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मीरा बाई व संतों पर टिप्पणी के आरोप मामले में पुलिस जांच रिपोर्ट पेश करे - COMMENTARY ON MEERA BAI AND SAINTS

मीरा बाई और अन्य साधु-सन्यासियों पर टिप्पणी के मामले में कोर्ट ने पुलिस को मामले में जांच रिपोर्ट पेश करने के आदेश दिए हैं.

Additional Chief Metropolitan Magistrate
अतिरिक्त मुख्य महानगर मजिस्ट्रेट (ETV Bharat Jaipur)

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Dec 26, 2024, 11:00 PM IST

जयपुर: अतिरिक्त मुख्य महानगर मजिस्ट्रेट क्रम-1 महानगर द्वितीय ने नारायण सेवा संस्थान, उदयपुर की ओर से प्रकाशित श्रीमद्भागवत सेवा महापुराण अमृतम पुस्तक में भक्त शिरोमणी मीरा बाई सहित अन्य साधु-सन्यासियों पर टिप्पणी के आरोप मामले में करधनी पुलिस थाने से जांच रिपोर्ट देने के लिए कहा है. वहीं मामले की सुनवाई 5 जनवरी, 2025 को तय की है. कोर्ट ने यह निर्देश बालयोगी नोमीनाथ के परिवाद पर दिया है.

मामले से जुड़े अधिवक्ता अनिल चौधरी व सुरेन्द्र सिंह राठौड़ ने बताया कि कोर्ट ने पूर्व में भी पुलिस को जांच करने का निर्देश दिया था, लेकिन पुलिस ने मामले में जांच नहीं की. इसलिए कोर्ट ने पुलिस को पुनः जांच का निर्देश दिया है. परिवाद में कहा है कि इस पुस्तक में मां मीरा बाई के लिए गंभीर बातें कहीं गई हैं. यह सामाजिक व धार्मिक तौर पर मीरा बाई को कलंकित करने का प्रयास किया है.

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इस मामले में परिवादी के कोर्ट में बयान दर्ज हो चुके हैं. अपने बयानों में परिवादी ने कहा कि पुस्तक के पेज संख्या 59 पर परंपरागत संतों और सनातन सम्प्रदाय को नहीं मानने वालों को आतंकवादी कहा गया है. ऐसा कहना साधु-सन्यासियों का घोर अपमान है. पुस्तक में राधा-कृष्ण के प्रेम को भी शारीरिक संबंधों के विश्लेषण की व्याख्या करते हुए कथाओं को तोड़-मोड़कर मनगढ़त तरीके से प्रकाशित किया गया है. परिवाद में नारायण सेवा संस्थान की कल्पना गोयल और कमला अग्रवाल सहित अन्य को पक्षकार बनाया है.

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