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आसाराम को उपचार के नाम नही दी राहत, कोर्ट ने कहा एम्स दिल्ली में करवा सकते हैं उपचार - राजस्थान हाईकोर्ट

आजीवन कारावास की सजा काट रहे यौन शोषण के आरोपी आसाराम की उपचार के लिए पेश आवेदन याचिका फिर खारिज हो गई.

आसाराम को उपचार के नाम नही दी राहत
आसाराम को उपचार के नाम नही दी राहत
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Feb 9, 2024, 10:23 PM IST

जोधपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने आसाराम की ओर से अपना उपचार करवाने के लिए पेश याचिका को सुनवाई के बाद यह कहते हुए खारिज कर दिया गया कि वो उपचार करवाना ही नही चाहते है. जस्टिस दिनेश मेहता व जस्टिस विनित कुमार माथुर की खंडपीठ में आसाराम की ओर से उपचार करवाने की याचिका पेश की गई थी. आसाराम की ओर से पेश याचिका में कहा गया कि सलाह के अनुसार उपचार करवाने की अनुमति दी जाए.

याचिका में मेदांता अस्पताल गुरूग्राम में बाइपास सर्जरी या एंजियोप्लास्टी के लिए या फिर वैकल्पिक रूप से इंटरनल हार्ट केयर सेंटर जयपुर में उपचार की अनुमति दी जाए. याचिका में यह भी कहा गया कि एक निजी चिकित्सक देखभाल के लिए और दो परिचारक उपचार के दोरान और उसके साथ यात्रा करते समय साथ रहे. याचिका में यह भी कहा गया कि 02 फरवरी 2024 को निदेशक एम्स जोधपुर द्वारा गठित मेडिकल बोर्ड द्वारा मरीज की हालत बेहद गंभीर है. उसका उपचार हायर सेंटर पर करवाने के लिए एम्स नई दिल्ली रेफर करना चाहिए.

पढ़ें: आसाराम को नहीं मिली राहत, इलाज के लिए जमानत याचिका को हाईकोर्ट ने किया खारिज

सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने कहा कि इन सब अस्पतालों की बजाय आसाराम का उपचार जोधपुर के आरोग्यधाम केन्द्र के चिकित्सक डॉ अरूण त्यागी जो कि वर्तमान में जेल में जाकर भी उपचार कर रहे हैं या फिर डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय जोधपुर में करवाया जा सकता है. मामले पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने कहा कि निजी आयुर्वेद केन्द्र पर आसाराम का उपचार करवाना संभव नही है. आसाराम के अनुयायी और उसके खिलाफ जो अपराध है एवं दोषी करार दिया गया है. ऐसे में ना केवल पुलिस के लिए बल्कि अन्य मरीजों के लिए भी खतरा व परेशानी पैदा हो सकती है. कोर्ट ने कहा कि याचिका में आयुर्वेद केन्द्र व आयुर्वेद विश्वविद्यालय से उपचार की प्रार्थना ही नही है ऐसे में उसे खारिज कर दिया.

पढ़ें: आसाराम को हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत, जमानत के बाद दूसरी पैरोल याचिका भी खारिज

आसाराम की ओर से मेदांता अस्पताल गुरूग्राम या इंटरनल हार्ट केयर सेंटर जयपुर से भी याचिकाकर्ता का उपचार नही करवाया जा सकता है क्योंकि एम्स अस्पताल ने एम्स नई दिल्ली से उपचार के लिए सलाह दी है. कोर्ट ने उपचार के लिए पेश याचिका को खारिज कर दिया है. कोर्ट ने साथ में यह भी कहा है कि एम्स अस्पताल नई दिल्ली से करवाना चाहता है तो उसका अनुरोध कर सकते है इसके लिए कोर्ट उचित समझेगा तो एयर एम्बुलेंस से नई दिल्ली भेजने का आदेश किया जा सकता है वो भी मेडिकल परिचारक व दो पुलिस कांस्टेबल के साथ भेजने पर विचार कर सकते हैं, इसके लिए आसाराम नए सिरे से आवेदन कर सकता है. आसाराम को अपना इलाज कराने में कोई दिलचस्पी नही है एम्स नई दिल्ली में करवाने की इसीलिए यह याचिका खारिज की जाती है. एम्स नई दिल्ली में उपचार करवाने के लिए याचिकाकर्ता स्वतंत्र है एम्स जोधपुर की रिपोर्ट के अनुसार रेफरल अनुसार भेजा जा सकता है उसके लिए आवेदन कर सकता है.

जोधपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने आसाराम की ओर से अपना उपचार करवाने के लिए पेश याचिका को सुनवाई के बाद यह कहते हुए खारिज कर दिया गया कि वो उपचार करवाना ही नही चाहते है. जस्टिस दिनेश मेहता व जस्टिस विनित कुमार माथुर की खंडपीठ में आसाराम की ओर से उपचार करवाने की याचिका पेश की गई थी. आसाराम की ओर से पेश याचिका में कहा गया कि सलाह के अनुसार उपचार करवाने की अनुमति दी जाए.

याचिका में मेदांता अस्पताल गुरूग्राम में बाइपास सर्जरी या एंजियोप्लास्टी के लिए या फिर वैकल्पिक रूप से इंटरनल हार्ट केयर सेंटर जयपुर में उपचार की अनुमति दी जाए. याचिका में यह भी कहा गया कि एक निजी चिकित्सक देखभाल के लिए और दो परिचारक उपचार के दोरान और उसके साथ यात्रा करते समय साथ रहे. याचिका में यह भी कहा गया कि 02 फरवरी 2024 को निदेशक एम्स जोधपुर द्वारा गठित मेडिकल बोर्ड द्वारा मरीज की हालत बेहद गंभीर है. उसका उपचार हायर सेंटर पर करवाने के लिए एम्स नई दिल्ली रेफर करना चाहिए.

पढ़ें: आसाराम को नहीं मिली राहत, इलाज के लिए जमानत याचिका को हाईकोर्ट ने किया खारिज

सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने कहा कि इन सब अस्पतालों की बजाय आसाराम का उपचार जोधपुर के आरोग्यधाम केन्द्र के चिकित्सक डॉ अरूण त्यागी जो कि वर्तमान में जेल में जाकर भी उपचार कर रहे हैं या फिर डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय जोधपुर में करवाया जा सकता है. मामले पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने कहा कि निजी आयुर्वेद केन्द्र पर आसाराम का उपचार करवाना संभव नही है. आसाराम के अनुयायी और उसके खिलाफ जो अपराध है एवं दोषी करार दिया गया है. ऐसे में ना केवल पुलिस के लिए बल्कि अन्य मरीजों के लिए भी खतरा व परेशानी पैदा हो सकती है. कोर्ट ने कहा कि याचिका में आयुर्वेद केन्द्र व आयुर्वेद विश्वविद्यालय से उपचार की प्रार्थना ही नही है ऐसे में उसे खारिज कर दिया.

पढ़ें: आसाराम को हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत, जमानत के बाद दूसरी पैरोल याचिका भी खारिज

आसाराम की ओर से मेदांता अस्पताल गुरूग्राम या इंटरनल हार्ट केयर सेंटर जयपुर से भी याचिकाकर्ता का उपचार नही करवाया जा सकता है क्योंकि एम्स अस्पताल ने एम्स नई दिल्ली से उपचार के लिए सलाह दी है. कोर्ट ने उपचार के लिए पेश याचिका को खारिज कर दिया है. कोर्ट ने साथ में यह भी कहा है कि एम्स अस्पताल नई दिल्ली से करवाना चाहता है तो उसका अनुरोध कर सकते है इसके लिए कोर्ट उचित समझेगा तो एयर एम्बुलेंस से नई दिल्ली भेजने का आदेश किया जा सकता है वो भी मेडिकल परिचारक व दो पुलिस कांस्टेबल के साथ भेजने पर विचार कर सकते हैं, इसके लिए आसाराम नए सिरे से आवेदन कर सकता है. आसाराम को अपना इलाज कराने में कोई दिलचस्पी नही है एम्स नई दिल्ली में करवाने की इसीलिए यह याचिका खारिज की जाती है. एम्स नई दिल्ली में उपचार करवाने के लिए याचिकाकर्ता स्वतंत्र है एम्स जोधपुर की रिपोर्ट के अनुसार रेफरल अनुसार भेजा जा सकता है उसके लिए आवेदन कर सकता है.

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