प्रतापनगर: उच्चतर माध्यमिक विद्यालय कोरदी में अध्ययनरत् 251 छात्र-छात्राएं खुले में शौच करने को मजबूर हैं. 2012 में विद्यालय का उच्चीकरण हो जाने के बावजूद भी विद्यालय में न तो भवन बना है और न ही शौचालय की व्यवस्था है. विद्यालय की दीवार पर स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय की पंक्तियां सिर्फ अभियान की लिखित कल्पना को पूरी करती दिख रही हैं.
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गौर हो कि प्रतापनगर के विद्यालय की ये दुर्दशा है कि छात्र-छात्राओं को खुले में शौच जाने को मजबूर होना पड़ रहा है. छात्र-छात्राओं के साथ विद्यालय में अध्यापक-अध्यापिकाओं को भी इस समस्या से जूझना पड़ रहा है. वहीं, ये विद्यालय विभाग की भी पोल खोल रहा है.
विद्यालय का 2012 में उच्चीकरण तो किया गया, लेकिन व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए. जिससे स्कूली बच्चों को आए दिन खासी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.