लखनऊ: उत्तर प्रदेश के प्रमुख सचिव ऊर्जा और उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन के चेयरमैन एम. देवराज ने शनिवार को पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के उपखंड अधिकारी को बिल संशोधन और मीटर बदलने के मामले में संदिग्ध मानते हुए तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है. उपखंड अधिकारी संजय कुमार विद्युत वितरण उपखंड प्रथम फतेहपुर में तैनात हैं. चेयरमैन की इस कार्रवाई से बिजली विभाग के अधिकारियों में हड़कंप मचा हुआ है.
बिजली विभाग के अधिकारियों पर लगातार भ्रष्टाचार के मामलों में कड़ी कार्रवाई हो रही है. चेयरमैन एम. देवराज अधिकारियों को सेवा से भी पृथक करते हुए निलंबन की भी कार्रवाई कर रहे हैं. इसी कड़ी में शनिवार को पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के फतेहपुर उपकेंद्र के उपखंड अधिकारी को प्रथम दृष्टया दोषी मानते हुए निलंबित कर दिया. उपखंड अधिकारी संजय कुमार पर आरोप था कि उन्होंने एक दर्जन बिजली बिलों की जांच और मीटर बदलने में बड़ा खेल किया है.
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इस मामले की जांच के लिए दो सदस्यीय जांच टीम गठित की गई थी. अधीक्षण अभियंता वाणिज्य बीपी सिंह और अधिशासी अभियंता (स्मार्ट मीटरिंग सेल) रजनीकांत ने पूरे मामले की जांच की. जांच में यह सामने आया के उपखंड अधिकारी ने बिल संशोधन और मीटर बदलने की कार्रवाई में बड़ा खेल किया है. जांच में एक दर्जन बिजली के बिल संदिग्ध पाए गए. इसके बाद जांच टीम ने अपनी जांच रिपोर्ट पावर कारपोरेशन के चेयरमैन को सौंपी. रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद चेयरमैन पावर कारपोरेशन एम. देवराज ने पाया कि संजय कुमार इस मामले में दोषी हैं. तत्काल एसडीओ को निलंबित करने की कार्रवाई की.
वहीं, चेयरमैन एम. देवराज ने बताया कि निलंबन अवधि के दौरान उपखंड अधिकारी संजय कुमार उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन लिमिटेड के निदेशक (कार्मिक एवं प्रशासन) लखनऊ कार्यालय से संबद्ध रहेंगे. इस अवधि में नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ता उन्हें प्राप्त होगा.
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