ग्वालियर: कैलारस शुगर मिल के मजदूरों का लंबित भुगतान 3 महीने के भीतर किया जाएगा. इसको लेकर मुरैना कलेक्टर अंकित अस्थाना ने हाईकोर्ट में पत्र दाखिल किया है. बता दें कि कैलारस शुगर मिल कारखाने की महिला कर्मी लहोई बाई शाक्य ने 2018 में अपने लंबित और ग्रेच्युटी के भुगतान को लेकर रिट पिटीशन हाई कोर्ट में दायर की थी.
कलेक्टर ने कोर्ट को दिया एफिडेविट
हाई कोर्ट के निर्देश के बाद कैलारस शुगर मिल के मजदूरों को एक बड़ी राहत मिली है. इस मामले को लेकर पिछले दिनों कलेक्टर अंकित अस्थाना को हाईकोर्ट ने व्यक्तिगत रूप से तलब किया था. हाई कोर्ट ने उनसे पूछा था, कि कैलारस शुगर मिल के 56 मजदूरों के ग्रेच्युटी का भुगतान कितने दिनों में किया जाएगा. इसे लेकर कलेक्टर को एफिडेविट देना होगा. इसके बाद अब कलेक्टर अंकित अस्थाना ने हाईकोर्ट में अपना एफिडेविट देकर बताया है, कि 3 महीने के भीतर 56 मजदूरों का लगभग 4 करोड़ से अधिक लंबित भुगतान कर दिया जाएगा.
ढाई दशक से बंद है शुगर मिल
बताया जाता है कि चंबल अंचल की कैलारस शुगर मिल कभी देशभर में अपनी शक्कर के लिए विख्यात थी, लेकिन पिछले ढाई दशक से भी अधिक समय से यह बंद पड़ी हुई है. कहा जाता है कि इस मिल को दोबारा चालू करने के लिए सतही तौर पर प्रयास नहीं हुए. जिससे आसपास के किसानों का गन्ने का उत्पादन दिनों दिन घटता चला गया और यहां काम करने वाले मजदूर भी बेरोजगार हो गए.