वाराणसी : जिले में चल रही स्मार्ट सिटी योजना को शहरी एवं आवासन कार्य मंत्रालय की तरफ से चार अलग-अलग श्रेणियों में पुरस्कृत किया गया है. सबसे पहला पुरस्कार कोविड-19 संक्रमण की रोकथाम के लिए प्रथम पुरस्कार के रुप में मिला है, जबकि तीन अन्य पुरस्कार स्मार्ट सिटी लीडरशिप में जल संरक्षण के लिए क्रियान्वित परियोजनाओं में अस्सी नदी के पुनर्विकास कार्य के लिए मिले है. इसके अलावा राउंड दो में चयनित स्मार्ट सिटी में तृतीय पुरस्कार और साथ ही राज्यवार श्रेणी में उत्तर प्रदेश को प्रथम स्थान मिला है.
6 साल पूरे होने पर हुई घोषणा
शुक्रवार को स्मार्ट सिटी मिशन के 6 साल पूरे होने पर मंत्रालय की तरफ से इंडिया स्मार्ट सिटी आवास की वर्चुअल बैठक में इन पुरस्कारों की घोषणा की गई है. बैठक में कैबिनेट मंत्री हरदीप सिंह पुरी की मौजूदगी में बनारस को स्मार्ट सिटी योजना के अंतर्गत चार पुरस्कारों से नवाजा गया है. इस बारे में नगर निगम के आला अधिकारियों ने बताया कि फिलहाल बनारस में स्मार्ट सिटी योजनाओं को लेकर 50 से ज्यादा प्रोजेक्ट चल रहे है, जिसको दृष्टिगत रखते हुए कई बड़े प्रोजेक्ट जल्द ही पूरे होने वाले हैं. इनमें मुख्य रूप से गोदौलिया पर बनाई जा रही मल्टीलेवल पार्किंग का काम लगभग पूरा हो गया है, जबकि प्रदेश का पहला लिफ्ट वाला स्कूल मछोदरी में तैयार किया गया है. इसके अतिरिक्त कई वार्ड के पुनर्विकास का कार्य" अंडरग्राउंड पार्किंग और घाटों पर हेरिटेज साइनेज और खिड़कियां घाट के पुनर्विकास का कार्य क्रियान्वित किया जा रहा है. वहीं स्मार्ट सिटी योजना के तहत बनाए गए कंट्रोल रूम में कोविड-19 कंट्रोल में किए जाने के प्रयासों को भी पुरस्कार से नवाजा गया है.
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यह मिले अवार्ड
फिलहाल जिन चार श्रेणियों में वाराणसी को स्मार्ट सिटी योजना के अंतर्गत पुरस्कृत किया गया है, उनमें कोविड-19 रोकथाम के लिए प्रथम पुरस्कार, स्मार्ट सिटी लीडरशिप में द्वितीय पुरस्कार, जल संरक्षण के लिए क्रियान्वित परियोजनाओं में अस्सी नदी के पुनर्विकास के लिए प्रदेश में प्रथम पुरस्कार के रुप में बनारस को नवाजा गया है. इसके अतिरिक्त स्मार्ट सिटी में तृतीय पुरस्कार दिया गया है.