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नौकरी लगवाने के नाम पर ठगी, फर्जी बैंक कर्मचारी बनकर साढ़े तीन लाख का लगाया चूना, पुलिस ने शाहपुरा से दबोचा - fraudster arrested

चित्तौड़गढ़ में नौकरी लगवाने के नाम पर ठगी करने वाले एक शख्स को पुलिस ने दबोचा है. पुलिस ने जालसाज को लोकेशन ट्रेस कर उसे शाहपुरा जिला से गिरफ्तार किया है.

जालसाज गिरफ्तार
जालसाज गिरफ्तार
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Mar 31, 2024, 12:11 PM IST

चित्तौडगढ़. रोडवेज आगार के चालक के साथ करीब साढ़े तीन लाख रुपए की ठगी करने के आरोपी को पुलिस ने शाहपुरा से दबोच लिया. उसने खुद को बैंक कर्मचारी और भाई को रेलवे में महाप्रबंधक बताते हुए चालक के बेटे और दामाद को नौकरी लगने का झांसा दिया था. आरोपी के सजातीय होने के कारण चालक ने विश्वास कर लिया और उसे 3,60000 रुपए थमा दिए. पैसा लेने के दूसरे ही दिन आरोपी फरार हो गया. लोकेशन ट्रेस आउट करते हुए पुलिस ने उसे शाहपुर जिले से गिरफ्तार किया है.

जिला पुलिस अधीक्षक सुधीर जोशी के अनुसार ने रोडवेज बस चालक प्रितमराज मीणा द्वारा इस संबंध में कोतवाली पुलिस थाने में रिपोर्ट दी गई थी. रिपोर्ट के अनुसार बामनवास तहसील गगांपुर सिटी, करौली निवासी कमलेश कुमार मीणा ने खुद को बैंक आफॅ बडोदा का कर्मचारी बताया और कहा कि उसका भाई रेलवे में जीएम है. भाई जल्द ही रिटायर्ड होने वाला है जो किसी को भी नौकरी लगा सकता है. प्रीतम राज उसके उसके जालसाजी फंस गया और अपने पुत्र तथा दामाद को नौकरी लगवाने की बात फाइनल कर ली. कमलेश ने दोनों की नौकरी के लिए 360000 रुपए की डिमांड की और प्रीतम राज ने दूसरे ही दिन उसे नकद राशि थमा दी. आरोपी कमलेश ने राशि लेने के बाद अपना मोबाइल स्विच ऑफ कर दिया और फरार हो गया. इसके बाद प्रीतम राज को अपने साथ ठगी होने का एहसास हुआ और थाने पहुंचा. इस धोखाधड़ी की जांच एएसआई रतन सिंह द्वारा की की जा रही है.

पढ़ेें : वाट्सएप पर लिंक क्लिक करने से बैंक खाता हो सकता है खाली, जानें कैसे लगी लाखों की चपत - Cyber Crime

मामले में एएसपी परबत सिंह व डीएसपी चितौड़गढ तेज कुमार पाठक के सुपरविजन एवं थानाधिकारी कोतवाली संजीव स्वामी के नेतृत्व में गठित टीम ने साईबर सेल के सहयोग से आरोपी को पण्डेर कंजर कॉलोनी पुलिस थाना पण्डेर शाहपुरा से 58 वर्षीय कमल उर्फ कमलेश कुमार उर्फ हरकेश मीणा पुत्र रामसहाय मीणा को दबोचा और चित्तौड़गढ़ ले आई. पुलिस आरोपी से ठगी गई राशि बरामद करने के प्रयासों में जुटी है.

चित्तौडगढ़. रोडवेज आगार के चालक के साथ करीब साढ़े तीन लाख रुपए की ठगी करने के आरोपी को पुलिस ने शाहपुरा से दबोच लिया. उसने खुद को बैंक कर्मचारी और भाई को रेलवे में महाप्रबंधक बताते हुए चालक के बेटे और दामाद को नौकरी लगने का झांसा दिया था. आरोपी के सजातीय होने के कारण चालक ने विश्वास कर लिया और उसे 3,60000 रुपए थमा दिए. पैसा लेने के दूसरे ही दिन आरोपी फरार हो गया. लोकेशन ट्रेस आउट करते हुए पुलिस ने उसे शाहपुर जिले से गिरफ्तार किया है.

जिला पुलिस अधीक्षक सुधीर जोशी के अनुसार ने रोडवेज बस चालक प्रितमराज मीणा द्वारा इस संबंध में कोतवाली पुलिस थाने में रिपोर्ट दी गई थी. रिपोर्ट के अनुसार बामनवास तहसील गगांपुर सिटी, करौली निवासी कमलेश कुमार मीणा ने खुद को बैंक आफॅ बडोदा का कर्मचारी बताया और कहा कि उसका भाई रेलवे में जीएम है. भाई जल्द ही रिटायर्ड होने वाला है जो किसी को भी नौकरी लगा सकता है. प्रीतम राज उसके उसके जालसाजी फंस गया और अपने पुत्र तथा दामाद को नौकरी लगवाने की बात फाइनल कर ली. कमलेश ने दोनों की नौकरी के लिए 360000 रुपए की डिमांड की और प्रीतम राज ने दूसरे ही दिन उसे नकद राशि थमा दी. आरोपी कमलेश ने राशि लेने के बाद अपना मोबाइल स्विच ऑफ कर दिया और फरार हो गया. इसके बाद प्रीतम राज को अपने साथ ठगी होने का एहसास हुआ और थाने पहुंचा. इस धोखाधड़ी की जांच एएसआई रतन सिंह द्वारा की की जा रही है.

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मामले में एएसपी परबत सिंह व डीएसपी चितौड़गढ तेज कुमार पाठक के सुपरविजन एवं थानाधिकारी कोतवाली संजीव स्वामी के नेतृत्व में गठित टीम ने साईबर सेल के सहयोग से आरोपी को पण्डेर कंजर कॉलोनी पुलिस थाना पण्डेर शाहपुरा से 58 वर्षीय कमल उर्फ कमलेश कुमार उर्फ हरकेश मीणा पुत्र रामसहाय मीणा को दबोचा और चित्तौड़गढ़ ले आई. पुलिस आरोपी से ठगी गई राशि बरामद करने के प्रयासों में जुटी है.

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