चित्रकूट: दो दिवसीय दीपदान मेला सकुशल हो इसके लिए प्रशासन सजग नजर आ रहा है. मंदाकिनी नदी में इस बार 30 से 35 लाख श्रद्धालु राम घाट पहुंचकर आस्था की डूबकी लगाएंगे. जिला प्रशासन ने बोट में बैठकर मेला क्षेत्र का बारीकी से निरीक्षण किया. वहीं जिला प्रशासन ने पूरे मेला क्षेत्र को 9 जोन और 18 सेक्टरों में बांटकर मजिस्ट्रेट को नामित किया है. पेयजल, शौचालय, विद्युत, स्वास्थ्य और साफ-सफाई व्यवस्था भी पूर्ण कर ली गई है.
वृहद रूप में मनाया जा रहा है दीपदान का मेला
चित्रकूट में दीपदान मेला हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी वृहद रूप में मनाया जा रहा है, जिसमें लगभग 30 से 35 लाख श्रद्धालु मंदाकिनी नदी पहुंचकर आस्था की डूबकी लगाएंगे. दीपदान कर कामदगिरी की परिक्रमा भी करेंगे. चित्रकूट प्रशासन मेले में पहुंच रहे श्रद्धालुओं की व्यवस्था को लेकर काफी सजग नजर आ रहा है. वहीं पूरे मेला क्षेत्र को 9 जोन और 18 सेक्टरों में विभाजित कर सेक्टर मजिस्ट्रेट को नामित किया गया है.
जिला प्रशासन ने मेला क्षेत्र में पहुंचने वाले श्रद्धालुओं के लिए पेयजल, स्वास्थ्य, विद्युत, शौचालय और साफ-सफाई की व्यवस्था भी पूर्ण कर ली है. कई जगह खोया-पाया केंद्र भी बनाए गए हैं, जिससे किसी भी श्रद्धालु का सामान खो जाने पर मिले हुए सामान को अनाउंसमेंट के द्वारा उस श्रद्धालु तक पहुंचाया जा सके.
वहीं मंदाकिनी नदी में डुबकी लगा रहे श्रद्धालुओं के बचाव के लिए मंदाकिनी नदी में रस्सी बांध दी गई है, जिससे कोई भी श्रद्धालु गहरे पानी में न जा सके और जगह-जगह एनडीआरएफ की टीम की व्यवस्था भी की गई है. लगभग चार स्टीमर बोट बचाव के लिए लगाई गई हैं.
सुरक्षा की दृष्टि से मेला क्षेत्र को नौ जोन में बांटा गया है. 18 पुलिस क्षेत्राधिकारी, 165 इंस्पेक्टर, 250 सब इंस्पेक्टर, दो हजार के करीब पुलिस फोर्स, तीन कंपनी पीएसी. वहीं कोई अप्रिय घटना न हो इसको देखते हुए जगह-जगह बीडीएस चेक, एंटी सबोर्डिनेट चेक किए जा रहे हैं. पूरे मेला क्षेत्र के रामघाट और परिक्रमा क्षेत्र में सीसीटीवी कैमरे की व्यवस्था की गई है. ताकि कोई भी सस्पेक्टेड व्यक्ति दिखने पर तुरंत कार्रवाई हो सके.
-मनोज कुमार झा, पुलिस अधीक्षक