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अफगानिस्तान से आने वाले गैर मुस्लिमों को मिले भारत की नागरिकता: स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती

वाराणसी में अखिल भारतीय संत समिति के महामंत्री स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने अफगानिस्तान से आने वाले गैर मुस्लिमों को भारतीय नागरिकता देने की अपील की है. उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी से अफगानिस्तान से आने वाले गैर मुस्लिमों को नागरिकता देने की गुहार लगाई है.

स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती.
स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती.
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Published : Aug 17, 2021, 7:53 AM IST

वाराणसी: अफगानिस्तान में हो रहे सत्ता परिवर्तन को देखते हुए भारत के अखिल भारतीय संत समिति ने देश की सरकार और प्रधानमंत्री मोदी से अफगानिस्तान से आने वाले गैर मुस्लिमों को हिंदुस्तान की नागरिकता देने के लिए गुहार लगाया है. धर्म और अध्यात्म की नगरी काशी से महमूरगंज स्थित अपने कार्यालय से अखिल भारतीय संत समिति के महामंत्री स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने पीएम मोदी से अपील की है.

अफगानिस्तान में तालिबानियों के उग्र रूप को देखते हुए भारत सरकार भी अफगानिस्तान के नागरिकों की मदद कर रही है. इसी क्रम में अखिल भारतीय संत समिति ने भारत सरकार से गैर मुस्लिमों की मदद के लिए गुहार लगाया है. महामंत्री स्वामी जितेंद्रानांद सरस्वती ने कहा कि 21वीं सदी का विश्व संप्रदाय विशेष के नाम पर अफगानिस्तान के नाम पर हो रहे नंगे नाच को देख रहा है. भारत के प्रधानमंत्री ने इसका आभास पहले ही कर लिया था. जिसके लिए सीएए नाम का कानून लाया गया.

जानकारी देते स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती.

उन्होंने कहा कि आज हम संत समिति के नाते भारतीय मूल के जो लोग पूरे विश्व में रह रहे हैं. उनकी सुरक्षा के लिए हम भारत के विपक्ष से यह पूछना चाहेंगे कि 2014 जो एक कैपिंग थी. आप के नंगे नाच के कारण हुआ कैपिंग लगाई गई. जो लोग 2014 के पूर्व भारत में आ गए थे. उनको भारत की नागरिकता दी जाए, लेकिन अफगानिस्तान के हालात को देखते हुए क्या अफगानिस्तान से आने वाले भारतीय मूल के हिंदुओं, सिखों, जैन, बौद्धों को नागरिकता नहीं मिलनी चाहिए.

गैर मुस्लिम को मिले नागरिकता
स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि हम भारत सरकार से मांग करते हैं कि 2014 की जो कैपिंग है. इसे हटा करके अफगानिस्तान से भारतीय मूल के गैर मुसलमान पीड़ित जो भी आए उन्हें तत्काल नागरिकता और सहायता प्रदान की जानी चाहिए.

इसे भी पढ़ें- काशी में संतों ने उठाई आवाज, बोले- सरकार तय करे अल्पसंख्यक की परिभाषा

वाराणसी: अफगानिस्तान में हो रहे सत्ता परिवर्तन को देखते हुए भारत के अखिल भारतीय संत समिति ने देश की सरकार और प्रधानमंत्री मोदी से अफगानिस्तान से आने वाले गैर मुस्लिमों को हिंदुस्तान की नागरिकता देने के लिए गुहार लगाया है. धर्म और अध्यात्म की नगरी काशी से महमूरगंज स्थित अपने कार्यालय से अखिल भारतीय संत समिति के महामंत्री स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने पीएम मोदी से अपील की है.

अफगानिस्तान में तालिबानियों के उग्र रूप को देखते हुए भारत सरकार भी अफगानिस्तान के नागरिकों की मदद कर रही है. इसी क्रम में अखिल भारतीय संत समिति ने भारत सरकार से गैर मुस्लिमों की मदद के लिए गुहार लगाया है. महामंत्री स्वामी जितेंद्रानांद सरस्वती ने कहा कि 21वीं सदी का विश्व संप्रदाय विशेष के नाम पर अफगानिस्तान के नाम पर हो रहे नंगे नाच को देख रहा है. भारत के प्रधानमंत्री ने इसका आभास पहले ही कर लिया था. जिसके लिए सीएए नाम का कानून लाया गया.

जानकारी देते स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती.

उन्होंने कहा कि आज हम संत समिति के नाते भारतीय मूल के जो लोग पूरे विश्व में रह रहे हैं. उनकी सुरक्षा के लिए हम भारत के विपक्ष से यह पूछना चाहेंगे कि 2014 जो एक कैपिंग थी. आप के नंगे नाच के कारण हुआ कैपिंग लगाई गई. जो लोग 2014 के पूर्व भारत में आ गए थे. उनको भारत की नागरिकता दी जाए, लेकिन अफगानिस्तान के हालात को देखते हुए क्या अफगानिस्तान से आने वाले भारतीय मूल के हिंदुओं, सिखों, जैन, बौद्धों को नागरिकता नहीं मिलनी चाहिए.

गैर मुस्लिम को मिले नागरिकता
स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि हम भारत सरकार से मांग करते हैं कि 2014 की जो कैपिंग है. इसे हटा करके अफगानिस्तान से भारतीय मूल के गैर मुसलमान पीड़ित जो भी आए उन्हें तत्काल नागरिकता और सहायता प्रदान की जानी चाहिए.

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