लखनऊ: हाथरस में 19 वर्षीय दलित युवती की हत्या के बाद उत्तर प्रदेश की शांति व्यवस्था को भंग करने के आरोपों की जांच एसटीएफ को सौंपी गई है. शासन के निर्देशों के तहत एडिशनल एसपी रैंक के अधिकारी के नेतृत्व में टीम का गठन किया जाएगा. टीम हाथरस की घटना के बाद शांति व्यवस्था को भंग करने के लिए की गई साजिश की तह तक पहुंचने के लिए जांच करेगी.
शासन के निर्देशों के बाद हाथरस घटना के बाद किस तरह से उत्तर प्रदेश शांति व्यवस्था को भंग करने के लिए घटना के संदर्भ में दुष्प्रचार किया गया है और सोशल मीडिया पर भ्रामक तथ्यों को पोस्ट किया गया. इस मामले में एसटीएफ की टीम जांच करेगी. जांच के लिए यूपी एसटीएफ की टीम बुधवार शाम तक हाथरस पहुंचेंगी.
बड़े पैमाने पर की गई साजिश
हाथरस में 19 वर्षीय दलित की बेटी की हत्या और दुष्कर्म के आरोपों के बाद उत्तर प्रदेश पुलिस ने इस बात का खुलासा किया था कि घटना के बाद बड़े पैमाने पर सोशल मीडिया और अन्य माध्यमों से दुष्प्रचार किया गया है. घटना के संदर्भ में उत्तर प्रदेश की शांति व्यवस्था को भंग करने के लिए साजिश रची गई थी, जिसके बाद कार्रवाई करते हुए मथुरा में चार पीएफआई से जुड़े हुए लोगों को गिरफ्तार भी किया गया था. अपने बयान में एडीजी लॉ एंड आर्डर प्रशांत कुमार ने बताया था कि हाथरस की घटना के बाद यूपी की शांति व्यवस्था को भंग करने के लिए बड़े पैमाने पर साजिश की गई है. घटना के बाद से तमाम संगठनों पर उत्तर प्रदेश पुलिस नजर बनाए हुए हैं.