बस्ती: जिले में पिता की हत्या के बाद उनके बेटे न्याय के लिए पुलिस के दफ्तरों के चक्कर काटने को मजबूर हैं. जमीन विवाद को लेकर बेटों के सामने ही पिता की हत्या कर दी गई थी. इस मामले में पुलिस ने कुछ आरोपियों को गिरफ्तार किया था. वहीं पुलिस मुख्य आरोपी बसपा नेता और जिला पंचायत सदस्य अवधेश यादव को गिरफ्तार करने से कतरा रही है.
मृतक के परिजनों का आरोप है कि वे थाने जाते हैं तो उनसे सब्र करने को कहा जाता है. वहीं इस पूरे घटनाक्रम का मास्टरमाइंड पूर्व जिला पंचायत सदस्य और बसपा नेता अवधेश यादव खुलेआम घूम रहा है. अवधेश यादव मृतक के परिजनों को मुकदमा वापस लेने की धमकी दे रहा है. गौरतलब है कि इस मामले में पुलिस कर्मियों की संलिप्तता भी सामने आई है, जिसको लेकर पुलिस अधीक्षक ने 3 सिपाहियों को लाइन हाजिर कर दिया. इस पूरे मामले की जांच के लिए दूसरी टीम गठित कर दी गई है.
क्या था मामला
दरअसल लुंबिनी-दुद्धी मार्ग पर कलवारी थाना क्षेत्र स्थित सरयू नदी पर बने पुल के पास भूमि विवाद को लेकर हुए गत 9 अगस्त को खूनी संघर्ष में एक व्यक्ति की मौत हो गई थी. वहीं 6 लोग घायल हो गए. मृतक सपा नेता रहे राजेश यादव धोबहट गांव के निवासी थे. डीआईजी अशोक राय ने बताया कि इस मामले में सात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया. धोबहट गांव के राजेश यादव और जगदीश यादव के बीच माझा में खेत को लेकर विवाद चल रहा था. दोनों पक्ष अपनी-अपनी दावेदारी करते चले आ रहे थे. एक पक्ष ने खेत में बोई गई चरी को काट लिया, जिसके बाद दोनों पक्षों में कहासुनी के बाद तनाव बढ़ गया.
जिला अस्पताल में हुई थी राजेश की मौत
बीते रविवार को राजेश अपने भाई उमेश के साथ टांडा पुल के पास सरयू नदी में नहाने गया था. लौटते समय पुल के पास दूसरे पक्ष के जगदीश के साथ चार-पांच लोग आए. दोनों पक्षों में कहासुनी के बाद मारपीट शुरू हो गई. मारपीट में राजेश गंभीर रूप से घायल हो गया. शोरगुल होने पर राजेश के बेटे अम्बिका, भाई दिनेश और योगेन्द्र भी मौके पर पहुंच गए. दोनों पक्षों में हुए खूनी संघर्ष में 6 लोग घायल हो गए. सूचना पर पहुंची पुलिस ने खून से लथपथ राजेश को जिला अस्पताल भेज दिया, जहां चिकित्सक ने उसे मृत घोषित कर दिया. घायलों में उमेश, अम्बिका, दिनेश, योगेन्द्र, जगदीश और चन्द्रहास शामिल हैं.