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रामनगर पहुंचे शस्त्र स्पेशलिस्ट रियर एडमिरल ओम प्रकाश, डॉ कलाम से है ये नाता - rear admiral om prakash singh rana

शस्त्र स्पेशलिस्ट रियर एडमिरल ओम प्रकाश सिंह राणा रामनगर पहुंचे. यहां गणमान्यों ने उनका स्वागत किया. एडमिरल राणा ने 36 साल नौसेना आयुध निरीक्षण में सेवाएं दी. उन्होंने पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम के साथ पृथ्वी मिसाइल प्रोजेक्ट में काम किया है.

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Published : Dec 21, 2022, 11:27 AM IST

रामनगरः शस्त्र स्पेशलिस्ट रियर एडमिरल ओम प्रकाश सिंह राणा (Om Prakash Singh Rana) भूतपूर्व महानिदेशक नौसेना आयुध निरीक्षण एवं महाप्रबंधक ब्रह्मोस एयरोस्पेस के रामनगर पहुंचने पर रामनगर के गणमान्यों ने उनका स्वागत किया. एडमिरल ने स्वर्गीय डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम के साथ पृथ्वी मिसाइल प्रोजेक्ट में काम किया है.

रियर एडमिरल उत्तराखंड के ग्राम पिल्लू, केदारघाटी, जिला रुद्रप्रयाग के मूल निवासी हैं. उन्होंने 1981 में भारतीय नौसेना में प्रवेश कर देश को लगभग 4 दशक तक सेवाएं दी और डायरेक्टर जनरल (नौसेना आयुध निरीक्षण) के पद से 31 अगस्त 2017 को सेवानिवृत हुए. इसके बाद ब्रह्मोस एयरोस्पेस में अपनी सेवाएं दी. एडमिरल राणा नौसेना, भारतीय रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO), आयुध निर्माणियों, सरकारी तथा निजी उत्पादन संस्थानों और ब्रह्मोस में उच्च पद पर रहे हैं.

उन्होंने विभिन्न सामरिक तथा तकनीकी शस्त्र अन्वेषण, स्वदेशीकरण, उत्पादन, टेक्नोलॉजी ट्रांसफर, प्रोजेक्ट मैनेजमेंट, ऑडिट, आयुध लाइफ साइकिल प्रबंधन आदि पर काम किया. साथ ही रूस, फ्रांस, अमेरिका, इजराइल, साउथ अफ्रीका आदि देशों से आयात किये आयुधों का डिजाइन वेलिडेशन और स्वीकृति में अपना योगदान दिया है.
ये भी पढ़ेंः देहरादून में गुरुवार से शुरू होगा पुलिस वीक, 'उत्तराखंड पुलिस मंथन चुनौती एवं समाधान' है थीम

बता दें कि सेवानिवृति उपरांत एडमिरल राणा ने पिलानी में 220 एकड़ के अत्याधुनिक ब्रह्मोस मिसाइल उत्पादन सुविधा को सफलतापूर्वक स्थापित कर अपनी प्रतिभाओं से राष्ट्र को उत्कृष्ट सेवाए दी. बता दें कि एडमिरल राणा की राष्ट्र के प्रति समर्पण भावना, सफल नेतृत्व और आयुध निर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता, आदि क्षेत्रों में उत्कृष्ट सेवाओं के लिए चीफ ऑफ नेवल स्टाफ (Chief of Naval Staff) और फ्लैग ऑफिसर कमांडिंग इन चीफ (Flag Officer Commanding in Chief) द्वारा प्रशस्ति पत्रों तथा महामहिम राष्ट्रपति द्वारा 'अति विशिष्ठ सेवा मेडल' (AVSM) तथा 'विशिष्ठ सेवा मेडल' (VSM) से सम्मानित किया गया है. वर्तमान में एडमिरल राणा देहरादून में रहते हैं तथा सामाजिक, पर्यावरण एवमं राष्ट्र कार्यों में सक्रिय हैं. साथ ही वे पत्रिकाओं में लेख, विश्वविद्यालयों, स्कूलों और कॉलेजों में छात्रों को एकेडेमिक्स से एप्लीकेशन, सुरक्षा तकनीकि, आत्मनिर्भता, मोटिवेशन आदि विषयों पर अपने विचारों से उनका ज्ञानवर्धन करते रहते हैं. उन्होंने कहा कि नेवी में ही शस्त्र स्पेशलिस्ट के तौर पर मुझे माननीय डॉ. एपीजे कलाम के साथ भी पृथ्वी मिसाइल प्रोजेक्ट पर काम करने का मौका मिला.

रामनगरः शस्त्र स्पेशलिस्ट रियर एडमिरल ओम प्रकाश सिंह राणा (Om Prakash Singh Rana) भूतपूर्व महानिदेशक नौसेना आयुध निरीक्षण एवं महाप्रबंधक ब्रह्मोस एयरोस्पेस के रामनगर पहुंचने पर रामनगर के गणमान्यों ने उनका स्वागत किया. एडमिरल ने स्वर्गीय डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम के साथ पृथ्वी मिसाइल प्रोजेक्ट में काम किया है.

रियर एडमिरल उत्तराखंड के ग्राम पिल्लू, केदारघाटी, जिला रुद्रप्रयाग के मूल निवासी हैं. उन्होंने 1981 में भारतीय नौसेना में प्रवेश कर देश को लगभग 4 दशक तक सेवाएं दी और डायरेक्टर जनरल (नौसेना आयुध निरीक्षण) के पद से 31 अगस्त 2017 को सेवानिवृत हुए. इसके बाद ब्रह्मोस एयरोस्पेस में अपनी सेवाएं दी. एडमिरल राणा नौसेना, भारतीय रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO), आयुध निर्माणियों, सरकारी तथा निजी उत्पादन संस्थानों और ब्रह्मोस में उच्च पद पर रहे हैं.

उन्होंने विभिन्न सामरिक तथा तकनीकी शस्त्र अन्वेषण, स्वदेशीकरण, उत्पादन, टेक्नोलॉजी ट्रांसफर, प्रोजेक्ट मैनेजमेंट, ऑडिट, आयुध लाइफ साइकिल प्रबंधन आदि पर काम किया. साथ ही रूस, फ्रांस, अमेरिका, इजराइल, साउथ अफ्रीका आदि देशों से आयात किये आयुधों का डिजाइन वेलिडेशन और स्वीकृति में अपना योगदान दिया है.
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बता दें कि सेवानिवृति उपरांत एडमिरल राणा ने पिलानी में 220 एकड़ के अत्याधुनिक ब्रह्मोस मिसाइल उत्पादन सुविधा को सफलतापूर्वक स्थापित कर अपनी प्रतिभाओं से राष्ट्र को उत्कृष्ट सेवाए दी. बता दें कि एडमिरल राणा की राष्ट्र के प्रति समर्पण भावना, सफल नेतृत्व और आयुध निर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता, आदि क्षेत्रों में उत्कृष्ट सेवाओं के लिए चीफ ऑफ नेवल स्टाफ (Chief of Naval Staff) और फ्लैग ऑफिसर कमांडिंग इन चीफ (Flag Officer Commanding in Chief) द्वारा प्रशस्ति पत्रों तथा महामहिम राष्ट्रपति द्वारा 'अति विशिष्ठ सेवा मेडल' (AVSM) तथा 'विशिष्ठ सेवा मेडल' (VSM) से सम्मानित किया गया है. वर्तमान में एडमिरल राणा देहरादून में रहते हैं तथा सामाजिक, पर्यावरण एवमं राष्ट्र कार्यों में सक्रिय हैं. साथ ही वे पत्रिकाओं में लेख, विश्वविद्यालयों, स्कूलों और कॉलेजों में छात्रों को एकेडेमिक्स से एप्लीकेशन, सुरक्षा तकनीकि, आत्मनिर्भता, मोटिवेशन आदि विषयों पर अपने विचारों से उनका ज्ञानवर्धन करते रहते हैं. उन्होंने कहा कि नेवी में ही शस्त्र स्पेशलिस्ट के तौर पर मुझे माननीय डॉ. एपीजे कलाम के साथ भी पृथ्वी मिसाइल प्रोजेक्ट पर काम करने का मौका मिला.

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