कोटा : जॉइंट एंट्रेंस एग्जाम मेन (JEE MAIN 2025) के जनवरी सेशन के परिणाम में कोटा से कोचिंग कर रहे अर्णव सिंह भी 100 परसेंटाइल के क्लब में शामिल हुए हैं. उनके पिता कोटा में ही एक निजी कोचिंग के फैकल्टी हैं और अर्णव को मैथ्स पढ़ा रहे हैं. उनके पिता का कहना है कि उन्होंने अर्णव को कोई टारगेट नहीं दिया था, लेकिन तैयारी काफी अच्छी और मजबूत ढंग से करवाई थी. अगर वह 100 परसेंटाइल के क्लब में शामिल भी नहीं होता तब भी उन्हें कोई गम नहीं था, क्योंकि तैयारी में अर्णव ने कोई कसर नहीं छोड़ी थी.
अर्णव का कहना है कि काफी अच्छा लग रहा है. 10वीं से आईआईटी एंट्रेस की लिए तैयारी शुरू की थी. अब पहले पड़ाव जेईई मेन में 300 से 295 और 100 परसेंटाइल देखकर सभी को खुशी हुई है. लोगों का मुझे फोन आया, मुझे काफी अच्छा लगा. पहले जब वह मध्य प्रदेश के भोपाल में पढ़ रहे थे, छोटी क्लास थी, लेकिन तब भी कोचिंग ले रहे थे, तब कोचिंग इतनी महत्वपूर्ण नहीं थी. कोटा में आने के बाद कोचिंग और स्कूल को बैलेंस करना पड़ता है. सुबह स्कूल और दोपहर में कोचिंग यहां पर कर रहे हैं. कोचिंग में काफी टाइम इन्वेस्ट होता है, इसलिए बोर्ड की एग्जाम की तैयारी करने के लिए भी काफी एफर्ट देना पड़ता है.
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साल भर की तैयारी ज्यादा महत्वपूर्ण :अर्णव के पिता अजीत सिंह का कहना है कि बच्चों से उम्मीद करना गलत है, बच्चों को तैयार करना ज्यादा सही है. बच्चों से कहें कि वह तैयारी में कोई कसर नहीं छोड़ें, क्योंकि रिजल्ट तो अंतिम प्रोडक्ट होगा. रिजल्ट से आप डिस्टर्ब हो रहे हैं तो आपकी तैयारी में कमियां हैं. अर्णव, उनका छोटा बेटा आर्यन और वे तीनों घर में क्रिकेट भी खेलते हैं. यह रोज का रुटीन है, हमने बच्चों को यह सिखाया है कि सामने कौन सा एग्जाम आ रहा है, उसकी चिंता करने की जरूरत नहीं है. उसकी तैयारी पहले से अच्छी करके रखें. साल भर की तैयारी ज्यादा महत्वपूर्ण रहती है. इसमें बच्चे ने मेहनत की है तो फिर सफलता निश्चित मिलेगी. आपकी तैयारी ही आपको विजेता बनाती है. आज के दिन में ही जीना है, कल का टेंशन नहीं लेना चाहिए और इसी फलसफे से हम जी रहे हैं.
नहीं किया था 100 परसेंटाइल का प्लान :अजीत सिंह का यह भी कहना है कि पेपर के पहले भी उनकी बात होती थी तो यही बोलता था कि अच्छी तैयारी रखें, मेंटली कूल रहें, जो भी परिणाम आएगा मंजूर होगा. जब अर्णव एग्जाम देकर बाहर आया था तब उसने कहा था कि पेपर अच्छा गया है. उसने बताया कि एक क्वेश्चन पर उसे डाउट है. इसके बाद जब फाइनल आंसर की आई तब उसने कहा कि मेरा एक क्वेश्चन गलत हो गया है और 295 बन रहे हैं. तब भी 100 परसेंटाइल का इंतजार किया. रिजल्ट में यह हो भी गया. हालांकि, 100 परसेंटाइल का प्लान पहले नहीं किया था.