धनबादः जिला में बीसीसीएल कोयला उत्पादन में नए कीर्तिमान बना रही है. लेकिन कोयले की ओबी को बीसीसीएल प्रबंधन परियोजना के समीप या घनी आबादी क्षेत्रो में डंप कर रही है. जिससे स्थानीय लोगो को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. बीसीसीएल आउटसोर्सिंग प्रबंधन ओबी को रैयतों के मर्जी के खिलाफ भी रैयती जमीन पर ओबी को डंप कर रही है. जिससे की कई बार जगह जगह हिंसक झड़प की घटना हो जा रही है.
हाल के दिनों में एटी देवप्रभा आउटसोर्सिंग कंपनी द्वारा रैयती जमीन पर बिना मुआवजा, नियोजन के ओबी डंप किये जाने पर हंसक झड़प की घटना हुई थी. आउटसोर्सिंग कंपनी पर रैयती ने बमबाजी गोलीबारी कर आंदोलन को कुचलने का आरोप लगाया था. बीसीसीएल अगर ओबी और रैयती जमीन के विवाद को नहीं सुलझाती है तो बड़ी हिंसक झड़प होने की आशंका है. वहीं ओबी डंपिंग को लेकर अपने दौरे के दौरान धनबाद में कोयला मंत्रालय अपर सचिव एम नागराजू ने कहा कि ओबी टू सैंड रिस्की होता है, लोगों को ओबी या अन्य कार्यक्षेत्रों के नजदीक नहीं जाना चाहिए.
कोयला मंत्रालय के अपर सचिव एम नागराजू, कोल इंडिया के चेयरमैन पीएम प्रसाद ने बीसीसीएल ब्लॉक टू क्षेत्र के हाइवाल माइनिंग टेक्नोलॉजी व हाइवाल मशीन एवं न्यू मधुबन कोल वाशरी का निरीक्षण कर जायजा लिया. इस दौरान बीसीसीएल के सीएमडी समीरण दत्ता, डीटी संजय कुमार सिंह, जिला खनन पदाधिकारी मिहिर सालकर एवं ब्लॉक टू क्षेत्र के जीएम चितरंजन कुमार, डब्लूसीडी के जीएम स्वरूप कुमार दत्ता समेत अन्य विभागीय अधिकारी भी मौजूद रहे.
कोयला मंत्रालय के अपर सचिव एम नागराजू सर्वप्रथम जमुनिया माइंस के व्यू पॉइंट से डेको आउटसोर्सिंग कंपनी द्वारा संचालित हाइवाल मशीन का अवलोकन करते हुए क्षेत्रीय अधिकारियों से हाइवाल माइनिंग टेक्नोलॉजी से संबंधित विस्तृत जानकारी ली. इसके बाद कोयला मंत्रालय के अपर सचिव एम नागराजू, कोल इंडिया के चेयरमैन पीएम दास में न्यू मधुबन कोल वाशरी पहुंचे. उन्होंने वाशरी का अवलोकन करते हुए प्रशासनिक भवन में वाशरी के अधिकारियों से वाशरी की विस्तृत जानकारी ली. वाशरी के अधिकारियों ने मैप के जरिए वाशरी की नई तकनीक की जानकारी दी.