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भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कैप्टन की मिली मदद, सोनू सूद ने भी बढ़ाए हाथ

भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कैप्टन राजेंद्र सिंह धामी पिथौरागढ़ में मनरेगा के तहत सड़क निर्माण में पत्थर तोड़ने का काम कर रहे हैं. जिनकी मदद को अभिनेता सोनू सूद भी आगे आए हैं.

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Published : Aug 1, 2020, 3:31 PM IST

Updated : Aug 1, 2020, 3:38 PM IST

राजेंद्र धामी
राजेंद्र धामी

पिथौरागढ़: भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान राजेंद्र धामी की मदद के लिए पिथौरागढ़ प्रसाशन आगे आया है. कोरोना काल में राजेन्द्र आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं. 90 फीसदी विकलांग होने के बावजूद राजेंद्र अपने परिवार का पेट पालने के लिए रोड़ी तोड़ने को मजबूर हैं. राजेंद्र का मामला सुर्खियों में आने के बाद प्रशासन ने जिला खेल समिति के जरिए 20 हजार रूपये की मदद उन्हें दी है. साथ ही उन्हें सीएम स्वरोजगार योजना से जोड़ने की तैयारी भी की जा रही है.

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राजेंद्र सिंह धामी

अभिनेता सोनू सूद ने दी आर्थिक सहायता

सिने अभिनेता सोनू सूद लॉकडाउन में फंसे लोगों को उनके घरों तक छोडऩे के लिए वाहनों की व्यवस्था करने के साथ ही जरूरतमंद लोगों तक आर्थिक सहायता भी पहुंचा रहे हैं. अभिनेता सूद को जब दिव्यांग क्रिकेटर राजेंद्र धामी की दयनीय आर्थिक स्थिति के बारे में पता चला तो उन्होंने तत्काल धामी को 11 हजार रुपए की आर्थिक धनराशि प्रदान की. धामी ने सिने अभिनेता की इस दरियादिली के लिए उनका आभार प्रकट किया है.

भारतीय दिव्यांग टीम के कैप्टन रहे राजेंद्र सिंह धामी की मदद के लिए आगे आए हाथ

राजेंद्र सिंह धामी जब तीन साल के थे, तब उन्‍हें पैरालिसिस हुआ. इसकी वजह से उनका 90 प्रतिशत शरीर दिव्‍यांग हो गया था. धामी ने क्रिकेट के मैदान पर कई शानदार परफॉर्मेंस दिए हैं. धामी भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान भी रह चुके हैं. साथ ही उत्तराखंड व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के वर्तमान कप्तान भी है. उन्‍होंने हिस्ट्री में मास्‍टर्स डिग्री और बीएड भी किया है. धामी मनरेगा में मजदूरी करने से पहले रुद्रपुर में व्‍हीलचेयर वाले बच्‍चों को क्रिकेट की कोचिंग दे रहे थे, लेकिन कोरोना की वजह से यह सब रुक गया.

पढ़ें-कोरोना की मार, मनरेगा में पत्थर तोड़ने को मजबूर भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेटर राजेंद्र सिंह धामी

बता दें कि धामी को इस वर्ष मार्च-अप्रैल माह में रुद्रपुर में होने वाली त्रिकोणीय सीरीज में भी प्रतिभाग करना था, मगर कोरोना संक्रमण के चलते यह प्रतियोगिता नहीं हो पाई है. क्रिकेट के अलावा धामी नेशनल एथलेटिक्स भी हैं. वह राष्ट्रीय स्तर की गोलाक्षेपण, चक्काक्षेपण प्रतियोगिता में भी उत्तराखंड का नाम रोशन कर चुके हैं.

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भारतीय व्हील चेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान राजेंद्र धामी

परिवार के भरण-पोषण के लिए कर रहे मजदूरी

दिव्यांग राजेंद्र धामी बेहद गरीब परिवार से हैं. उनके परिवार में पांच सदस्य हैं. परिवार के भरण-पोषण की जिम्मेदारी उनके ही कंधों पर है. लॉकडाउन के चलते रोजगार नहीं मिलने के कारण परिवार के सामने रोटी-रोजी का संकट पैदा हो गया है. परिवार की दयनीय आर्थिक स्थिति को देखते हुए धामी वर्तमान में अपने गांव में मनरेगा के माध्यम से पत्थर तोड़कर किसी तरह से गुजर-बसर कर रहे हैं.

पिथौरागढ़: भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान राजेंद्र धामी की मदद के लिए पिथौरागढ़ प्रसाशन आगे आया है. कोरोना काल में राजेन्द्र आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं. 90 फीसदी विकलांग होने के बावजूद राजेंद्र अपने परिवार का पेट पालने के लिए रोड़ी तोड़ने को मजबूर हैं. राजेंद्र का मामला सुर्खियों में आने के बाद प्रशासन ने जिला खेल समिति के जरिए 20 हजार रूपये की मदद उन्हें दी है. साथ ही उन्हें सीएम स्वरोजगार योजना से जोड़ने की तैयारी भी की जा रही है.

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राजेंद्र सिंह धामी

अभिनेता सोनू सूद ने दी आर्थिक सहायता

सिने अभिनेता सोनू सूद लॉकडाउन में फंसे लोगों को उनके घरों तक छोडऩे के लिए वाहनों की व्यवस्था करने के साथ ही जरूरतमंद लोगों तक आर्थिक सहायता भी पहुंचा रहे हैं. अभिनेता सूद को जब दिव्यांग क्रिकेटर राजेंद्र धामी की दयनीय आर्थिक स्थिति के बारे में पता चला तो उन्होंने तत्काल धामी को 11 हजार रुपए की आर्थिक धनराशि प्रदान की. धामी ने सिने अभिनेता की इस दरियादिली के लिए उनका आभार प्रकट किया है.

भारतीय दिव्यांग टीम के कैप्टन रहे राजेंद्र सिंह धामी की मदद के लिए आगे आए हाथ

राजेंद्र सिंह धामी जब तीन साल के थे, तब उन्‍हें पैरालिसिस हुआ. इसकी वजह से उनका 90 प्रतिशत शरीर दिव्‍यांग हो गया था. धामी ने क्रिकेट के मैदान पर कई शानदार परफॉर्मेंस दिए हैं. धामी भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान भी रह चुके हैं. साथ ही उत्तराखंड व्हीलचेयर क्रिकेट टीम के वर्तमान कप्तान भी है. उन्‍होंने हिस्ट्री में मास्‍टर्स डिग्री और बीएड भी किया है. धामी मनरेगा में मजदूरी करने से पहले रुद्रपुर में व्‍हीलचेयर वाले बच्‍चों को क्रिकेट की कोचिंग दे रहे थे, लेकिन कोरोना की वजह से यह सब रुक गया.

पढ़ें-कोरोना की मार, मनरेगा में पत्थर तोड़ने को मजबूर भारतीय व्हीलचेयर क्रिकेटर राजेंद्र सिंह धामी

बता दें कि धामी को इस वर्ष मार्च-अप्रैल माह में रुद्रपुर में होने वाली त्रिकोणीय सीरीज में भी प्रतिभाग करना था, मगर कोरोना संक्रमण के चलते यह प्रतियोगिता नहीं हो पाई है. क्रिकेट के अलावा धामी नेशनल एथलेटिक्स भी हैं. वह राष्ट्रीय स्तर की गोलाक्षेपण, चक्काक्षेपण प्रतियोगिता में भी उत्तराखंड का नाम रोशन कर चुके हैं.

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भारतीय व्हील चेयर क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान राजेंद्र धामी

परिवार के भरण-पोषण के लिए कर रहे मजदूरी

दिव्यांग राजेंद्र धामी बेहद गरीब परिवार से हैं. उनके परिवार में पांच सदस्य हैं. परिवार के भरण-पोषण की जिम्मेदारी उनके ही कंधों पर है. लॉकडाउन के चलते रोजगार नहीं मिलने के कारण परिवार के सामने रोटी-रोजी का संकट पैदा हो गया है. परिवार की दयनीय आर्थिक स्थिति को देखते हुए धामी वर्तमान में अपने गांव में मनरेगा के माध्यम से पत्थर तोड़कर किसी तरह से गुजर-बसर कर रहे हैं.

Last Updated : Aug 1, 2020, 3:38 PM IST
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