लखनऊ: पंडित दीनदयाल उपाध्याय साहित्यिक सेवा संस्थान के तत्वावधान में 11 मार्च को महाशिवरात्रि के अवसर पर खदरा सीतापुर रोड स्थित शिव पार्क में आयोजित 24वें अखिल भारतीय कवि सम्मेलन एवं सम्मान समारोह में अनेक विभूतियों का सम्मान हुआ. साथ ही काव्य की रासधारा प्रवाहित हुई. इस दौरान समारोह के मुख्य अतिथि डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा मौजूद रहे.
समारोह में पंडित दीनदयाल उपाध्याय साहित्यिक सेवा संस्थान के संस्थापक पं. आदित्य द्विवेदी और संयोजक हरीश चंद्र अग्रवाल ने मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा, प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री आशुतोष टंडन मौजूद रहे.
इस अवसर पर उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा, कैबिनेट मंत्री आशुतोष टंडन ने प्रतिबिंब फिल्म के बैनर तले अर्चना पांडे द्वारा निर्मित और पंडित आदित्य द्विवेदी द्वारा लिखित एवं अनूप जलोटा, सुरेश वाडकर, टुटेजा हरप्रीत, देव राठौर और शैलेश श्रीवास्तव द्वारा गाया गया. उत्तर प्रदेश राज्य के सांस्कृतिक गीत का विमोचन किया. इस राज्य गीत में उत्तर प्रदेश की विभिन्न सांस्कृतिक विरासत, मान्यताओं और साहित्यिक सभ्यताओं का सम्मिश्रण समाहित है. जिसका प्रदर्शन भी इस मौके पर किया गया. इसके साथ ही पंडित दीनदयाल उपाध्याय साहित्यिक सेवा संस्थान के संस्थापक सदस्य स्वर्गीय लालजी टंडन के चित्र पर सभी अतिथियों ने पुष्पांजलि अर्पित कर उनके व्यक्तित्व पर प्रकाश डालकर श्रद्धांजलि अर्पित की.
ये विशिष्ट जन हुए सम्मानित
समारोह में उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा, यूपी सरकार में मंत्री आशुतोष टंडन, पंडित आदित्य द्विवेदी और हरीश चंद्र अग्रवाल ने संयुक्त रुप से पुष्प लता अग्रवाल को पंडित दीनदयाल उपाध्याय सामाजिक सेवा सम्मान-2021, डॉ. सोनरूपा विशाल को पंडित दीनदयाल उपाध्याय साहित्यिक सेवा सम्मान -2021, डॉ. विष्णु सक्सेना को डॉ. रमेश रस्तोगी सम्मान-2021 और कमलेश शर्मा को साहित्य भूषण पंडित दूधनाथ शर्मा सम्मान-2021 से सम्मानित किया गया.
कवि सम्मेलन का संचालन सर्वेश अस्थाना ने किया
स्माइलमैन के उपनाम से प्रचलित हास्य कवि सर्वेश अस्थाना के मंच संचालन में आयोजित 24वें अखिल भारतीय कवि सम्मेलन में विकास बौखल ने सुनाया. राम भदावर ने सुनाया 'बलिदानियों की इस महागाथा में तुम, बलिदान का एक और पन्ना जोड़ दो. या तो समर्पित जन्म कर दो देश को, या देश की बातें ही करना छोड़ दो. डॉ. कमलेश शर्मा ने कहा कि 'यमुना, नर्मदा और पावन गंगा की धारा अमर रहे. देश के लिए बस जीने का वह चिंतन प्यारा अमर रहे! राष्ट्र की एकता बनी रहे हे प्रभु! बस यही कामना है! हम रहें या नहीं रहें मगर यह देश हमारा.
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