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मसूरी में पेयजल योजना के निर्माण पर उठ रहे सवाल, सड़कों की खुदाई से लोग परेशान

मसूरी पुनर्गठन पेयजल योजना के कार्य की गुणवत्ता और धीमी गति को लेकर सवाल उठ रहे हैं. साथ ही सड़कों की बेतरतीब खुदाई के कारण आए दिन वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो रहे हैं, जिससे स्थानीय लोगों में आक्रोश बना हुआ है.

problem of drinking water in mussoorie
मसूरी पुनर्गठन पेयजल योजना
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Published : Dec 13, 2021, 3:02 PM IST

Updated : Dec 13, 2021, 3:22 PM IST

मसूरी: उत्तराखंड पेयजल निगम (Uttarakhand Drinking Water Corporation) इन दिनों मसूरी पुनर्गठन पेयजल योजना (Mussoorie reorganisation water supply scheme) के तहत मसूरी में पानी की लाइन बिछाने का कार्य कर रहा है लेकिन अधिकारियों की लापरवाही के कारण विभिन्न क्षेत्र के लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. जगह-जगह सड़कें टूटी होने के कारण आए दिन दुर्घटनाएं हो रही हैं.

मसूरी बार्लोगंज बाला हिसार रोड पर पेयजल लाइन डालने के लिए सडकों को जेसीबी से बेतरतीब ढंग से खोदा गया है, जिससे सड़क पूरी तरीके से क्षतिग्रस्त हो गईं हैं. साथ ही टेलीफोन लाइनों के साथ ही पुरानी पेयजल लाइन क्षतिग्रस्त हो गईं, जिससे लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

मसूरी में पेयजल योजना के निर्माण पर उठ रहे सवाल.

बताया जा रहा है कि उत्तराखंड पेयजल निगम द्वारा पहले पेयजल योजना के तहत 4 इंच की लाइन डालने के लिए सड़क को खोदा गया, फिर उसको ठीक किया गया. अब एक बार फिर 10 इंच की लाइन डालने के लिए सड़क को खोदा जा रहा है, जिससे लोगों को भारी दिक्कत हो रही है व जनता का पैसा भी पानी की तरह बहाया जा रहा है.

स्थानीय निवासी सुधीर डोभाल ने कहा कि जब निगम पेयजल की 4 इंच की लाइन पहले डाल चुका है, तो अब 10 इंच की लाइन क्यों नहीं डाली जा रही है. एक बार फिर सडकों को खोदा जा रहा है, जिससे लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. स्थानीय लोगों ने आरोप लगाते हुए कहा है कि जनप्रतिनधि और अधिकारी योजनाओं के नाम पर पैसों की बंदरबांट कर रहे हैं.

उन्होंने कहा कि सड़क खुदी होने के कारण मरीजों को अस्पताल पहुंचाने में भी परेशानी हो रही है. वहीं, ठेकेदार की लापरवाही भी साफ तौर पर देखी जा जा रही है. पेयजल लाइन डालने के साथ सड़क निर्माण के कार्य काफी धीमी गति से चल रहा है.

पढ़ें- PM मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट पूरा नहीं कर पाई सरकार, अधूरे पाखरौ टाइगर सफारी के शुभारंभ की तैयारी

उत्तराखंड जल निगम के सहायक अभियंता मान सिंह रावत का कहना है कि मसूरी बार्लोगंज बाला हिसार में सड़क सक्रिय होने के कारण 4 इंच और 10 इंच की लाइन को एक साथ डालना संभव नहीं था. उन्होंने कहा कि 10 इंच की लाइन पेयजल के वितरण के लिए डाली जा रही, जिससे छोटी लाइनों को इससे जोड़कर लोगों के घरों तक पानी पहुंचाया जा सके.

उन्होंने बताया कि मसूरी बार्लोगंज क्षेत्र में पेयजल की सबसे ज्यादा समस्या (problem of drinking water in mussoorie) है. इसको देखते हुए वहां पर 10 इंच की लाइन डाली जा रही है. यह योजना मसूरी क्षेत्र के लिए है. कई लोगों द्वारा पेयजल योजना देहरादून राजपुर डीआईटी तक ले जाने का भ्रम फैलाया जा रहा है, जो बिल्कुल गलत है. मसूरी यमुना पेयजल योजना के तहत मसूरी क्षेत्र को ही पेयजल आपूर्ति की जायेगी.

मसूरी: उत्तराखंड पेयजल निगम (Uttarakhand Drinking Water Corporation) इन दिनों मसूरी पुनर्गठन पेयजल योजना (Mussoorie reorganisation water supply scheme) के तहत मसूरी में पानी की लाइन बिछाने का कार्य कर रहा है लेकिन अधिकारियों की लापरवाही के कारण विभिन्न क्षेत्र के लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. जगह-जगह सड़कें टूटी होने के कारण आए दिन दुर्घटनाएं हो रही हैं.

मसूरी बार्लोगंज बाला हिसार रोड पर पेयजल लाइन डालने के लिए सडकों को जेसीबी से बेतरतीब ढंग से खोदा गया है, जिससे सड़क पूरी तरीके से क्षतिग्रस्त हो गईं हैं. साथ ही टेलीफोन लाइनों के साथ ही पुरानी पेयजल लाइन क्षतिग्रस्त हो गईं, जिससे लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

मसूरी में पेयजल योजना के निर्माण पर उठ रहे सवाल.

बताया जा रहा है कि उत्तराखंड पेयजल निगम द्वारा पहले पेयजल योजना के तहत 4 इंच की लाइन डालने के लिए सड़क को खोदा गया, फिर उसको ठीक किया गया. अब एक बार फिर 10 इंच की लाइन डालने के लिए सड़क को खोदा जा रहा है, जिससे लोगों को भारी दिक्कत हो रही है व जनता का पैसा भी पानी की तरह बहाया जा रहा है.

स्थानीय निवासी सुधीर डोभाल ने कहा कि जब निगम पेयजल की 4 इंच की लाइन पहले डाल चुका है, तो अब 10 इंच की लाइन क्यों नहीं डाली जा रही है. एक बार फिर सडकों को खोदा जा रहा है, जिससे लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. स्थानीय लोगों ने आरोप लगाते हुए कहा है कि जनप्रतिनधि और अधिकारी योजनाओं के नाम पर पैसों की बंदरबांट कर रहे हैं.

उन्होंने कहा कि सड़क खुदी होने के कारण मरीजों को अस्पताल पहुंचाने में भी परेशानी हो रही है. वहीं, ठेकेदार की लापरवाही भी साफ तौर पर देखी जा जा रही है. पेयजल लाइन डालने के साथ सड़क निर्माण के कार्य काफी धीमी गति से चल रहा है.

पढ़ें- PM मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट पूरा नहीं कर पाई सरकार, अधूरे पाखरौ टाइगर सफारी के शुभारंभ की तैयारी

उत्तराखंड जल निगम के सहायक अभियंता मान सिंह रावत का कहना है कि मसूरी बार्लोगंज बाला हिसार में सड़क सक्रिय होने के कारण 4 इंच और 10 इंच की लाइन को एक साथ डालना संभव नहीं था. उन्होंने कहा कि 10 इंच की लाइन पेयजल के वितरण के लिए डाली जा रही, जिससे छोटी लाइनों को इससे जोड़कर लोगों के घरों तक पानी पहुंचाया जा सके.

उन्होंने बताया कि मसूरी बार्लोगंज क्षेत्र में पेयजल की सबसे ज्यादा समस्या (problem of drinking water in mussoorie) है. इसको देखते हुए वहां पर 10 इंच की लाइन डाली जा रही है. यह योजना मसूरी क्षेत्र के लिए है. कई लोगों द्वारा पेयजल योजना देहरादून राजपुर डीआईटी तक ले जाने का भ्रम फैलाया जा रहा है, जो बिल्कुल गलत है. मसूरी यमुना पेयजल योजना के तहत मसूरी क्षेत्र को ही पेयजल आपूर्ति की जायेगी.

Last Updated : Dec 13, 2021, 3:22 PM IST
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