ETV Bharat / state

सुल्तानपुर कोर्ट का बड़ा फैसला, महिला की मौत मामले में 12 साल बाद फौजी पति निर्दोष

सुलतानपुर जनपद के बल्दीराय थाना क्षेत्र के सिधई भगत के पुरवा गांव के कुएं में 12 साल पहले महिला का शव मिला था. महिला के भाई ने पति और ससुरालियों पर दहेज के लिए हत्या करने का आरोप लगाया था. कोर्ट ने साक्ष्य के आभाव में पति और ननद को राहत देते हुए बरी कर दिया.

Etv Bharat
सुल्तानपुर कोर्ट का बड़ा फैसला
author img

By

Published : Feb 10, 2023, 7:31 PM IST

सुल्तानपुर: उत्तर प्रदेश के सुलतानपुर में महिला की मौत मामले में कोर्ट ने शुक्रवार को बड़ा फैसला सुनाते हुए आरोपी पति को राहत दी है. कोर्ट ने महिला की मौत मामले आरोपी पति और ननद को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया. महिला की मौत का ये मामला 12 साल पुराना है. महिला की लाश कुंए में मिली थी. घटना सुलतानपुर जनपद के बल्दीराय थाना क्षेत्र के सिधई भगत के पुरवा गांव में हुई थी.

मुसाफिरखाना में था महिला का मायका
शिवशंकर यादव निवासी पलिया चंदापुर मुसाफिरखाना ने एफआईआर लिखायी थी कि उसकी बहन गायत्री की शादी 12 साल पहले संतोष यादव के साथ हुई थी. 24 अप्रैल को वह अचानक गायब हो गई थी. उसके चार दिन बाद महिला का शव गांव के बाहर कुंए में मिला था. भाई शिवशंकर यादव का आरोप था कि पति और ससुरालीजनों ने दहेज में बाइक, टीवी व अन्य सामान की मांग पूरी नहीं होने पर उसकी हत्या कर दी. पुलिस ने ससुर छत्रपाल, ननद गुड्डू, पति संतोष व ननद मायादेवी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करके मामले की जांच शुरू की. विवेचना में पुलिस ने ससुर छत्रपाल, ननद गुड्डू की नामजदगी गलत पाई. इसके बाद विवेचक ने पति संतोष व ननद मायादेवी के विरुद्ध आरोप पत्र दाखिल किया.

पति ने ही थाने पर दी थी पत्नी के गायब होने की सूचना
अभियोजन ने आठ गवाह पेश किए. बचाव पक्ष के अधिवक्ता जीतेन्द्र श्रीवास्तव ने कहा कि पत्नी के गायब होने की सूचना संतोष ने ही थाने पर दी थी. शव पर कोई चोट नहीं थी. आठ साल बच्चा न होने पर महिला का कोई उत्पीड़न नहीं किया गया. संतोष सीआरपीएफ में था. पत्नी साथ जाना चाहती थी, जबकि पति बुजुर्ग पिता के पास रहने के लिए कह रहा था. उसके पास पहले से बाइक थी. ननद माया देवी की शादी दस साल पहले 35 किलोमीटर दूर हुई थी. जज राजेश नरायण मणि त्रिपाठी ने पर्याप्त साक्ष्य नहीं होने के आधार पर पति संतोष को मामले से बरी कर दिया.

ये भी पढ़ेंः मेरठ में बेहद ही शर्मनाक घटना, दिव्यांग महिला पर गोवंश के अवशेष डालकर कुत्ते से कटवाया

सुल्तानपुर: उत्तर प्रदेश के सुलतानपुर में महिला की मौत मामले में कोर्ट ने शुक्रवार को बड़ा फैसला सुनाते हुए आरोपी पति को राहत दी है. कोर्ट ने महिला की मौत मामले आरोपी पति और ननद को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया. महिला की मौत का ये मामला 12 साल पुराना है. महिला की लाश कुंए में मिली थी. घटना सुलतानपुर जनपद के बल्दीराय थाना क्षेत्र के सिधई भगत के पुरवा गांव में हुई थी.

मुसाफिरखाना में था महिला का मायका
शिवशंकर यादव निवासी पलिया चंदापुर मुसाफिरखाना ने एफआईआर लिखायी थी कि उसकी बहन गायत्री की शादी 12 साल पहले संतोष यादव के साथ हुई थी. 24 अप्रैल को वह अचानक गायब हो गई थी. उसके चार दिन बाद महिला का शव गांव के बाहर कुंए में मिला था. भाई शिवशंकर यादव का आरोप था कि पति और ससुरालीजनों ने दहेज में बाइक, टीवी व अन्य सामान की मांग पूरी नहीं होने पर उसकी हत्या कर दी. पुलिस ने ससुर छत्रपाल, ननद गुड्डू, पति संतोष व ननद मायादेवी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करके मामले की जांच शुरू की. विवेचना में पुलिस ने ससुर छत्रपाल, ननद गुड्डू की नामजदगी गलत पाई. इसके बाद विवेचक ने पति संतोष व ननद मायादेवी के विरुद्ध आरोप पत्र दाखिल किया.

पति ने ही थाने पर दी थी पत्नी के गायब होने की सूचना
अभियोजन ने आठ गवाह पेश किए. बचाव पक्ष के अधिवक्ता जीतेन्द्र श्रीवास्तव ने कहा कि पत्नी के गायब होने की सूचना संतोष ने ही थाने पर दी थी. शव पर कोई चोट नहीं थी. आठ साल बच्चा न होने पर महिला का कोई उत्पीड़न नहीं किया गया. संतोष सीआरपीएफ में था. पत्नी साथ जाना चाहती थी, जबकि पति बुजुर्ग पिता के पास रहने के लिए कह रहा था. उसके पास पहले से बाइक थी. ननद माया देवी की शादी दस साल पहले 35 किलोमीटर दूर हुई थी. जज राजेश नरायण मणि त्रिपाठी ने पर्याप्त साक्ष्य नहीं होने के आधार पर पति संतोष को मामले से बरी कर दिया.

ये भी पढ़ेंः मेरठ में बेहद ही शर्मनाक घटना, दिव्यांग महिला पर गोवंश के अवशेष डालकर कुत्ते से कटवाया

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.