मेरठ : विजिलेंस की टीम ने बिजली विभाग में तैनात चीफ इंजीनियर को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों दबोच लिया. रिश्वत लेते हुए पकड़े गए आरोपी को विजिलेंस की टीम सिविल लाइन थाने लेकर गई और पूछताछ की. फिलहाल पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है और आगे की कार्रवाई कर रही है.
मिली जानकारी के मुताबिक, विजिलेंस टीम ने बिजली विभाग में तैनात अधीक्षण अभियंता ग्रामीण प्रथम को 2 लाख रुपये की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है. चीफ इंजीनियर ने लाइन शिफ्टिंग के रूटमैप हेंडओवर के बदले 12 लाख रुपये की रिश्वत मांगी थी. पीड़ित ने इसकी सूचना विजिलेंस को दी थी.
पीड़ित कुलबीर साहनी ने बताया कि वह चंडीगढ़ की कंपनी अरविन्द इलेक्ट्रानिक का डायरेक्टर है. कुलदीप साहनी के पास मुरादनगर से लेकर मोदीपुरम तक एनसीआरटीसी के प्रोजेक्ट रैपिड रेल के बिजली की लाइन शिफ्टिंग का कॉन्ट्रेक्ट है. कुलदीप ने रिश्वत मांगने की सूचना विजिलेंस को दी थी. जिसके बाद विजिलेंस टीम ने प्लानिंग करके कुलबीर साहनी को बुलाया और रिश्वत में दिए जाने वाले रुपये पर कैमिकल लगाकर कुलबीर को वापस लौटा दिया. कुलबीर साहनी जब बिजली विभाग के चीफ इंजीनियर को रिश्वत दे रहे थे उसी दौरान विजिलेंस टीम ने आरोपी को दबोच लिया.
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