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आंशिक कर्फ्यू ने फीकी कर दी राजधानी में बड़े मंगलवार की धूम

राजधानी लखनऊ में लगाए गये आंशिक कर्फ्यू की वजह से ज्येष्ठ मास के पहले बड़े मंगलवार को मंदिरों के कपाट बंद रहे. अलीगंज स्थित ऐतिहासिक नये और पुराने हनुमान मंदिरों के बाहर से ही श्रद्धालुओं ने हनुमानजी का दर्शन किए.

बड़ा मंगलवार.
बड़ा मंगलवार.
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Published : Jun 1, 2021, 9:47 PM IST

लखनऊ: कोरोना संक्रमण रोकने के लिए राजधानी में लगाए गये आंशिक कर्फ्यू की वजह से ज्येष्ठ मास के पहले बड़े मंगलवार की रौनक फीकी रही. राजधानी के अलीगंज स्थित ऐतिहासिक नये और पुराने हनुमान मंदिरों के मुख्य द्वार ऐतिहात बरतते हुए बंद रखे गये. भक्तों को अपने आराध्य के बाहर से दर्शन करने पड़े. हनुमान चालीसा पाठ और सुंदर काण्ड का पाठ भी हुए, लेकिन भक्त शामिल नहीं हो सके. इसके अलावा मंदिर के बाहर परम्परागत मेला भी नहीं लग पाया. श्रद्धालु भंडारा और प्याऊ लगवा कर दर्शनार्थियों की सेवा भी नहीं कर पाए. मंदिरों में कोरोना प्रोटोकॉल के साथ भक्तों को दर्शन करने दिया गया.

अलीगंज का नया हनुमान मंदिर
अलीगंज स्थित नये हनुमान मंदिर में भक्तों को बाहर से दर्शन करवाया गया. सुबह पुजारियों ने हनुमान का अभिषेक, शृंगार, भोग लगाया और आरती की गई. भक्तों को मुख्य द्वार पर ही पुष्प और प्रसाद चढ़ाकर संतोष करना पड़ा. ऐतिहासिक मेला इसी मंदिर के बाहर से शुरू होकर कपूरथला चौराहे तक लगता था. जिसमें घर में उपयोग के लिए लोहे, लकड़ी यहां तक कि पत्थर के सामान भी मिलते थे. बांसुरी, शृंगार और सजावटी सामान भी मिलता था. इसके अलावा झटपट स्टूडियो, मौत का कुंआ और डांस के तम्बू भी लगते थे. झूले और चाट की दुकानें तो सजती ही थी, लेकिन इस बार ऐसा कुछ नहीं हो सका.

बड़ा मंगलवार.
प्रसाद बांटते श्रद्धालु.
पुराना हनुमान मंदिर
इसी क्षेत्र के पुराने हनुमान मंदिर में भी कपाट बंद रखे गये. भक्तों को कोरोना प्रोटोकॉल के तहत चैनल गेट के बाहर से दर्शन कराये गये. महंत गोपाल दास ने बताया कि सुबह हनुमानजी का शृंगार कर भोग लगा दिया था. दूसरा कोई आयोजन नहीं हो पाया. महंत ने बताया कि इस मंदिर के ऊपर चोटी पर चांद- तारा लगा हुआ है. उन्होंने बताया कि यहां पर दूसरे धर्मों के भक्त भी दर्शन के लिए आते हैं और मुरादें मांगते हैं.

यह भी पढ़ें-बड़ा मंगलवारः संगम नगरी के हनुमान मंदिरों में हुई विशेष पूजा, देखें वीडियो

हनुमान सेतु मंदिर
हनुमान सेतु मंदिर में भी सुबह हनुमानजी को नये वस्त्र धारण कराकर शृंगार किया गया. इसके बाद आरती करके भोग लगाया गया. इसके अलावा मंदिर की सजावट भी की गई. हुसैनगंज, छितवापुर स्थित प्राचीन मंदिर में हनुमानजी को चमेली के तेल, पीला सिंदूर से शृंगार कर नया चोला पहनाया गया. मंदिर में हनुमान जी को शुद्ध देशी घी बने 21 किलो लड्डुओं का भोग लगाया गया. निशातगंज स्थित हनुमान मंदिर, सीतापुर रोड स्थित हाथी वाले बाबा का मंदिर, बीरबल साहनी मार्ग के पंचमुखी हनुमान मंदिर, हजरतगंज के हनुमान मंदिर, चौक के कोतवालेश्वर मंदिर सहित अन्य मंदिरों में पूजन हुआ.

केला- बूंदी का प्रसाद बांटा
गढ़ीकनौरा, अंबेडकर नगर पार्क में समाजवादी पार्टी यूथ ब्रिगेड के प्रदेश अध्यक्ष अनीस राजा, वार्ड 2 के सभासद रईस अहमद आदि ने केला, बूंदी का प्रसाद बांटा.

लखनऊ: कोरोना संक्रमण रोकने के लिए राजधानी में लगाए गये आंशिक कर्फ्यू की वजह से ज्येष्ठ मास के पहले बड़े मंगलवार की रौनक फीकी रही. राजधानी के अलीगंज स्थित ऐतिहासिक नये और पुराने हनुमान मंदिरों के मुख्य द्वार ऐतिहात बरतते हुए बंद रखे गये. भक्तों को अपने आराध्य के बाहर से दर्शन करने पड़े. हनुमान चालीसा पाठ और सुंदर काण्ड का पाठ भी हुए, लेकिन भक्त शामिल नहीं हो सके. इसके अलावा मंदिर के बाहर परम्परागत मेला भी नहीं लग पाया. श्रद्धालु भंडारा और प्याऊ लगवा कर दर्शनार्थियों की सेवा भी नहीं कर पाए. मंदिरों में कोरोना प्रोटोकॉल के साथ भक्तों को दर्शन करने दिया गया.

अलीगंज का नया हनुमान मंदिर
अलीगंज स्थित नये हनुमान मंदिर में भक्तों को बाहर से दर्शन करवाया गया. सुबह पुजारियों ने हनुमान का अभिषेक, शृंगार, भोग लगाया और आरती की गई. भक्तों को मुख्य द्वार पर ही पुष्प और प्रसाद चढ़ाकर संतोष करना पड़ा. ऐतिहासिक मेला इसी मंदिर के बाहर से शुरू होकर कपूरथला चौराहे तक लगता था. जिसमें घर में उपयोग के लिए लोहे, लकड़ी यहां तक कि पत्थर के सामान भी मिलते थे. बांसुरी, शृंगार और सजावटी सामान भी मिलता था. इसके अलावा झटपट स्टूडियो, मौत का कुंआ और डांस के तम्बू भी लगते थे. झूले और चाट की दुकानें तो सजती ही थी, लेकिन इस बार ऐसा कुछ नहीं हो सका.

बड़ा मंगलवार.
प्रसाद बांटते श्रद्धालु.
पुराना हनुमान मंदिर
इसी क्षेत्र के पुराने हनुमान मंदिर में भी कपाट बंद रखे गये. भक्तों को कोरोना प्रोटोकॉल के तहत चैनल गेट के बाहर से दर्शन कराये गये. महंत गोपाल दास ने बताया कि सुबह हनुमानजी का शृंगार कर भोग लगा दिया था. दूसरा कोई आयोजन नहीं हो पाया. महंत ने बताया कि इस मंदिर के ऊपर चोटी पर चांद- तारा लगा हुआ है. उन्होंने बताया कि यहां पर दूसरे धर्मों के भक्त भी दर्शन के लिए आते हैं और मुरादें मांगते हैं.

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हनुमान सेतु मंदिर
हनुमान सेतु मंदिर में भी सुबह हनुमानजी को नये वस्त्र धारण कराकर शृंगार किया गया. इसके बाद आरती करके भोग लगाया गया. इसके अलावा मंदिर की सजावट भी की गई. हुसैनगंज, छितवापुर स्थित प्राचीन मंदिर में हनुमानजी को चमेली के तेल, पीला सिंदूर से शृंगार कर नया चोला पहनाया गया. मंदिर में हनुमान जी को शुद्ध देशी घी बने 21 किलो लड्डुओं का भोग लगाया गया. निशातगंज स्थित हनुमान मंदिर, सीतापुर रोड स्थित हाथी वाले बाबा का मंदिर, बीरबल साहनी मार्ग के पंचमुखी हनुमान मंदिर, हजरतगंज के हनुमान मंदिर, चौक के कोतवालेश्वर मंदिर सहित अन्य मंदिरों में पूजन हुआ.

केला- बूंदी का प्रसाद बांटा
गढ़ीकनौरा, अंबेडकर नगर पार्क में समाजवादी पार्टी यूथ ब्रिगेड के प्रदेश अध्यक्ष अनीस राजा, वार्ड 2 के सभासद रईस अहमद आदि ने केला, बूंदी का प्रसाद बांटा.

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