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डॉक्टर ने की दस हजार रुपये की मांग तो रूक गया वेतन, ड्यूटी से भी धोया हाथ

मुरादाबाद के जिला अस्पताल में मेडिकल बनाने के नाम पर डॉक्टर ने 10000 रुपये की मांग की. मरीज के परिजनों की शिकायत की तो आईएमएस ने तत्काल कार्रवाई करते हुए डॉक्टर को ड्यूटी से हटा दिया और एक दिन का वेतन रोक दिया.

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सीएमएस ने डॉक्टर का रोका वेतन
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Published : May 26, 2022, 9:08 PM IST

सोनभद्र: मारपीट के मामले में घायल दो व्यक्तियों का मेडिकल बनाने के नाम पर डॉक्टर द्वारा 10000 रुपये धनराशि की मांग की जा रही थी. जब मरीज ने पैसे देने से मना कर दिया तो डॉक्टर ने अपशब्दों का प्रयोग करते हुए मरीज के तीमारदारों को भगा दिया. मरीज के परिजनों और डॉक्टर में भी जमकर वाद-विवाद हुआ.

मामले की जानकारी होने पर पत्रकार भी मौके पर पहुंच गए. तो इमरजेंसी में मौजूद डॉक्टर प्रदीप सिंह पत्रकारों से उलझ गए और उन्होंने पत्रकारों को वीडियो बनाने से मना कर दिया. उन्होंने कहा कि जिला अस्पताल में वीडियो बनाना मना है. बाद में परेशान मरीज ने इस बात की लिखित शिकायत मुख्य चिकित्सा अधीक्षक से की. इससे बौखलाए चिकित्सक ने मौके पर पुलिस को भी बुला लिया, लेकिन मौके पर पहुंची पुलिस मरीज की शिकायत सुनकर वापस लौट गई.

क्या था मामला: घोरावल थाना क्षेत्र के ढोलो गांव में आपसी मारपीट के मामले में मंगलवार को दो व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गए थे. देर शाम को दो मरीज चंद्रनारायण पांडेय और हृदयनारायण पांडेय जिला अस्पताल लाये गए. मरीज के परिजन उनका मेडिकल बनाने और रेफर करने की मांग इमरजेंसी में मौजूद डॉक्टर से कर रहे थे. मरीज के तीमारदार का कहना है इसके डॉक्टर ने उनसे रुपयों की मांग की थी.

यह भी पढ़ें-जब फाटक पर आ गई मालगाड़ी तो हुआ कुछ ऐसा की देखते रह गए लोग...

लिखित शिकायत के बाद सीएमएस ने की कार्रवाई: जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक श्रीश्याम से मरीज के परिजनों ने शिकायत की तो आईएमएस ने तत्काल इस मामले में कार्रवाई की. मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने तत्काल कार्रवाई करते हुए इमरजेंसी ड्यूटी से डॉक्टर प्रदीप सिंह को हटा दिया और उनका एक दिन का वेतन भी रोक दिया. मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने जांच के बाद उचित कार्रवाई करने का आश्वासन भी दिया है.

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सोनभद्र: मारपीट के मामले में घायल दो व्यक्तियों का मेडिकल बनाने के नाम पर डॉक्टर द्वारा 10000 रुपये धनराशि की मांग की जा रही थी. जब मरीज ने पैसे देने से मना कर दिया तो डॉक्टर ने अपशब्दों का प्रयोग करते हुए मरीज के तीमारदारों को भगा दिया. मरीज के परिजनों और डॉक्टर में भी जमकर वाद-विवाद हुआ.

मामले की जानकारी होने पर पत्रकार भी मौके पर पहुंच गए. तो इमरजेंसी में मौजूद डॉक्टर प्रदीप सिंह पत्रकारों से उलझ गए और उन्होंने पत्रकारों को वीडियो बनाने से मना कर दिया. उन्होंने कहा कि जिला अस्पताल में वीडियो बनाना मना है. बाद में परेशान मरीज ने इस बात की लिखित शिकायत मुख्य चिकित्सा अधीक्षक से की. इससे बौखलाए चिकित्सक ने मौके पर पुलिस को भी बुला लिया, लेकिन मौके पर पहुंची पुलिस मरीज की शिकायत सुनकर वापस लौट गई.

क्या था मामला: घोरावल थाना क्षेत्र के ढोलो गांव में आपसी मारपीट के मामले में मंगलवार को दो व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गए थे. देर शाम को दो मरीज चंद्रनारायण पांडेय और हृदयनारायण पांडेय जिला अस्पताल लाये गए. मरीज के परिजन उनका मेडिकल बनाने और रेफर करने की मांग इमरजेंसी में मौजूद डॉक्टर से कर रहे थे. मरीज के तीमारदार का कहना है इसके डॉक्टर ने उनसे रुपयों की मांग की थी.

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लिखित शिकायत के बाद सीएमएस ने की कार्रवाई: जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक श्रीश्याम से मरीज के परिजनों ने शिकायत की तो आईएमएस ने तत्काल इस मामले में कार्रवाई की. मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने तत्काल कार्रवाई करते हुए इमरजेंसी ड्यूटी से डॉक्टर प्रदीप सिंह को हटा दिया और उनका एक दिन का वेतन भी रोक दिया. मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने जांच के बाद उचित कार्रवाई करने का आश्वासन भी दिया है.

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