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बुंदेलखंड विश्वविद्यालय : स्नातक स्तर पर  NCC को वैकल्पिक विषय के रूप में चुन सकेंगे विद्यार्थी - uttar pradesh news

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय स्नातक स्तर पर अब एनसीसी को वैकल्पिक विषय के रूप में शामिल किए जाने की तैयारी कर रहा है. हालांकि इसकी पढ़ाई अगले साल से बुंदेलखंड व उसके सम्बद्ध महाविद्यालयों में शुरू की जाएगी.

वैकल्पिक विषय के रूप में चुन सकेंगे विद्यार्थी
वैकल्पिक विषय के रूप में चुन सकेंगे विद्यार्थी
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Published : Aug 20, 2021, 2:13 PM IST

झांसी: बुंदेलखंड विश्वविद्यालय स्नातक स्तर पर अपने पाठ्यक्रम में वैकल्पिक विषय के रूप में एनसीसी यानी राष्ट्रीय सैन्य दल को शामिल करने की तैयारी कर रहा है. एनसीसी को पाठ्यक्रम में शामिल किए जाने को लेकर मंथन के बाद अब इस विषय को विश्वविद्यालय की एकेडमिक काउंसिल और कार्यपरिषद के सामने रखने की तैयारी है.

एकेडमिक काउंसिल और कार्यपरिषद की मंजूरी के बाद पाठ्यक्रम की शुरुआत हो जाएगी. इस पाठ्यक्रम को शामिल करने का मुख्य उद्देश्य है कि इससे विद्यार्थियों को भारतीय सशस्त्र बलों के बारे में जानकारी हासिल हो सके और विद्यार्थियों में सेना व सशस्त्र बलों को लेकर रुचि पैदा हो सके.

दरअसल, नई शिक्षा नीति के तहत एनसीसी को विश्वविद्यालय के पाठ्यक्रम में शामिल कराने का प्रयास काफी समय से किया जा रहा है. उत्तर प्रदेश के उच्च शिक्षा विभाग ने इसी साल इसे विषय के रूप में पाठ्यक्रम में शामिल करने का निर्देश दिया है, लेकिन इस साल इसकी पढ़ाई सम्भव हो पाना मुमकिन नहीं है.

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय में मॉडल सिलेबस के आधार पर अपना सिलेबस तो तैयार कर लिया है लेकिन अभी उसे एकेडमिक काउंसिल और कार्यपरिषद के सामने नहीं रखा गया है. हालांकि इस विषय पर कुलपति प्रोफेसर जेवी वैशम्पायन से चर्चा हो चुकी है.

संभावना यह जताई जा रही है कि अगले सत्र में एनसीसी की पढ़ाई एक वैकल्पिक विषय के रूप में बुंदेलखंड विश्वविद्यालय और उससे संबद्ध महाविद्यालयों में शुरू हो जाएगी. पाठ्यक्रम की तैयारी में जुटे अफसरों का कहना है कि इस पाठ्यक्रम में एनसीसी से जुड़ा शारीरिक प्रशिक्षण हासिल करना भी विद्यार्थी के लिए अनिवार्य होगा.

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के एनसीसी अधिकारी प्रोफेसर सुनील काबिया के मुताबिक विद्या परिषद व कार्य परिषद के अनुमोदन के बाद इस प्रस्ताव को कार्यरूप में बदला जाएगा. जो सिलेबस तैयार किया गया है, उसमें मॉडल सिलेबस को आधार बनाते हुए बुंदेलखंड के क्षेत्रीय इतिहास, संस्कृति व भौगोलिक परिस्थितियों को भी शामिल किया गया है.

कोशिश होगी कि बुंदेलखंड परिक्षेत्र के विद्यार्थियों को इसका अधिकतम लाभ हो सके और वे अधिक दक्षतापूर्ण अध्ययन कर सकें. इस पाठ्यक्रम में अध्ययन के साथ ही शारीरिक प्रशिक्षण भी शामिल है. इससे न केवल उनकी शैक्षिक अभिरुचि का विकास होगा बल्कि उन्हें भारतीय शस्त्र बलों में अधिकाधिक संख्या में चयनित होने के अवसर प्राप्त भी होंगे.

झांसी: बुंदेलखंड विश्वविद्यालय स्नातक स्तर पर अपने पाठ्यक्रम में वैकल्पिक विषय के रूप में एनसीसी यानी राष्ट्रीय सैन्य दल को शामिल करने की तैयारी कर रहा है. एनसीसी को पाठ्यक्रम में शामिल किए जाने को लेकर मंथन के बाद अब इस विषय को विश्वविद्यालय की एकेडमिक काउंसिल और कार्यपरिषद के सामने रखने की तैयारी है.

एकेडमिक काउंसिल और कार्यपरिषद की मंजूरी के बाद पाठ्यक्रम की शुरुआत हो जाएगी. इस पाठ्यक्रम को शामिल करने का मुख्य उद्देश्य है कि इससे विद्यार्थियों को भारतीय सशस्त्र बलों के बारे में जानकारी हासिल हो सके और विद्यार्थियों में सेना व सशस्त्र बलों को लेकर रुचि पैदा हो सके.

दरअसल, नई शिक्षा नीति के तहत एनसीसी को विश्वविद्यालय के पाठ्यक्रम में शामिल कराने का प्रयास काफी समय से किया जा रहा है. उत्तर प्रदेश के उच्च शिक्षा विभाग ने इसी साल इसे विषय के रूप में पाठ्यक्रम में शामिल करने का निर्देश दिया है, लेकिन इस साल इसकी पढ़ाई सम्भव हो पाना मुमकिन नहीं है.

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय में मॉडल सिलेबस के आधार पर अपना सिलेबस तो तैयार कर लिया है लेकिन अभी उसे एकेडमिक काउंसिल और कार्यपरिषद के सामने नहीं रखा गया है. हालांकि इस विषय पर कुलपति प्रोफेसर जेवी वैशम्पायन से चर्चा हो चुकी है.

संभावना यह जताई जा रही है कि अगले सत्र में एनसीसी की पढ़ाई एक वैकल्पिक विषय के रूप में बुंदेलखंड विश्वविद्यालय और उससे संबद्ध महाविद्यालयों में शुरू हो जाएगी. पाठ्यक्रम की तैयारी में जुटे अफसरों का कहना है कि इस पाठ्यक्रम में एनसीसी से जुड़ा शारीरिक प्रशिक्षण हासिल करना भी विद्यार्थी के लिए अनिवार्य होगा.

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के एनसीसी अधिकारी प्रोफेसर सुनील काबिया के मुताबिक विद्या परिषद व कार्य परिषद के अनुमोदन के बाद इस प्रस्ताव को कार्यरूप में बदला जाएगा. जो सिलेबस तैयार किया गया है, उसमें मॉडल सिलेबस को आधार बनाते हुए बुंदेलखंड के क्षेत्रीय इतिहास, संस्कृति व भौगोलिक परिस्थितियों को भी शामिल किया गया है.

कोशिश होगी कि बुंदेलखंड परिक्षेत्र के विद्यार्थियों को इसका अधिकतम लाभ हो सके और वे अधिक दक्षतापूर्ण अध्ययन कर सकें. इस पाठ्यक्रम में अध्ययन के साथ ही शारीरिक प्रशिक्षण भी शामिल है. इससे न केवल उनकी शैक्षिक अभिरुचि का विकास होगा बल्कि उन्हें भारतीय शस्त्र बलों में अधिकाधिक संख्या में चयनित होने के अवसर प्राप्त भी होंगे.

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