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कैंडिडेट्स टूर्नामेंट 2024: FIDE ने की कनाडा सरकार से खिलाड़ियों को वीजा जारी करने की अपील - रमेशबाबू प्रगनानंद

अंतरराष्ट्रीय शतरंज महासंघ ने शनिवार को कनाडा सरकार से अपने दावेदारों के वीजा जारी करने के आवेदन में देरी पर ध्यान देने का आग्रह किया है. भारतीय शतरंज प्लेयर 3 अप्रैल से शुरू होने वाले कैंडिडेट्स टूर्नामेंट में हिस्सा लेने वाले हैं

Indian Chess players
Indian Chess players

By ETV Bharat Hindi Team

Published : Mar 2, 2024, 6:07 PM IST

नई दिल्ली:अंतरराष्ट्रीय शतरंज महासंघ (FIDE) ने शनिवार को कनाडा सरकार से प्रतिष्ठित कैंडिडेट्स टूर्नामेंट में भाग लेने वाले खिलाड़ियों के लिए वीजा जारी करने के आवेदनों पर जल्द से जल्द कार्रवाई करने की अपील की. अंतरराष्ट्रीय शतरंज महासंघ ने टूर्नामेंट में हिस्सा लेने वाले प्लेयर्स के समय पर आगमन पर गंभीर चिंताएं जताईं हैं.

भारत की ओर से पांच ग्रैंडमास्टर इस टूर्नामेंट में हिस्सा लेने वाले हैं, जिनमें ग्रैंडमास्टर रमेशबाबू प्रगनानंद, ग्रैंडमास्टर विदित गुजराती, ग्रैंडमास्टर डोम्माराजू गुकेश, ग्रैंडमास्टर वैशाली रमेशबाबू और ग्रैंडमास्टर कोनेरू हम्पी का नाम शामिल है. ये सभी 3 अप्रैल से राजधानी टोरंटो में शुरू होने वाले प्रतिष्ठित कैंडिडेट्स टूर्नामेंट के पुरुष और महिला वर्ग के लिए पहले ही क्वालीफाई कर चुके हैं.

कैंडिडेट्स टूर्नामेंट विश्व चैंपियनों के लिए चुनौती देने वालों का पता लगाने के लिए अंतिम टूर्नामेंट के रूप में कार्य करता है. इस टूर्नामेंट का विजेता मौजूदा विश्व चैंपियन के खिलाफ विश्व चैम्पियनशिप के लिए मैच का अधिकार पाता है. चीनी के डिंग लिरेन (पुरुष) और जू वेनजुन (महिला) वर्तमान विश्व चैंपियन हैं.

इस मुद्दे पर कनाडाई सरकार का ध्यान अपनी ओर खींचते हुए FIDE ने एक्स पर लिखा, 'अफसोस की बात है कि दुनिया भर के विभिन्न देशों के खिलाड़ी, जिन्होंने कुछ महीने पहले अपने वीज़ा आवेदन जमा किए थे, उन्हें अभी तक उनकी स्थिति पर कोई अपडेट नहीं मिला है. कैंडिडेट्स टूर्नामेंट में केवल एक महीना बाकी है और खिलाड़ियों को अभी तक वीजा नहीं मिला है. इसके साथ ही भारत के ग्रैंडमास्टर और FIDE के उपाध्यक्ष विश्वनाथन आनंद ने कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो और आव्रजन, नागरिकता कनाडा (IRCC) को टैग करते हुए FIDE के पोस्ट को री-ट्वीट किया.

अखिल भारतीय शतरंज महासंघ (एआईसीएफ) के एक अधिकारी ने पीटीआई से पुष्टि की कि किसी भी भारतीय को वीजा नहीं मिला है. अधिकारी ने कहा, 'नहीं, उन्हें अभी तक अपना वीजा नहीं मिला है. उन्होंने समय पर आवेदन किया था और उम्मीद है कि यह हो जाना चाहिए. यह इतना बड़ा मुद्दा नहीं है'.

यह पहला मौका है जब तीन पुरुष भारतीय ग्रैंडमास्टर इस मार्की इवेंट में प्रतिस्पर्धा करने जा रहे हैं. दिलचस्प बात यह है कि जब प्रगनानंद और वैशाली अपने-अपने अभियान शुरू करेंगे, तो वे उसी वर्ष के कैंडिडेट्स टूर्नामेंट में प्रतिस्पर्धा करने वाले पहले भाई-बहन की जोड़ी बन जाएंगे.

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