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उत्तराखंड में बच्चों के बैग का बोझ होगा हल्का, संविदा शिक्षिकाओं को भी मिलेगा मातृत्व अवकाश

Education Department meeting In Uttarakhand उत्तराखंड में बच्चों के बैग का बोझ कम करने के प्रयास किये जा रहे हैं. इसके तहत अधिकारियों को जल्द प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश भी दे दिए गए हैं. खास बात ये है कि मुख्य शिक्षा अधिकारियों को बस्ते के बोझ को कम करने के लिए दिए निर्देशों का पालन कराने की जिम्मेदारी दी गयी है.

Education Department meeting
शिक्षा विभाग बैठक
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Jan 4, 2024, 6:37 AM IST

देहरादून: प्रदेश में स्कूली बच्चों के बस्ते का बोझ काम करने के लिए जल्द ही दिशा निर्देश जारी किए जाएंगे. उसके लिए फिलहाल विभागीय अधिकारियों को प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं. शासन को प्रस्ताव मिलने के बाद मुख्य शिक्षा अधिकारियों को इसके लिए निर्देशों का अनुपालन करने की जिम्मेदारी दी जाएगी.

इसको लेकर शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने अधिकारियों के साथ बैठक की. इसमें फैसला लिया गया कि नई शिक्षा नीति 2020 के तहत स्कूल के छात्रों के बस्ते का बोझ घटाते हुए निर्धारित मानकों के अनुसार रखा जाएगा. जबकि प्रस्ताव मिलने के बाद आगामी शिक्षा सत्र से इसे लागू करने की कोशिश की जाएगी. इसके लिए प्रदेश भर के निजी स्कूलों के संचालकों, प्रबंधकों और प्रधानाचार्य के साथ ही अभिभावकों के साथ भी राज्य स्तर पर बैठक की जाएगी. साथ ही इसके लिये जन जागरूकता अभियान भी चलाया जाएगा.

उधर दूसरी तरफ अधिकारियों से बातचीत के दौरान विभिन्न विद्यालयों में संविदा और अस्थाई शिक्षिकाओं को दूसरे कार्मिकों की तरह मातृत्व अवकाश देने का भी फैसला लिया गया. इसके लिए जल्द ही मुख्य शिक्षा अधिकारियों को आदेश जारी करने का भी निर्णय लिया गया है. बैठक के दौरान निजी विद्यालयों को वित्तीय अनुदान की जगह एकमुश्त धनराशि देने पर भी विचार किया गया. जिसके लिए जल्द ही नियमावली में संशोधन कर दिया जाएगा.

इसी बैठक में एलटी और जूनियर हाईस्कूल के शिक्षकों की पदोन्नति करने, LT, प्रवक्ता, और बेसिक शिक्षकों के खाली पदों को भरने के साथ ही समय पर बोर्ड परीक्षाएं कराने और इसका रिजल्ट घोषित करने जैसे विषयों पर भी चर्चा की गई. इस बैठक के दौरान लिए गए निर्णयों को जल्द से जल्द लागू करने और इन पर आदेश जारी करने के लिए भी कहा गया.
ये भी पढ़ें: उत्तराखंड बोर्ड परीक्षाओं की तारीख घोषित, 27 फरवरी से शुरू होगी 10वीं और 12वीं की परीक्षाएं

देहरादून: प्रदेश में स्कूली बच्चों के बस्ते का बोझ काम करने के लिए जल्द ही दिशा निर्देश जारी किए जाएंगे. उसके लिए फिलहाल विभागीय अधिकारियों को प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं. शासन को प्रस्ताव मिलने के बाद मुख्य शिक्षा अधिकारियों को इसके लिए निर्देशों का अनुपालन करने की जिम्मेदारी दी जाएगी.

इसको लेकर शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने अधिकारियों के साथ बैठक की. इसमें फैसला लिया गया कि नई शिक्षा नीति 2020 के तहत स्कूल के छात्रों के बस्ते का बोझ घटाते हुए निर्धारित मानकों के अनुसार रखा जाएगा. जबकि प्रस्ताव मिलने के बाद आगामी शिक्षा सत्र से इसे लागू करने की कोशिश की जाएगी. इसके लिए प्रदेश भर के निजी स्कूलों के संचालकों, प्रबंधकों और प्रधानाचार्य के साथ ही अभिभावकों के साथ भी राज्य स्तर पर बैठक की जाएगी. साथ ही इसके लिये जन जागरूकता अभियान भी चलाया जाएगा.

उधर दूसरी तरफ अधिकारियों से बातचीत के दौरान विभिन्न विद्यालयों में संविदा और अस्थाई शिक्षिकाओं को दूसरे कार्मिकों की तरह मातृत्व अवकाश देने का भी फैसला लिया गया. इसके लिए जल्द ही मुख्य शिक्षा अधिकारियों को आदेश जारी करने का भी निर्णय लिया गया है. बैठक के दौरान निजी विद्यालयों को वित्तीय अनुदान की जगह एकमुश्त धनराशि देने पर भी विचार किया गया. जिसके लिए जल्द ही नियमावली में संशोधन कर दिया जाएगा.

इसी बैठक में एलटी और जूनियर हाईस्कूल के शिक्षकों की पदोन्नति करने, LT, प्रवक्ता, और बेसिक शिक्षकों के खाली पदों को भरने के साथ ही समय पर बोर्ड परीक्षाएं कराने और इसका रिजल्ट घोषित करने जैसे विषयों पर भी चर्चा की गई. इस बैठक के दौरान लिए गए निर्णयों को जल्द से जल्द लागू करने और इन पर आदेश जारी करने के लिए भी कहा गया.
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