फर्रूखाबाद: मथुरा के नंद भवन मंदिर में नमाज पढ़ने वाला फैजल जिला फर्रुखाबाद के कायमगंज मोहल्ला जटपुरा का निवासी है. उसे भले ही मुकदमा दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया गया है, लेकिन उसके पिता को अपने बेटे के इस काम पर फक्र है. उनका कहना है कि बेटा सीमांत गांधी के सामाजिक संगठन के लिए काम करता है. उसका उद्देश्य रसखान की तरह सामाजिक समरसता और सदभाव से प्रेरित है.
मंदिर में नमाज पढ़कर नया विवाद पैदा करने वाले फैजल के पिता अजमल खां उर्फ पापा मियां का कहना है कि बेटा बीस साल से दिल्ली में सर्वधर्म समरसत्ता के काम में लगा है. उसका काम में आना जाना रहता है. पिछले दिनों वह करीब दो माह कायमगंज रह कर गया है. वह महात्मा गांधी के मित्र खान अब्दुल गफ्फार खां( सीमांत गांधी) के उद्देश्यों वाले एनजीओ खुदाई खितमतगार और सबका घर के लिए काम करता है.
सामाजिक समरसता के लिए पढ़ी नमाज
मंदिर में जाकर नमाज पढ़ने का उद्देश्य किसी विवाद के लिए नहीं, बल्कि सद्भावना को लेकर था. उसने मथुरा में 26 अक्टूबर को 29 अक्टूबर तक 84 कोसी परिक्रमा की. मथुरा भ्रमण के दौरान ही नंद भवन मंदिर पहुंचने पर नमाज का वक्त हो गया. इसलिए उसने वहां पुजारी से अनुमति लेकर नमाज पढ़ी. इसमें उसने गलत क्या किया है. उन्होंने कहा कि वर्तमान में नफरत फैलाने का दौर चल रहा है. इसलिए विवाद पैदा किया जा रहा है.
कृष्ण भक्त रसखान की मानसिकता से प्रेरित
फैजल के पिता ने कहा कि उनका पुत्र कृष्ण भक्त रसखान की मानसिकता वाला है. उसे प्रसिद्ध संत मोरारी बापू भी शांति सद्भावना के लिए सम्मानित कर चुके हैं. संपन्न जमींदार परिवार के पापा मियां को इस प्रकरण में अपने पुत्र पर मुकदमा और गिरफ्तारी का कोई एतराज नहीं है. उन्होंने कहा है कि तमाम मीडिया संस्थान बेटे के काम को सही ठहरा रहे हैं. सामाजिक सद्भावना को लेकर हर किसी को प्रयास करना चाहिए.