मुनाफे का सौदा बनी कटहल की खेती (ETV BHARAT Bharatpur) भरतपुर. जिले के जागरूक किसान के लिए कटहल की खेती मुनाफे का सौदा साबित हो रही है. लंबे समय तक भारी मात्रा में पैदावार देने वाले कटहल के पेड़ किसानों के लिए बुढ़ापे की पेंशन साबित हो रहे हैं. जिले के वैर, भुसावर और छौंकरवाड़ा क्षेत्र में अधिकतर किसान कटहल की बागवानी से जुड़े हैं. आइए जानते हैं कि कटहल के पौधे किस मौसम में और किस तरह से लगाएं और कटहल की खेती कैसे मुनाफे का सौदा साबित हो रही है.
अधिकतर किसान के खेत पर कटहल के पेड़ :भुसावर के किसान ओम प्रकाश ने बताया कि क्षेत्र में किसान बड़ी संख्या में बागवानी से जुड़े हैं. किसानों ने अपने खेतों पर काफी संख्या में कटहल के पेड़ लगा रखे हैं. कुछ किसान पूरी तरह से कटहल की बागवानी की तरफ मुड़ने लगे हैं. ऐसे में जिन किसानों के खेतों पर कटहल के पेड़ लगे हुए हैं वो किसान अन्य बागवानी के साथ कटहल की पैदावार भी उठा रहे हैं.
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अच्छे भाव से भर रही झोली :किसान ओम प्रकाश ने बताया कि इन दिनों कटहल की पैदावार हो रही है. एक एक पेड़ पर 1 टन (1 हजार किलो) से 4 टन तक की पैदावार हो रही है. एक एक फल का वजन 20 से 25 किलो तक हो जाता है. इन दिनों मंडी में किसान को कटहल का भाव 40 से 50 रुपए किलो तक मिल रहा है. यानी किसान एक एक पेड़ से हजारों-लाखों रुपए तक की पैदावार ले रहा है.
ऐसे करें बुआई :कृषि महाविद्यालय के डीन डॉ. उदयभान सिंह ने बताया कि कटहल के पौधे लगाने का मई-जून का महीना सही समय है. पौधे लगाने से पहले करीब 10-10 मीटर की दूरी पर 1-1 मीटर व्यास व एक मीटर गहरा गड्ढे तैयार करें. गढ्ढे में 25 किलो गोबर का खाद, 250 ग्राम सिंगल सुपर फास्फेट, 250 ग्राम पोटाश और एक किलो नीम की खली से भर दें. गढ्ढे तैयार करने के बाद बरसात का मौसम शुरू होते ही इन गड्ढों में कटहल के पौधे लगाएं. आजकल कई किस्म ऐसी हैं जिनके पौधे दो-तीन साल में ही फल देना शुरू कर देते हैं. सामान्यतौर पर पांच-छह साल में अच्छी मात्रा में फल देना शुरू कर देता है.
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ये किस्म उपयुक्त : डॉ. उदयभान ने बताया कि कटहल के लिए जीवांश युक्त दोमट मिट्टी सबसे उपयुक्त रहती है. कटहल के पौधे के आसपास जलभराव की स्थिति नहीं होनी चाहिए. जिले के भुसावर, वैर, छौंकरवाड़ा, रूपवास आदि क्षेत्रों में कटहल की अच्छी पैदावार होती है. कटहल की उन्नत किस्मों में खजबा, सिंगापुरी, रसदार, गुलाबी, रुद्राक्षी, सिंगापुरी और गुलाबी शामिल हैं. अब कई किसान जल्दी पैदावार के लिए वियतनामी कटहल के पौधे भी लगा रहे हैं.