रुड़की: निकाय चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी का नाम फाइनल होने के बाद पार्टी के अंदर खलबली मची हुई है. टिकट के दावेदार नेताओं ने कांग्रेस प्रत्याशी श्रेष्ठा राणा को कानून के अनुसार गलत प्रत्याशी ठहराया है. इनका कहना है कि श्रेष्ठा के पति निवर्तमान मेयर यशपाल राणा पर नगर निगम की जमीन बेचने का आरोप है. इसके चलते यशपाल राणा या उनके परिवार के सदस्य चुनाव नहीं लड़ सकते. ऐसे में श्रेष्ठा राणा को मेयर पद का प्रत्याशी बनाया जाना सीधे-सीधे भाजपा को फायदा पहुंचाना है.
एक दिन पहले ही कांग्रेस और भाजपा ने अपने-अपने प्रत्याशियों के नाम का एलान किया था, तभी से कांग्रेस के अंदर बगावत के सुर बुलंद होने लगे हैं. रुड़की के एक होटल में कांग्रेस की ओर से खुद को मेयर पद का दावेदार बताने वाले रजनीश शर्मा ने अन्य साथियों के साथ प्रेस वार्ता की. लगभग आधा दर्जन नेताओं ने एक सुर में कहा कि कांग्रेस हाईकमान ने श्रेष्ठा राणा को पार्टी का उम्मीदवार बनाकर भाजपा को वॉकओवर देने का काम किया है, क्योंकि घोषित प्रत्याशी श्रेष्ठा राणा के पति यशपाल राणा पर नगर निगम की जमीन बेचने का आरोप है. ऐसे में यशपाल राणा व उनके परिवार के सदस्यों के चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध है. इसके बावजूद पार्टी हाईकमान ने पत्नी श्रेष्ठा राणा को कांग्रेस का प्रत्याशी घोषित किया.
रजनीश शर्मा ने कहा कि हमने पार्टी हाईकमान और उच्चाधिकारियों को पूरे मामले से अवगत कराया. ऐसे में पार्टी हाईकमान को तमाम पहलुओं पर गौर करते हुए श्रेष्ठा राणा का टिकट बदलना चाहिए और अन्य दावेदारों में से किसी को भी टिकट देकर मजबूती से चुनाव लड़ाना चाहिए. उन्होंने ये भी कहा कि यदि इसके बाद भी पार्टी प्रत्याशी नहीं बदलती है तो भी वे पार्टी के साथ ही खड़े रहेंगे.