उन्नाव : सीनियर आईएएस रजनीश दुबे के निजी सचिव के द्वारा खुद को गोली मारकर आत्महत्या करने के प्रयास किया. मामले में पुलिस को मिले सुसाइड नोट के आधार पर बीते कल लखनऊ जोन की आईजी लक्ष्मी सिंह औरास थाने पहुंच कर जांच पड़ताल की थी, जिसमें मंगलवार की देर रात आईजी लक्ष्मी सिंह ने औरास थाना प्रभारी हर प्रसाद अहिरवार और विवेचक तमीजुद्दीन को निलंबित कर दिया.
IG ने बताया कि, निजी सचिव विशंभर दयाल मूलरूप से लखनऊ के मलिहाबाद थानाक्षेत्र के गुलालखेड़ा गांव के रहने वाले हैं. सुसाइड नोट में ससुराल वालों से चल रहे विवाद और दर्ज मुकदमे के कारण परेशान होने की बात लिखी है. उन्नाव के औरास थाने में विशंभर दयाल की बहन ने एक मामला दर्ज कराया हुआ है, जिसमें उसके ससुराल पक्ष पर इल्जाम लगाए गए हैं. डीसीपी मध्य ख्याति गर्ग ने बताया सुसाइड नोट में विशंभर ने बहन के विवाद का जिक्र किया है और उसके ससुराल पक्ष की तरफ से परेशान किए जाने का भी जिक्र है. विशंभर के बहन के ससुराल पक्ष ने भी इसी थाने में एक मुकदमा दर्ज कराया हुआ है. इस मामले में विशंभर आरोपी हैं और ऐसा माना जा रहा है कि इसी मुक़दमे को लेकर औरास थाने की पुलिस विशंभर को परेशान कर रही थी. विशंभर दयाल द्वारा लगाए गए आरोपों की जांच लखनऊ रेंज की आईजी लक्ष्मी सिंह को दे दी गई है.
स्टैंड पर मिले मोबाइल की पड़ताल जारी
निजी सचिव विशंभर दयाल के ऑफिस में सेंट्रल टेबल पर स्टैंड में मोबाइल फंसा मिला था. पुलिस को शक था कि खुद को गोली मारने से पूर्व विशंभर दयाल ने मोबाइल में लाइव स्टेटमेंट रिकार्ड का होगी. पुलिस विशंभर दयाल का मोबाइल कब्जे में लेकर छानबीन कर रही है. पुलिस को विशम्भर का मोबाइल स्विच ऑफ मिला था और लॉक था. मोबाइल का लॉक खोलने की कोशिश की जा रही है.
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खुद को गोली मारने के बाद विशंभर दयाल को सिविल अस्पताल ले जाया गया जहां से उन्हें लोहिया अस्पतालरेफर कर दिया गया था. अभी भी उनकी हालत गंभीर बताई जा रही है. लोहिया अस्पताल के सीएमएस डॉयर भटनागर के मुताबिक उनके सिर में गोली रह गई है. सीटी स्कैन के बाद उन्हें ICU में एडमिट किया गया है. सोमवार को जन्माष्टमी की छुट्टी थी, लेकिन उसके बाद भी विशंभर दयाल को अपर मुख्य सचिव रजनीश दुबे ने ऑफिस आने के लिए कहा था. विशंभर दयाल इसी तनाव में ऑफिस पहुंचे और उन्होंने 8वें तल के कमरा नंबर 824 में खुद को गोली मार ली. उधर नगर विकास के अपर मुख्य सचिव रजनीश दुबे ने बताया कि 9 साल से वह मेरे साथ रहे हैं. मेरे साथ 7 से 8 विभागों में निजी सचिव के पद पर रहे हैं. उनके साथ मेरा घर का रिश्ता है और वे बहन के मुक़दमे की वजह से परेशान थे.