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लातेहार ट्रेन हादसे में घायल दो वर्षीय पीहू कुमारी की हालत गंभीर, परिजनों ने रेलवे प्रशासन से लगाई मदद की गुहार - Latehar train accident

Two year old Pihu Kumari critical condition. झारखंड के लातेहार में ट्रेन हादसे ने कई लोगों को लील लिया. इस हादसे में घायल दो वर्षीय पीहू कुमारी का रांची में इलाज चल रहा है. बच्ची की गंभीर स्थिति को देखते हुए परिजनों ने रेलवे प्रशासन से मदद की गुहार लगाई है.

Two year old Pihu Kumari critical condition after train accident in Latehar
रांची में इलाजरत पीहू कुमारी (Etv Bharat)

By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : Jun 15, 2024, 7:44 PM IST

रांची: लातेहार के कुमांडीह में रेल हादसे में घायल दो वर्ष की पीहू कुमारी जिंदगी और मौत के बीच संघर्ष कर रही है. शुक्रवार देर रात हुए ट्रेन हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई, वहीं पीहू कुमारी गंभीर रूप से जख्मी हो गई. पीहू के सिर में चोट आई है और उसके सिर में ब्लड की क्लॉटिंग हो गयी है.

जानकारी देते रिम्स के चिकित्सक (ETV Bharat)

इस घटना के बाद बच्ची के परिजन उसे आनन-फानन में शुक्रवार की देर रात रांची के रिम्स में भर्ती कराया. रिम्स में लगभग कई घंटे तक बच्ची का इलाज हुआ लेकिन परिजन अस्पताल में हो रहे इलाज से संतुष्ट नहीं हुए. जिस वजह से परिजनों ने रिम्स प्रबंधन को बिना बताए ही वहां से बच्ची को लेकर रांची के रानी चिल्ड्रेन अस्पताल में भर्ती करवा दिया. शुक्रवार देर रात रिम्स में डॉक्टरों द्वारा प्राथमिक इलाज करने के बाद परिजनों को बच्ची के ऑपरेशन की सलाह दी गई. इस बीच परिजन निजी अस्पताल में बच्ची का इलाज करवाना चाहते थे इसीलिए वे रिम्स प्रबंधन को बताए बगैर निजी अस्पताल में भर्ती करवा दिया.

शुक्रवार को रिम्स में भर्ती होने के बाद पीहू कुमारी का इलाज डॉक्टर आनंद कुमार कर रहे थे. डॉ. आनंद कुमार ने बताया कि बच्ची की स्थिति देर रात काफी गंभीर थी, इसीलिए परिजनों को ऑपरेशन की सलाह दी गई थी. मेडिकल टीम की तरफ से ऑपरेशन की तैयारी की जा रही थी लेकिन इसी बीच शनिवार की सुबह 11:00 बजे डॉक्टर्स और स्वास्थ्य कर्मियों को बिना बताए परिजन बच्ची को लेकर रिम्स से चले गए. रानी चिल्ड्रेन में परिजन वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. राजेश कुमार की निगरानी में पीहू का इलाज करवा रहे हैं.

पीहू कुमारी के चाचा संजीव कुमार बताते हैं कि फिलहाल बच्ची की स्थिति में सुधार हो रहा है. उन्होंने बताया कि बच्ची अपनी मां के साथ औरंगाबाद के नवीनगर जा रही थी, बच्ची के साथ उसकी मां और एक छोटी बहन भी थी. ट्रेन में जब खबर फैली कि पूरे बोगी में आग लग गई है तो पीहू की छोटी बहन को लेकर उसकी मां नीचे उतरी और ट्रेन की बोगी में बैठी एक अन्य महिला पीहू को बचाने के लिए उसे लेकर जैसे ही ट्रेन से निकली तो वो महिला दूसरी ओर से डाउनलाइन में आ रही मालगाड़ी के नीचे आ गईं. जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई. इसमें बच्ची की जान तो बच गई लेकिन पीहू के सिर पर गंभीर चोट आई है.

पीहू के चाचा संजीव कुमार ने कहा कि शनिवार को रेलवे के कई अधिकारी बच्ची का हाल जानने आए और पचास हजार रुपये की मदद भी किए हैं. उन्होंने सरकार से गुहार लगाते हुए कहा कि जब रेलवे विभाग की गलती की वजह से इस तरह की घटना हुई है तो उन्हें बच्ची के इलाज की जिम्मेदारी भी लेनी चाहिए. बच्ची के परिजनों ने कहा कि निजी अस्पताल में इलाज करवाने की हैसियत उनके परिवार की नहीं है क्योंकि वह सभी मध्यम वर्ग परिवार से ताल्लुक रखते हैं. फिलहाल बच्ची की स्थिति में सुधार है लेकिन डॉक्टर्स की निगरानी में पीहू को वेंटिलेटर पर रखा गया है.

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