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कांशीराम आवास आवंटन घोटाला मामले में एसडीएम, ईओ सीजेएम कोर्ट में हुए पेश - रसड़ा नगरपालिका ईओ गिरफ्तार

चंदौली में कांशीराम आवास आवंटन में अनियमितता बरतने के आरोप में बलिया के रसड़ा नगरपालिका ईओ को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. इस गिरफ्तारी के बाद एसडीएम, ईओ समेत कई अधिकारियों को कोर्ट में पेश किया गया है.

रसड़ा नगरपालिका ईओ गिरफ्तार
रसड़ा नगरपालिका ईओ गिरफ्तार
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Published : Dec 20, 2022, 12:37 PM IST

Updated : Dec 20, 2022, 10:24 PM IST

चंदौली: कांशीराम शहरी आवास योजना में हुए घोटाले में मंगलवार को गिरफ्तार किए गए एसडीएम और ईओ समेत कई अधिकारियों की कोर्ट में पेशी हुई. पेशी के दौरान पुलिस मीडिया से आरोपियो को बचाती हुई नजर आई.

कांशीराम आवास आवंटन में अनियमितता बरतने के आरोप में बलिया के रसड़ा नगरपालिका ईओ राजेंद्र प्रसाद को चंदौली पुलिस टीम ने गिरफ्तार कर लिया. क्राइम ब्रांच की टीम ने बलिया पुलिस के सहयोग से ईओ को उनके कार्यालय से गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा है कि 2011 के पुराने मामले में हाईकोर्ट की सख्ती के बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की है.

नगर पंचायत और सदर तहसील के कर्मचारियों की मिलीभगत से कांशीराम आवास योजना में आवासों के आवंटन में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी की गई. इस प्रकरण में जिला न्यायालय के साथ-साथ हाईकोर्ट के भी आदेशों की लगातार अवहेलना होती रही. इस मामले के लगभग 11 साल बीत जाने के बाद पुलिस एक्टिव हुई और कोर्ट के बार-बार दिशा निर्देश देने के बाद कार्रवाई करने की पहल कर रही है. फिलहाल, इस मामले की विवेचना क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर संतोष सिंह कर रहे हैं.

वादी चंद्र मोहन सिंह का आरोप है कि नगर पंचायत के विभिन्न कर्मचारियों ने हीलाहवाली और तहसील के कर्मचारियों के साथ मिलीभगत करके गलत और अवैध लोगों को आवास आवंटित कर दिया. शिकायत की गई तो तत्कालीन जिलाधिकारी ने 40 आवासों के आवंटन को गलत पाया और उसे निरस्त करने का आदेश दे दिया. लेकिन, जिलाधिकारी के आदेश के बाद भी इस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई.

चंद्रमोहन सिंह ने इस मामले को न्यायालय में ले जाने की पहल की और इस फर्जीवाड़े के खिलाफ चंदौली कोतवाली में सन 2013 में मुकदमा दर्ज कराया. इस मामले में हाईकोर्ट ने 17 सितंबर 2015 को एक आदेश दिया कि सीजीएम चंदौली के तत्कालीन आदेश का पालन कराया जाए और 2 माह के भीतर उसमें कार्रवाई की जाए. लेकिन, कार्रवाई नहीं की गई. इसके बाद चंद्रमोहन सिंह ने दोबारा हाईकोर्ट में याचिका दायर की.

यह भी पढ़ें: रायबरेली में दुष्कर्म पीड़ित के अनुदान में फर्जीवाड़ा, प्रोबेशन अधिकारी और बाबू के खिलाफ FIR

इस पर न्यायालय ने चंदौली पुलिस और डीजीपी से 2 माह के भीतर जवाब मांगा. इसके बाद पुलिस कार्रवाई ने तेजी पकड़ी और सालों बाद विवेचना में दोषी पाए जाने पर सोमवार को बलिया के रसड़ा नगरपालिका कार्यालय से ईओ राजेन्द्र प्रसाद को गिरफ्तार कर चंदौली ले आई. इस बाबत एसपी चंदौली ने बताया कि कांशीराम आवास योजना में अनियमितता की जांच में दोषी पाए जाने पर उन्हें गिरफ्तार किया गया और उन्हें न्यायालय में पेश किया गया है.

चंदौली: कांशीराम शहरी आवास योजना में हुए घोटाले में मंगलवार को गिरफ्तार किए गए एसडीएम और ईओ समेत कई अधिकारियों की कोर्ट में पेशी हुई. पेशी के दौरान पुलिस मीडिया से आरोपियो को बचाती हुई नजर आई.

कांशीराम आवास आवंटन में अनियमितता बरतने के आरोप में बलिया के रसड़ा नगरपालिका ईओ राजेंद्र प्रसाद को चंदौली पुलिस टीम ने गिरफ्तार कर लिया. क्राइम ब्रांच की टीम ने बलिया पुलिस के सहयोग से ईओ को उनके कार्यालय से गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा है कि 2011 के पुराने मामले में हाईकोर्ट की सख्ती के बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की है.

नगर पंचायत और सदर तहसील के कर्मचारियों की मिलीभगत से कांशीराम आवास योजना में आवासों के आवंटन में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी की गई. इस प्रकरण में जिला न्यायालय के साथ-साथ हाईकोर्ट के भी आदेशों की लगातार अवहेलना होती रही. इस मामले के लगभग 11 साल बीत जाने के बाद पुलिस एक्टिव हुई और कोर्ट के बार-बार दिशा निर्देश देने के बाद कार्रवाई करने की पहल कर रही है. फिलहाल, इस मामले की विवेचना क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर संतोष सिंह कर रहे हैं.

वादी चंद्र मोहन सिंह का आरोप है कि नगर पंचायत के विभिन्न कर्मचारियों ने हीलाहवाली और तहसील के कर्मचारियों के साथ मिलीभगत करके गलत और अवैध लोगों को आवास आवंटित कर दिया. शिकायत की गई तो तत्कालीन जिलाधिकारी ने 40 आवासों के आवंटन को गलत पाया और उसे निरस्त करने का आदेश दे दिया. लेकिन, जिलाधिकारी के आदेश के बाद भी इस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई.

चंद्रमोहन सिंह ने इस मामले को न्यायालय में ले जाने की पहल की और इस फर्जीवाड़े के खिलाफ चंदौली कोतवाली में सन 2013 में मुकदमा दर्ज कराया. इस मामले में हाईकोर्ट ने 17 सितंबर 2015 को एक आदेश दिया कि सीजीएम चंदौली के तत्कालीन आदेश का पालन कराया जाए और 2 माह के भीतर उसमें कार्रवाई की जाए. लेकिन, कार्रवाई नहीं की गई. इसके बाद चंद्रमोहन सिंह ने दोबारा हाईकोर्ट में याचिका दायर की.

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इस पर न्यायालय ने चंदौली पुलिस और डीजीपी से 2 माह के भीतर जवाब मांगा. इसके बाद पुलिस कार्रवाई ने तेजी पकड़ी और सालों बाद विवेचना में दोषी पाए जाने पर सोमवार को बलिया के रसड़ा नगरपालिका कार्यालय से ईओ राजेन्द्र प्रसाद को गिरफ्तार कर चंदौली ले आई. इस बाबत एसपी चंदौली ने बताया कि कांशीराम आवास योजना में अनियमितता की जांच में दोषी पाए जाने पर उन्हें गिरफ्तार किया गया और उन्हें न्यायालय में पेश किया गया है.

Last Updated : Dec 20, 2022, 10:24 PM IST
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