पटना : रविवार को पटना एनआईटी का सेंटनरी एल्यूमिनी मीट कार्यक्रम का आयोजन किया गया. कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर कॉलेज के एल्यूमिनी और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार मौजूद रहे. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एनआईटी पटना के 100 वर्ष पूरे होने पर एल्यूमनाई एसोसिएशन की ओर से प्रस्तावित एल्यूमिनी इनक्यूबेशन सेंटर के लिए पूरा राशि बिहार सरकार की ओर से उपलब्ध कराने की घोषणा की.
इनक्यूबेशन सेंटर के लिए जल्द दी जाएगी स्वीकृति : 43 करोड़ की लागत से प्रस्तावित एल्यूमनाई एसोसिएशन के इनक्यूबेशन सेंटर के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि जल्द ही कैबिनेट की बैठक में इस संबंध में स्वीकृति दे दी जाएगी. मंच पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपने शिक्षक और साथियों से खूब बात करते दिखे. नीतीश कुमार के सीनियर और उनके शिक्षक रहे एल्यूमिनाई एसोसिएशन के प्रेसिडेंट प्रोफेसर इंजीनियर संतोष कुमार ने कहा कि मुख्यमंत्री की घोषणा से काफी खुशी हुई है.
"इंजीनियरिंग कॉलेज के 100 वर्ष पूरे होने पर एल्युमिनी की ओर से विचार किया जा रहा था कि एक इनक्यूबेशन सेंटर कॉलेज को गिफ्ट दिया जाए ताकि बच्चे नवाचार के प्रति प्रेरित हो. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने घोषणा कर दी है कि एक-दो दिन में अगली कैबिनेट में इस संबंध में राशि स्वीकृत हो जाएगी. नीतीश कुमार ने यह भी आश्वासन कॉलेज प्रबंधन से लिया है कि अगली बार वह एल्यूमिनी मीट में आए तो इनक्यूबेशन सेंटर बनकर तैयार हो जाना चाहिए. यह कॉलेज के लिए वाकई एक उपलब्धि है."- संतोष कुमार, प्रेसिडेंट, एल्यूमिनाई एसोसिएशन
रीवर इंजीनियरिंग पर पुस्तक विमोचित :इंजीनियर संतोष कुमार ने बताया कि इस मौके पर रिवर इंजीनियरिंग की पुस्तक विमोचित की गई है. जिसे उन्होंने लिखा है. उन्होंने बताया कि पहले रिवर इंजीनियरिंग सिर्फ दो लेक्चर का टॉपिक होता था, लेकिन अब इस विषय में पीजी का पूरा कोर्स है. नदियों का काम मुख्यतः माना जाता है कि पानी को लेकर समुद्र तक ले जाना है लेकिन मुख्य समस्या गाद उत्पन्न करती है. गाद अधिक हो जाने पर नदी अपना स्थान बदल देती है और यह समस्या पैदा कर देता है. आज हमें गाद का बैलेंस क्रिएट करने की जरूरत है.
नदियों पर काम जरूरी : संतोष कुमार ने कहा कि चीन ने यह किया है और अमेरिका में भी कई नदियों में यह किया गया है. यह हमारे देश में भी हो सकता है कि हम गाद का बैलेंस क्रिएट करें. इस पुस्तक में यह सब बताया गया है इसके अलावा नदियां पर्यावरण को भी प्रभावित करती हैं और कैसे प्रभावित करती हैं इसका भी एक चैप्टर है. नीतीश कुमार के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि कॉलेज जीवन में भी वह एक नेता के तौर पर थे और समाजवादी नेताओं से काफी प्रभावित थे. नीतीश कुमार शुरू से काफी ईमानदार छवि के व्यक्ति रहे हैं.
'हर किसी को खुश कर पाना सीएम के लिए मुश्किल' : संतोष कुमार ने कहा कि नौवीं बार मुख्यमंत्री के पद पर शपथ लेने पर उन्होंने कहा कि राजनीति में हर कोई पावर के लिए आता है और सब कोई पावर चाहता है. नीतीश कुमार की इस फैसले से वह व्यक्तिगत रूप से अधिक खुश नहीं है लेकिन इतनी बड़ी आबादी में किसी मुख्यमंत्री को हर किसी को खुश कर पाना मुश्किल है. राजनीति में हर कोई चाहता है कि पावर में रहे हैं और कुछ करें.
'शिक्षा पर विशेष ध्यान देने की जरूरत' :इंजीनियर संतोष कुमार ने कहा कि समाज में शिक्षा पर विशेष ध्यान देना चाहिए क्योंकि शिक्षित समाज में जनसंख्या अधिक नहीं होती. उन्होंने कहा कि वह कोचिंग के बहुत विरोधी हैं और नहीं चाहते हैं कि कोचिंग मार्केट में बच्चे उलझे. बच्चों को वह शिक्षा स्कूल में ही उपलब्ध हो कि वह अच्छी इंजीनियरिंग और मेडिकल कॉलेज में जाएं. उन्होंने कहा कि वह युवाओं से और जो टेक्निकल की पढ़ाई कर रहे हैं उनसे इस मौके पर यही अपील करेंगे कि रोजगार देने वाले बने रोजगार के सृजन बने ना कि रोजगार मांगने वाले.
उच्च शिक्षा में दिखने लगी है महिलाओं की संख्या : महिलाएं दिख मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कार्यक्रम में इस बात को फिर दोहराया कि महिला शिक्षा के क्षेत्र में वह जो काम कर रहे हैं. उसका नतीजा है कि आज शिक्षण संस्थानों में उच्च शिक्षा में महिलाएं काफी संख्या में दिख रही हैं. जब वह कॉलेज में पढ़ाई करते थे तो गिनी चुनी लड़कियां ही होती थी लेकिन आज 35 फीस दी शिक्षण संस्थानों में उन्होंने लड़कियों के लिए सीटें आरक्षित की हैं. उन्होंने कहा कि 125 एकड़ का जमीन बिहटा में उन्होंने एनआईटी पटना के लिए उपलब्ध कराया और भवन भी बनकर तैयार है. लेकिन वह संस्थान के निदेशक से आग्रह करेंगे की मुख्य केंपस यही वर्तमान कैंपस होना चाहिए और जो नया भवन जहां बन रहा है वह सेकंड केंपस होना चाहिए. दोनों कैंपस को मिलाकर 10000 से अधिक बच्चे यहां पढ़ाई करें यही वह चाहते हैं.
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