नई दिल्ली: 400 से ज्यादा सीसीटीवी फुटेज और 200 से ज्यादा गाड़ियों को छानने के बाद दिल्ली पुलिस और किशनगढ़ थाना पुलिस की ज्वाइंट टीम ने 28 मार्च को एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश किया जो चोरी की कई बड़ी वारदातों को अंजाम दे चुका है.
सेंधमारी करने वाले इस गिरोह के सरगना समेत तीन बदमाशों को गिरफ्तार किया गया है. आरोपियों में रंजीत सोनी, सौरभ और सोनू गिरफ्तार हुए हैं जिनके पास से एक करोड़ रुपए के आभूषण, घर तोड़ने के औजार और आभूषण गलाने वाली मशीन बरामद की गई है. पुलिस के मुताबिक आरोपी रंजीत इस गिरोह का सरगना है और बाकि लोगों को वारदात के लिए कमीशन पर रखा करता था. आरोपी ने चोरी का सामान रखने के लिए एक फ्लैट भी किराए पर लिया हुआ था. फिलहाल पुलिस आरोपियों के बाकी साथियों की जानकारी जुटा रही है.
पुलिस उपायुक्त रोहित मीणा ने बताया कि 9 मार्च को सफदरजंग एन्क्लेव थाने में ज्योति मनोचा नाम की महिला ने अपने घर में चोरी की ई-एफआईआर दर्ज की थी. पुलिस अभी इस मामले की जांच कर रही थी, इसी दौरान 16 मार्च को पंकज मिश्रा ने भी अपने घर में चोरी की ई-एफआईआर दर्ज की. पुलिस टीम ने जांच के दौरान पाया कि दोनों वारदात मिलती जुलती है और एक ही तरीके से अंजाम दी गई है. जिससे आशंका जताई जा रही थी दोनों को एक ही शख्स ने अंजाम दिया है.
चार सौ कैमरे, सौ वाहनों की जांच की
संयुक्त टीम ने आरोपियों को पकड़ने के लिए दोनों घटनाओं के चार सौ से ज्यादा सीसीटीवी फुटेज और सौ से ज्यादा वाहनों की जांच की. सीसीटीवी फुटेज से पुलिस को 4 संदिग्धों के फोटो मिले. एक फुटेज में चारों संदिग्ध ऑटो में बैठते दिखे. पुलिस ने ऑटो के नम्बर से ऑटो चालक को दबोच लिया. उसने पूछताछ में बताया कि चारो आरोपी उसके ऑटो से जंगपुरा गए थे. पुलिस टीम ने वहां पहुंचकर जांच की तो पता चला कि उस दिन वहां भी चोरी की वारदात हुई थी.