नई दिल्ली :केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा है कि कियोस्क आधारित पंजीकरण पर फेस बायोमेट्रिक लेने के लिए यात्री की पूर्व सहमति जरूरी है. सिंधिया ने उक्त बातें डिजी यात्रा के लिए अनैच्छिक रूप से डेटा एकत्र करने की कथित रिपोर्टों पर टीएमसी सांसद साकेत गोखले द्वारा लिखे गए एक पत्र के जवाब में कहीं.
इससे पहले टीएमसी सांसद गोखले ने विमानन मंत्री को पत्र लिखकर कहा था कि उन्हें लोगों से कई शिकायतें मिली हैं कि उन्हें भारत भर के हवाई अड्डों पर डिजी यात्रा के लिए मजबूर किया जा रहा है या उनकी सहमति के बिना उनके बायोमेट्रिक्स चुपचाप ले लिए जा रहे हैं.इस संबंध में साकेत गोखले ने एक्स में केंद्रीय मंत्री सिंधिया को साझा एक पत्र में कहा है कि डिजी यात्रा निर्बाध और परेशानी मुक्त हवाई यात्रा के लिए एक स्वैच्छिक प्रक्रिया है जो पूरी तरह से स्वैच्छिक है. इसके अलावा इसका उपयोग मूल रूप से ऐप के माध्यम से किया जाना है और सभी डेटा यात्री के मोबाइल में संग्रहित किया जाता है. उन्होंने कहा है कि उन यात्रियों की सुविधा के लिए जिनके पास ऐप इंस्टॉल नहीं है लेकिन वे डिजी यात्रा का उपयोग करना चाहते हैं, हवाई अड्डों द्वारा केवल यात्रा के दिन के लिए कियोस्क आधारित पंजीकरण प्रदान किया जाता है.