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वर्ल्ड कैंसर डे: कुमाऊं में 13 साल में दोगुनी से अधिक हुई कैंसर रोगियों की संख्या, डरा रहे बढ़ते आंकड़े - world cancer day

Cancer patient in Haldwani देश में हर साल कैंसर के मरीजों की संख्या बढ़ रही है. जिसका मुख्य कारण अनियमित जीवनशैली और खानपान है. समय रहते बीमारी का पता चल जाए और उपचार किया जाए तो इस पर काबू पाया जा सकता है. वहीं कुमाऊं मंडल में कैंसर रोगियों की संख्या साल दर साल बढ़ती जा रही है.

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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Feb 4, 2024, 12:12 PM IST

हल्द्वानी: कैंसर से हर साल लाखों लोगों की मौतें होती हैं. इसलिए इस बीमारी के प्रति लोगों को अधिक से अधिक जागरूक बनाने के लिए हर साल 4 फरवरी को वर्ल्ड कैंसर डे मनाया जाता है. बात उत्तराखंड की करें तो कैंसर के मरीजों की संख्या में काफी इजाफा हुआ है. हल्द्वानी स्थित स्वामी राम कैंसर अस्पताल के आंकड़ों के मुताबिक कुमाऊं मंडल में भी कैंसर रोगियों की संख्या लगातार बढ़ रही है.

बताया जा रहा है कि हल्द्वानी स्थित स्वामी राम कैंसर चिकित्सालय का साल 2009 में शुभारंभ हुआ जहां बीते 13 साल में कैंसर मरीजों की संख्या दो गुना से अधिक वृद्धि हुई. साल 2010 में जहां कैंसर के कुल 2889 मरीज ही इलाज के लिए अस्पताल में पहुंचते थे, वहीं साल 2023 तक दायरा करीब दो गुना तक बढ़ा है. कैंसर अस्पताल में इलाज कराने आए मरीजों की संख्या करीब 6574 तक पहुंची है, जिसमें ओपीडी से लेकर भर्ती मरीजों की संख्या शामिल है.
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कैंसर इंस्टीट्यूट के निदेशक डॉ. केसी पांडे ने बताया कि चिकित्सालय में हर साल हजारों की तादाद में कैंसर रोगी इलाज के लिए पहुंचते हैं. इसमें सबसे ज्यादा पुरुषों में सिर, गर्दन और मुंह का कैंसर, जबकि महिलाओं में स्तन कैंसर और सर्वाइकल कैंसर के केस सामने आये हैं. उन्होंने बताया कि बीते कुछ सालों में मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है. डॉक्टरों के मुताबिक अगर शरीर में कोई गांठ आदि है या कोई बदलाव महसूस हो रहा है तो उसे नजरअंदाज न करें, तत्काल डॉक्टर से संपर्क करें.
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अगर पहली स्टेज में बीमारी का पता चलता है तो उसके ठीक होने के उम्मीद 90 प्रतिशत तक होती है. दूसरी स्टेज में बीमारी के ठीक होने के 70 प्रतिशत और तीसरी स्टेज में 50 प्रतिशत होती हैं. चौथी स्टेज में 20 प्रतिशत ही उम्मीद रहती. प्रतिदिन खराब जीवनशैली और खराब खान-पान लेना ही इस जानलेवा बीमारी का मुख्य कारण है.

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