गिरावट के चलते इस बार किसान अपना गेहूं समर्थन मूल्य पर बेचने को तैयार नहीं हैं. दरअसल मंडियों के अलावा ओपन मार्केट में किसानों को समर्थन मूल्य से ज्यादा भाव मिल रहा है. यही वजह है कि इस बार इंदौर कृषि उपज मंडी में साड़े 3 लाख मैट्रिक टन की तुलना में करीब 1,68,000 मैट्रिक टन ही खरीदी इस साल हो पाई है.

गेहूं खरीद पर 125 रुपये बोनस

दरअसल किसानों को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से मध्य प्रदेश सरकार किसानों का गेहूं समर्थन मूल्य पर खरीदती है. इस बार समर्थन मूल्य में 2275 के अलावा 125 रुपए राज्य सरकार की तरफ से बोनस दिया गया है. इस प्रकार ₹2400 प्रति क्विंटल के करीब गेहूं के खरीदी समर्थन मूल्य पर इंदौर की विभिन्न मंडियों में की जा रही है, लेकिन स्थिति यह है कि समर्थन मूल्य पर खरीदी बंद होने के पहले तक इस साल निर्धारित लक्ष्य के अनुरूप खरीदी नहीं हो पाई है.

लक्ष्य तक नहीं पहुंच पा रही गेहूं की खरीदी

MARKFED (MP State Coperative Marketing Federation Limite) की मंडल प्रबंधक जेनिफर खान के मुताबिक, ''इस वर्ष 3,50,000 मैट्रिक टन का लक्ष्य सरकार की तरफ से दिया गया था. किंतु उसकी तुलना में आज दिनांक तक गेहूं की खरीदी 1,68,000 मैट्रिक टन के करीब हो पाई है. फिलहाल इंदौर जिले में समर्थन मूल्य के 91 खरीदी केंद्र पर गेहूं की खरीदी की जा रही है और मार्कफेड के मुताबिक इस बार गेहूं का उत्पादन अच्छा नहीं होने के कारण गेहूं के खरीदी लक्ष्य की पूर्ति होना संभव नहीं नजर आ रही है.''

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20 मई तक होगी गेहूं की खरीदी

जेनिफर खान के मुताबिक, ''इंदौर जिले में समर्थन मूल्य के गेहूं की आखिरी खरीदारी 20 मई तक होगी. एक अनुमान के मुताबिक, तब तक खरीदी करीब 1,80,000 मैट्रिक टन हो सकती है, इसके बाद समर्थन मूल्य की खरीदी किसानों के लिए भी बंद हो जाएगी.'' गौरतलब है इस बार गेहूं की आवक कम होने से मंडियों में भी गेहूं की खरीदी काम हो पाई है. इसके अलावा ओपन मार्केट में गेहूं करीब ₹3000 प्रति क्विंटल तक बिका है. जबकि समर्थन मूल्य पर किसानों को ₹2400 प्रति क्विंटल ही मिल पा रहे थे.

Last Updated : May 17, 2024, 1:55 PM IST
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