लखनऊ: राजधानी के डाली गंज स्थित एक निजी अस्पताल में डॉक्टरों की लापरवाही के चलते मरीज की मौत हो गई. जिसके बाद मरीज के परिजनों ने जमकर हंगामा काटा और तीमारदार ने अस्पताल संचालक सहित टीम के खिलाफ मारपीट,बंधक बनाने एससी-एसटी एक्ट समेत विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज करवाया है. वहीं अस्पताल संचालक ने भी तीमारदार को आरोपी बताते हुए उसके खिलाफ थाने में तहरीर दी है.
जानिए क्या है पूरा मामला
- पूर्व फ्लाइंग ऑफिसर हनुमान सिंह डाली गंज स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती हुए थे.
- जहां अस्पताल में डॉक्टर पर पूर्व सैनिक की नाक में जबरन फूड पाइप डालने का आरोप लगा है.
- रायबरेली निवासी और पूर्व फ्लाइंग ऑफिसर हनुमान सिंह को सांस की बीमारी थी और उनका इलाज अस्पताल में चलने के बाद 19 अप्रैल को डिस्चार्ज कर दिया गया था.
- इसके दो दिन बाद 21 अप्रैल को उनकी फिर तबियत बिगड़ गई, जिसके बाद उनके बेटे विमलेश ने उनको दोबारा भर्ती कराया.
- विमलेश का आरोप है कि कि उसके पिता मुंह से खाना और दवा ले रहे थे. इसके बाद भी सुबह सात बजे वर्ल्ड बाय नितिन तीमारदारों को कमरे से बाहर निकाल दिया और वह मरीज की नाक में जबरदस्ती पाइप डाल रहा था.
- वहीं विमलेश ने कमरे से झांक कर देखा तो वह छटपटा रहे थे और मना करने के बाद भी वह नहीं माना और गलत तकीके से पाइप डालने से मरीज की मौत हो गई.
- वहीं मरीज की मौत के बाद परिजनों ने हंगामा काटना शुरू कर दिया. वहीं परिजनों का आरोप है कि अस्पताल प्रशासन ने सुरक्षाकर्मियों को बुलाके उनके साथ मारपीट शुरू कर दी. जिससे उसके भतीजे के दाहिने हाथ में फ्रैक्चर हो गया.
- इसके बाद उन्हें अस्पताल के बेसमेंट में बंधक बना लिया गया. किसी तरह पुलिस को सूचना दी गई. मौके पर पहुंची पुलिस ने किसी तरह छुड़ाया.
- वहीं इस संबंध में विमलेश ने वजीरगंज थाने में संचालक डॉक्टर के के सिंह, डॉक्टर जयनारायण और कंपाउंडर नीरज त्रिपाठी और स्टाफ के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई है और शव का पोस्टमार्टम भी कराया है.
यह मामला संज्ञान में आया है. जिसकी जांच कराई जाएगी और दोषी होगा उसके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी.
डॉ. नरेन्द्र अग्रवाल, मुख्य चिकित्साधिकारी